नाथ समाज ने दिया उपखंड अधिकारी डा सापेला के नाम ज्ञापन
आसींद राजस्थान नाथ समाज के प्रदेश अध्यक्ष नाथू नाथ योगी के नेतृत्व में उपखंड अधिकारी को नेशनल हाईवे 158 की विसंगतियों को दूर करने के संदर्भ में ज्ञापन दिया गया
प्रदेश अध्यक्ष द्वारा बताया गया कि गुरु गोरखनाथ धाम सेवा संस्थान मेवाड़ अंचल खारी नदी किनारे केरिया खेड़ा रोड पर आसींद में नाथ समाज के आराध्य देव गोरखनाथ के मंदिर का निर्माण कार्य निर्माणाधीन है
राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 158 के पूर्व में सर्वे के अनुसार राजमार्ग का निर्माण हो रहा है सर्वे कंपनी द्वारा कराए गए पूर्व में सर्वे दूसरा था प्रदेश अध्यक्ष का आरोप है कि कुछ भू माफिया लोगों के व्यक्तिगत फायदा के कारण है
इस नेशनल हाईवे को मंदिर परिष र के बीचो-बीच से होने जा रहा है मंदिर निर्माण में बड़ी क्षति होगी
यदि समय रहते हाईवे की रूपरेखा चेंज नहीं हुई तो नाथ समाज ने आंदोलन करने की चेतावनी दी
इस मौके पर डालू नाथ योगी भवानी शंकर रावल रमेश नाथ योगी लक्ष्मण नाथ योगी लालू नाथ योगी देवनाथ योगी उपस्थित थे
मेवाड आईटीआई कॉलेज द्वारा किया गया मॉडल, प्रोजेक्ट तथा चार्ट प्रदर्शनी का आयोजन
भीलवाडा जिले के प्रतिष्ठित मेवाड आईटीआई कॉलेज रुपाहेली द्वारा दिनांक 9 अक्टूबर 2018 को मॉडल, प्रोजेक्ट तथा चार्ट प्रदर्शनी का आयोजन रखा गया, कॉलेज प्रशासन द्वारा बच्चों के अन्दर छिपी प्रतिभा को बाहर निकालने के लिए रूपाहेली में स्थित मेवाड आई टी आई कॉलेज मे आगाज Tech fest (आगाज)रखा गया
जिसमें सभी छात्रो ने बहुत ही रोचक प्रोजेक्ट तथा चार्ट बनाये तथा इस प्रोग्राम में एरोमॉडलिग टीम द्वारा एक वर्कशॉप रखी गयी जिसमें हवाई जहाज की कार्य प्रणाली के बारे में बताया इस अवसर पर मॉडल स्कूल के प्रिंसिपल मनीष जी गर्ग कंवलियास स्कूल के प्रिंसिपल मैम गागेडा स्कूल के व्याख्याता श्री शिवराज जी,टोकर वार्ड स्कूल के व्याख्याता शांतिलाल जी पूर्व व्याख्याता जमनालाल जी, व्याख्याता मनीष जी टेलर, बाबू लाल जी रेगर, खेड़ापालोला स्कूल के प्रिंसिपल इख्तियार अली, महावीर जी, सुशील जी लोढा विधायक प्रतिनिधि श्री राजेंद्र जी गुर्जर, किसान मोर्चा अध्यक्ष राम कुमार जी लड्डू बना रूपाली सहित अनेक गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे अंत में कॉलेज निर्देशक हेमराज चौधरी ने बताया की समय समय पर कॉलेज प्रशासन द्वारा विद्यार्थीयो के मनोरंजन तथा सर्वांगीण विकास हेतु इस प्रकार के कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता रहा है, तथा भविष्य में इसी क्रम मे अन्य कार्यक्रमों का आयोजन किया जायेगा |
अजमेर में अब एक अक्टूबर से 50 प्रतिशत पानी की कटौती नहीं होगी। देवनानी के प्रयासों से मिली सफलता। बीसलपुर बांध में 20 दिनों में एक मीटर पानी आया। अभी भी जारी है पानी की आवक। सिंचाई के लिए न हो उपयोग।
इसे अजमेर शहर और जिले के लोगों के लिए खुश खबरी ही कहा जाएगा कि एक अक्टूबर से पेयजल की सप्लाई में 50 प्रतिशत की कटौती नहीं होगी। बीसलपुर बांध में पानी की कमी को देखते हुए उच्च स्तर पर 50 प्रतिशत कटौती का निर्णय लिया गया था। 27 सितम्बर को अजमेर उत्तर के भाजपा विधायक और प्रदेशों के स्कूली शिक्षामंत्री वासुदेव देवनानी ने बताया कि 50 प्रतिशत कटौती को स्थगित करने के लिए उनकी जलदाय मंत्री सुरेन्द्र गोयल से बात हुई। मेेरे आग्रह पर गोयल ने 50 प्रतिशत कटौती को स्थगित करने पर सहमति जताई। सरकार के इस निर्णय से अब अजमेर के नागरिकों को दो-तीन दिन में पेयजल की सप्लाई होती रहेगी।
विभाग के इंजीनियरों से भी कहा गया है कि पेयजल सप्लाई का समय निश्चित किया जाए, ताकि लोगों को परेशानी नहीं हो। फिलहाल 20 प्रतिशत की कटौती जारी रहेगी। देवनानी ने कहा कि इसे ईश्वर की कृपा ही कहा जाएगा कि बीसलपुर बांध में भी पिछले 20 दिनों में एक मीटर पानी की आवक हुई है। गत 7 सितम्बर को बांध का जल स्तर 309.10 मीटर मापा गया था जो 27 सितम्बर को बढ़कर 310.5 मीटर हो गया। चित्तौड़गढ़ जिले के गंभीरी बांध से बीसलपुर में पानी की आवक अभी भी जारी है। ब्राह्मणी नदी का पानी बीसलपुर बांध में लाने के प्रयास भी किए जा रहे हैं।
देवनानी ने कहा कि इस बार बीसलपुर बांध के भराव क्षेत्र में वर्षा नहीं हुई, इसलिए बांध में पानी नहीं आया चूंकि अजमेर के लिए बीसलपुर ही पेयजल का मुख्य और एक मात्र स्त्रोत है, इसलिए लोगों को भी पानी का उपयोग किफायत के साथ करना चाहिए। उनका प्रयास है कि अजमेर के लोगों को पेयजल का संकट नहीं हो। यदि बांध में पानी की आवक जारी रही तो अभी जो 20 प्रतिशत की कटौती की जा रही है, उसे भी खत्म या कम करवाया जाएगा।
हेंडपंप खोदे जाएंगेः
देवनानी ने बताया कि अभावग्रस्त जगहों पर हैंडपम्प खोदे जाएंगे। इसके लिए राज्य सरकार ने स्वीकृति दे दी है।
सिंचाई के लिए पानी का उपयोग न होः
बीसलपुर बांध की भराव क्षमता 315.50 मीटर है। मानसून में जब बांध पूरा भर जाता है, जब पेयजल सप्लाई के साथ टोंक जिले के कई स्थानों पर पानी का उपयोग सिंचाई के लिए भी होता है। 310 मीटर का जल स्तर होने तक सिंचाई के लिए पानी लिया जा सकता है। चूंकि इस बार मानसून का दौर समाप्त होने के बाद बांध का जलस्तर 310 मीटर ही है, इसलिए सिंचाई के लिए बांध से पानी नहीं लिया जाना चाहिए। इसके लिए सभी जनप्रतिनिधियों को मिल कर प्रयास करने चाहिए। साथ ही चम्बल नदी का पानी बीसलपुर बांध में लाने के प्रयास हो, ताकि पेयजल का स्थाई समाधान हो सकता है।
शैक्षिक विकास में राजस्थान अव्वल पायदान पर : किरण माहेश्वरी
राजसमन्द। उच्च शिक्षा मंत्री किरण माहेश्वरी ने शिक्षा के लिए समर्पण और समाजहित में धनराशि के उदारतापूर्वक उपयोग को मानवीय मूल्यों से भरा सामाजिक फर्ज बताते हुए कहा कि आज आवश्यकता इस बात की है कि सामाजिक नवनिर्माण एवं आँचलिक विकास के लिए भामाशाहों से प्रेरणा पाकर हम समाज के प्रति समर्पित रूप से दायित्वों का निर्वाह करें।
उच्च शिक्षा मंत्री किरण माहेश्वरी ने शनिवार को राजसमन्द जिले की खमनोर पंचायत समिति अन्तर्गत शिशोदा में भामाशाह प्रवासी समाजसेवी मेघराज धाकड़ के पारिवारिक ट्रस्ट मंगल चेरिटेबल ट्रस्ट की ओर से 8 करोड की लागत से बनने वाले राजकीय आदर्श उच्च माध्यमिक विद्यालय के शिलान्यास समारोह में मुख्य अतिथि पद से संबोधित करते हुए यह उद्गार व्यक्त किए।
समारोह की अध्यक्षता सांसद हरिओमसिंह राठौड़ ने की जबकि विशिष्ट अतिथियों के रूप में खमनोर पंचायत समिति की प्रधान श्रीमती शोभा पुरोहित, आध्यात्मिक चिन्तक संत योगी संतोषनाथ महाराज, शिक्षा उप निदेशक युगलबिहारी दाधीच, जिला शिक्षा अधिकारी भरत जोशी सहित जन प्रतिनिधियों, अधिकारियों एवं ग्राम्यजनों तथा विद्यार्थियों ने हिस्सा लिया।
उच्च शिक्षा मंत्री किरण माहेश्वरी एवं सांसद हरिओमसिंह राठौड़ तथा अन्य अतिथियों एवं ट्रस्ट पदाधिकारियों ने शिलान्यास पट्टिका का अनावरण किया।
शानदार और सुन्दर होगा यह
अत्याधुनिक सभी सुविधाओं से युक्त और तीन मंजिला बनने वाले इस विद्यालय के लिए भूमि पूजन कंकु देवी-सोहनलाल धाकड़ के हाथों हुआ। उल्लेखनीय है कि राजस्थान का यह ऎसा विद्यालय होगा जिसका निर्माण भामाशाह द्वारा इतनी बड़ी धनराशि से करवाया जा रहा है। कुल 38 कक्षों वाले इस विद्यालय का निर्माण दो वर्ष में पूर्ण होगा। इसमें 16 अध्ययन कक्ष, एक सेमिनार हाल, 7 लेबोरेटरी कक्ष, 1 प्रार्थना सभा हाल तथा एक कांफ्रेंन्स हॉल का निर्माण होगा। इसके साथ ही विद्यालय भवन के सामने विद्यार्थियों के वालीबॉल एवं बॉस्केट बाल के मैदान भी बनाए जाएंगे।
उच्च शिक्षा मंत्री किरण माहेश्वरी ने इस अवसर पर भामाशाह कंकू देवी, सोहनलाल धाकड़, मेघराज धाकड़, अजीत धाकड़ एवं रमेश धाकड़ तथा मंगल चेरिटेबल ट्रस्ट एवं सभी परिवारजनों का अभिनंदन किया और कहा कि मातृभूमि की सेवा और अपनी सरजमीं के लिए बहुआयामी सुख-सुविधाओं को जुटाने, जनजीवन का स्तर ऊँचा उठाने तथा क्षेत्रवासियों के लिए समर्पित दायित्वों के निर्वाह में उनकी भूमिका न केवल ऎतिहासिक बल्कि अनुकरणीय है और इसका अन्य लोगों को अनुसरण करने के लिए आगे आना चाहिए।
उच्च शिक्षा मंत्री ने कहा कि आज अपनी विभिन्न शैक्षिक विकास योजनाओं और नई पीढ़ी के सुनहरे भविष्य को रेखांकित करने वाली गतिविधियों की बदौलत राजस्थान देश में अग्रणी पहचान बना चुका है। उन्होंने विद्यार्थियों से कहा कि वे इनका लाभ लेकर आगे बढ़ें तथा अपने क्षेत्र और प्रदेश का नाम रौशन करें।
उन्होंने बताया कि प्रदेश में एक माह में 56 हजार शिक्षकों की भर्ती का काम पूरा हो जाएगा। इसके लिए काउंसलिंग हो रही है। इससे विद्यालयों मेंं शिक्षकों की कमी दूर हो जाएगी। अकेले राजसमन्द जिले में प्राथमिक विद्यालयों के लिए 676 तथा माध्यमिक विद्यालयों के लिए 751 विषयाध्यापकों की भर्ती एक माह में पूरी हो जाएगी।
उन्होंने शिक्षा विभाग के अधिकारियों से कहा कि वे भामाशाहों द्वारा शैक्षिक विकास के जो भी प्रस्ताव प्रस्तुत किए जाएं, उनमें किसी भी प्रकार की देरी न करें। उच्च शिक्षा मंत्री माहेश्वरी ने कहा कि शैक्षिक विकास में ऎतिहासिक भागीदारी के लिए शिशोदा मूल के निवासी एवं मुम्बई में रह रहे प्रवासी मेघराज धाकड़ को राज्य सरकार द्वारा राज्यस्तरीय सम्मान से सम्मानित किया जाएगा।
सांसद ने बताया अनुकरणीय योगदान
समारोह में अध्यक्षीय उद्बोधन में सांसद हरिओमसिंह राठौड़ ने धाकड़ परिवार एवं ट्रस्ट की समाजोन्मुखी कल्याण गतिविधियों के लिए सराहना की और कहा कि वे उनके कार्य अनुकरणीय हैं तथा इनका अनुसरण करने के लिए भामाशाहों को उदारतापूर्वक आगे आना चाहिए। प्रधान शोभा पुरोहित ने ग्रामीण विकास एवं मानवता की सेवा में ट्रस्ट के योगदान की तारीफ की।
आरंभ में अतिथियों का स्वागत धाकड़ परिवार एवं मंगल चेरिटेबल ट्रस्ट के पदाधिकारियों के साथ ही अशोक धाकड़, विनोद धाकड़, भगवती धाकड़, अजीत धाकड़, प्रधानाचार्य कौशलेन्द्र गोस्वामी, मनीष पालीवाल आदि ने किया। संचालन भानुकुमार वैष्णव ने किया।
समारोह में उप प्रधान दलजीतसिंह चुण्डावत, नाथद्वारा नगरपालिका उपाध्यक्ष परेश सोनी, रमेश धाकड़, नाथद्वारा के दिवंगत विधायक की पत्नी कल्पना कुंवर, केशरसिंह चुण्डावत, बीसी भलावत, मानसिंह बारहठ, भीमसिंह चौहान, योगेन्द्रसिंह चौहान, श्रीकृष्ण पालीवाल, हरदयाल सिंह, संजयसिंह बारहठ
संदीप, संगीता कुंवर, देवीलाल सुथार, कमल हिंगड़, नीरज शर्मा, अजय गुर्जर आदि उपस्थित थे।
एसीबी ने सटीक सूचना पर पकड़ा था इंजीनियर को सवा पांच लाख रुपए के साथ। उलझ सकता है हमदर्द ठेकेदार भी। पीडब्ल्यूडी दफ्तर और बंैकों को खंगाला।
यदि कोई व्यक्ति भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) को सटीक सूचना दे तो एसीबी के ईमानदार अधिकारी तत्काल कार्यवाही करते हैं। ऐसे ही सटीक सूचना पर 18 सितम्बर को अजेर स्थित एसीबी के डीएसपी महिपाल सिंह चौधरी ने कार्यवाही करते हुए पीडब्ल्यूडी के एडिशनल चीफ इंजीनियर एमके गुप्ता को सवा पांच लाख रुपए के साथ पकड़ा। हालांकि गुप्ता को रिश्वत लेते नहीं पकड़ा, इसलिए प्राथमिक पूछताछ के बाद छोड़ दिया गया, लेकिन 20 सितम्बर को डीएसपी चौधरी ने अजमेर स्थित पीडब्ल्यूडी के दफ्तर में उन फाइलों को देखा जो गुप्ता के निर्णयों से जुड़ी है। साथ ही गुप्ता के बैंक खातों से पता लगाया कि उन्होंने कब कब राशि निकाली है। पकड़े जाने के बाद गुप्ता का कहना था कि सवा पांच लाख रुपए की राशि बालाजी कंस्टेªशन के मालिक दिनेश चौधरी की है। चौधरी ने ही अजमेर से रवाना होते वक्त पांच लिफाफे दिए थे और कहा कि जयपुर में मेरा आदमी आकर ले जाएगा।
चूंकि मैं अजमेर से जयपुर आ रहा था, इसलिए लिफाफों को कार में रख लिया। मेरा सवा पांच लाख रुपए की राशि से कोई सरोकार नहीं है। गुप्ता के इस बयान के बाद अब एसीबी के अधिकारियों ने बालाजी कंस्टेªक्शन के मालिक दिनेश चौधरी को बुलाया है। अब ठेकेदार चौधरी को बताना होगा कि यह राशि कहां से आई और अलग अलग लिफाफों में रख कर जयपुर क्यों भेजी जा रही थी? लिफाफे गुप्ता को ही क्यों दिए गए? ठेकेदार की बालाजी कंस्ट्रेशन कंपनी के खातों को भी देखा जाएगा कि इतनी बड़ी राशि की बैंक से निकासी कैसे हुई। भले ही इंजीनियर गुप्ता ने ठेकेदार का नाम ले लिया हो, लेकिन जानकारों की माने तो लिफाफे रिश्वत की राशि के थे।
गुप्ता 18 सितम्बर को जिस लग्जरी कार से जयपुर जा रहे थे वो ही ठेकेदार चौधरी की बताई जा रही है। चौधरी डबल ए श्रेणी के ठेकेदार है और कई सरकारी योजनाओं में मकान, सड़क आदि बनाने का कार्य कर रहे हैं। एसीबी इन निर्माण कार्यों की जांच भी कर सकती है।
मुकदमे के लिए ली जाएगी अनुमतिः
उच्च स्तर पर जुड़े कथित भ्रष्टाचार के इस मामले की जांच कर रहे एसीबी के डीएसपी महिपाल सिंह ने बताया कि अभी सभी पहलुओं पर जांच हो रही है। जांच की रिपोर्ट मुख्यालय भेजी जाएगी और अनुमति मिलने पर दोषी व्यक्तियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज होगा। उन्होंने जागरुक लोगों से अपील की कि सरकारी स्तर पर भ्रष्टाचार मिटाने के लिए एसीबी का सहयोग करें।
एसीबी के अधिकारी सूचना मिलने पर प्रभावी कार्यवाही करते हैं। सूचना देने वाले का नाम भी गुप्त रखा जाता है। बडे़ से बड़े अधिकारी को भी पकड़ने में हिचक नहीं होती है। इसका ताजा उदाहरण पीडब्ल्यूडी के एडिशनल चीफ इंजीनियर का पकड़ा जाना है।
विवादों से घिरी भगवंत यूनिवर्सिटी में अब नेक टीम का दौरा।
गलत तरीके से मार्कशीट और डिग्री देने का मामला लम्बित है।
विवादों से घिरी अजमेर की प्राइवेट भगवंत यूनिवर्सिटी में 20 सितम्बर को नेशनल एस्समेंट एंड ऐक्रीडेशन कौंसिल (नेक) की छह सदस्यीय टीम ने दौरा किया। असल में प्रतिस्पर्धा के दौर में यूनिवर्सिटी को लोकप्रिय और ख्याति प्राप्त बनाने के लिए भगवंत यूनिवर्सिटी के चेयरमैन अनिल सिंह ने नेक टीम को विभिन्न कोर्सेज के निरीक्षण के लिए आमंत्रित किया है। जानकारी के मुताबिक 20 सितम्बर को अजमेर पहुंची नेक की टीम ने नौगांव (असम) के पूर्व कुलपति डीका, आगरा स्थित भीमराव अम्बेडकर यूनिवर्सिटी के कुलपति डीएन जौहार, पंजाब की नेयर यूनिवर्सिटी के विभागाध्यक्ष असीत कुमार, देहरादून के प्रोफेसर विजय जुहाल, जबलपुर की प्रोफेसर दिव्या तथा तमिलनाडु के रामगणेश शामिल हैं।
निजी क्षेत्र में चलने वाली भगवंत यूनिवर्सिटी को यूजीसी से जो मान्यता मिली हुई है उसको लेकर पूर्व में विवाद रहा है। इसलिए गत वर्ष राज्य सरकार की ओर से धारा 44(1) के अंतर्गत इस यूनिवर्सिटी को नोटिस जारी किया गया था। यूनिवर्सिटी पर गलत तरीके से मार्कशीट और डिग्री जारी करने के आरोप हैं। अभी भी यह मामला राज्य सरकार के समक्ष विचाराधीन है। जानकार सूत्रों के अनुसार भगवंत यूनिवर्सिटी में चल रही गड़बड़ियों को लेकर एक शिकायत सीबीआई को भी की गई थी।
इस शिकायत के बाद ही एआईसीटीई की मान्यता को समाप्त कर दिया गया। शिकायत में यह भी आरोप लगाया गया कि यूजीसी के नियमों के अनुरूप भगवंत यूनिवर्सिटी के पास भूमि उपलब्ध नहीं है। ऐसे में नेक टीम के दौरे को महत्वपूर्ण माना जा रहा है। नेक के अधिकारियों का ध्यान भी यूनिवर्सिटी में चल रही अनियमितताओं की ओर दिलाया गया है। वहीं 20 सितम्बर को नेक टीम के सदस्यों ने यूनिवर्सिटी परिसर का विस्तृत दौरा किया और फार्मेसी विभाग के विभिन्न कामकाजों की जानकारी ली।
आसींद नगर में भारतीय जनता युवा मोर्चा एवं ओबीसी मोर्चा नगर द्वारा माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र जी मोदी के जन्मदिवस के उपलक्ष पर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर बीमार लोगों को फल वितरित किए गए।
मंडल अध्यक्ष रामगोपाल तोषनीवाल ने कार्यकर्ताओं को कहां की प्रधानमंत्री जी के जन्म दिवस को स्वच्छता पखवाड़े के रूप में हम सब को मनाना चाहिए। भाजपा कार्यकर्ताओं द्वारा अस्पताल में भर्ती मरीजों की जल्द स्वस्थ होने की कामना की।
युवा मोर्चा नगर अध्यक्ष अनिल सिंह तंवर ने बताया की हॉस्पिटल में भर्ती लोगो को स्वच्छ और स्वस्थ रहने की जानकारी दी। इस अवसर पर जिला मंत्री डालचंद जी साहू, ओबीसी मोर्चा जिला उपाध्यक्ष सत्यनारायण छिपा, नगर पालिका अध्यक्ष कैलाशी देवी खटीक, ओबीसी मोर्चा नगर अध्यक्ष नितिन टेलर, विधानसभा प्रभारी आईटी सेल किरण सिंह जी चुंडावत, नगर पालिका पार्षद विक्रम सिंह चुंडावत, पूर्व जिला कार्यकारिणी सदस्य उमेद सिंह जी चुंडावत,
आईटी सेल नगर संयोजक ऋतुराज सिंह सिसोदिया, वरिष्ठ भाजपा कार्यकर्ता देवी सिंह जी साचौरा, मीडिया प्रभारी कामिल मोहम्मद शेख, युवा मोर्चा प्रवक्ता दिलखुश साहू, समाज सेवी ओम प्रकाश माली, शेर सिंह तवर, अम्बा लाल गुर्जर विष्णु सेन, चिकित्सा प्रकोष्ठ के अध्यक्ष कैलाश शर्मा, खमाण प्रजापत, आदि भारतीय जनता पार्टी कार्यकर्ता उपस्थित थे
मोबाइल हो गया है सड़क दुर्घटना का सबसे बड़ा कारण। मौतों के मामले में भारत पहले नम्बर पर। अजमेर में हुई वर्कशाॅप।
15 सितम्बर को अजमेर में राजस्थान सड़क सुरक्षा सोसायटी और हिन्दुस्तान जिंक लिमिटेड के संयुक्त तत्वावधान में सड़क दुर्घटना और मीडिया कवरेज पर एक कार्यशाला हुई, इस कार्यशाला में जिले भर के थाना अधिकारी, टेªफिक पुलिस के एएसपी राजेश सिंह, डीएसपी निलीमा चौधरी , एडीजे राकेश गोरा, दैनिक नवज्योति के प्रधान सम्पादक दीनबंधु चौधरी, हिन्दुस्तान जिंक के कायड़ यूनिट हैड बलवंत सिंह राठौड़, भारत सरकार के सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी वीरेन्द्र सिंह राठौड़ (सिंगावल) आदि उपस्थित रहे। इस कार्यशाला में स्पेशल गेस्ट के तौर पर मैंने कहा कि बदलते माहौल में सड़क दुर्घटनाओं का सबसे बड़ा कारण मोबाइल फोन हो गया है।
सरकार ने कानून बना रखे हैं, लेकिन ऐसे कानून प्रभावी नहीं है। दुर्घटना के बाद मानवीय दृष्टिकोण अपनाने की जरुरत पुलिस और मीडिया कर्मियों को भी है। अब तो सुप्रीम कोर्ट ने भी साफ साफ कह दिया है कि घायल व्यक्ति को अस्पताल पहुंचाने वाले से कोई पूछताछ नहीं होगी। मेरा यह भी कहना रहा कि जिस प्रकार आम लोगों के वाहनों का बीमा होता है उसी प्रकार सरकार के वाहनों का भी बीमा होना चाहिए। वर्तमान में पुलिस के वाहनों का बीमा नहीं होता।
पुलिस कर्मी जिस वाहन में बैठकर आम लोगों के वाहनों के बीमे के कागजात चेक करते हैं उन्हीं पुलिस वाहनों का बीमा नहीं है। सरकार को ई-रिक्शा को लेकर कोई कानून बनाना चाहिए, क्योंकि शहरी क्षेत्रों में इन वाहनों से दुर्घटनाएं हो रही है। कार्यशाला में भारत सरकार के अधिकारी वीरेन्द्र सिंह राठौड़ ने बताया कि उनकी सोसायटी पिछले कई वर्षों से सड़क दुर्घटना और सड़क सुरक्षा पर कार्य कर रही है। क्योंकि मीडिया की भी महत्वपूर्ण भूमिका होती है। इसलिए किस प्रकार से रिपोेर्टिंग की जाए महत्वपूर्ण है। खबरों में यह बात लिखी जाए कि दुर्घटना की वजह क्या थी। पूरी दुनिया में सबसे ज्यादा सड़क दुर्घटनाओं में मौते भारत में ही होती है। असल में हमारे यहां सड़क सुरक्षा और दुर्घटना को लेकर कोई वैज्ञानिक दृष्टिकोण नहीं है।
आमतौर पर यह माना जाता है कि ड्राइवर की गलती और ओवर स्पीड से दुर्घटना हुई है। जबकि दुर्घटना के अन्य कारण भी होते हैं। इनमें सबसे ज्यादा मौते नेशनल हाईवे पर हो रही है। टोल वसूलने वाली कंपनी को सड़क पर जो इंजीनियरिंग करनी होती है, वह भी नहीं की जा रही है। कार्यशाला में दैनिक नवज्योति के प्रधान सम्पादक दीनबंधु चौधरी ने कहा कि उनके अखबार में सड़क दुर्घटना की खबर के साथ दुर्घटना के कारणों की जानकारी भी विस्तार से लिखी जाएगी। कार्यशाला में हिन्दुस्तान जिंक के यूनिट हैड राठौड़ ने कहा कि कायण स्थित खनन क्षेत्र में सुरक्षा के व्यापक इंतेजाम किए गए हैं। टाइम्स आफ इंडिया के सहायक सम्पादक दीपक दास ने भी रिपोर्टिंग के बारे में विस्तार से जानकारी दी। कार्यशाला में एएसपी राजेश सिंह, एडीजे राकेश गोरा, डीएसपी निलीमा चौधरी, अजमेर प्रेस क्लब के महासचिव विनीत लोहिया आदि ने भी विचार प्रकट किए। जेपी रिसर्च संस्था के प्रमुख जेपी सोनी ने सड़क दुर्घटनाओं के बारे में विस्तार से बताया। यहां यह उल्लेखनीय है कि भारत सरकार के वरिष्ठ अधिकारी वीरेन्द्र सिंह राठौड सिंगावल गांव के रहने वाले हैं और राठौड़ ने सड़क सुरक्षा कानून विषय पर पीएचडी कर रखी है। राठौड़ ने सड़क सुरक्षा पर कई पुस्तकें लिखी है।
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डीएसओ की आईडी चुराकर गरीबों के राशन पर डांका। पुलिस में मामला दर्ज।
अजमेर के जिला रसद अधिकारी द्वितीय विनय कुमार शर्मा की आईडी चुराकर राशन की दुकानों से गेंहू का घोटाला करने का मामला प्रकाश में आया है। इस संबंध में शर्मा ने अजमेर के सिविल लाइन पुलिस स्टेशन पर मुकदमा भी दर्ज करवा दिया है। शर्मा ने अपनी रिपोर्ट में बताया है कि वे 17 से 20 जुलाई तक राजकीय कार्य से सिरोही में कार्यरत थे।
23 जुलाई को उन्होंने पुनः अजमेर कार्यालय में उपस्थिति दर्ज करवाई और 25 जुलाई को जब अपने कम्प्यूटर की जांच पड़ताल की तो पता चला कि उनकी आईडी से राशन की तीन दुकानों से बड़ी मात्रा में गेंहू की बिक्री कर दी गई। महत्वपूर्ण बात ये है कि ये तीनों दुकाने शर्मा के कार्य क्षेत्र से बाहर की हैं। इनमें से दो दुकाने अजमेर शहर में और एक किशनगढ़ में है। पुलिस में दर्ज कराई गई रिपोर्ट के अनुसार अजमेर शहर के राशन विक्रेता कन्हैयालाल और कुंजबिहारी टांक तथा किशनगढ़ शहर के विक्रेता बलेन्द्र सिंह के यहां से गेंहू की सप्लाई अवैध तरीके से की गई।
असल में जिन बीपीएल उपभोक्ताओं के अंगूठे का निशान पाॅस मशीन पर नहीं मिलता है उन उपभोक्ताओं को डीएसओ के आईडी पासवर्ड के जरिए गेंहू की बिक्री की जाती हैं इसके लिए राशन विक्रेता डीएसओ कार्यालय में सूचना देता है। लेकिन प्राथमिक जांच में यह पता चला कि राशन विक्रेता ने उपभोक्ता के बारे में कोई सूचना नहीं दी और गेंहू की बिक्री कर दी।
शर्मा ने अपनी रिपोर्ट में आशंका जताई है कि किसी जानकार ने उनके कम्प्यूटर पर छेड़छाड़ कर आईडी और पासवार्ड चुरा लिया। शर्मा ने इस संबंध में अजमेर की कलेक्टर आरती डोगरा को भी लिखित में शिकायत की है। जिस पर कलेक्टर ने जांच कमेटी भी गठित की है। हालांकि अब डीएसओ शर्मा का तबादला सीकर में इसी पद पर हो गया है। लेकिन शर्मा चाहते हैं कि अपराधियों को सजा मिले।
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अजमेर के पांच कारोबारियों के यहां 21 करोड़ रुपए से ज्यादा की अघोषित आय उजागर।
आयकर विभाग ने अजमेर के जिन पांच कारोबारियों के यहां 12 सितम्बर से जो छापामार कार्यवाही शुरू की थी वह 14 सितम्बर को भी जारी रही। तीन दिन की अवधि में जो दस्तावेज बरामद किए उसके आधार पर ही पांचों कारोबारियों के यहां 21 करोड़ रुपए से भी ज्यादा की अघोषित आय उजागर हुई है।
विभाग के कोई सौ अधिकारियों और कर्मचारियों की टीम संयुक्त आयकर आयुक्त एम रघुवीर के निर्देशन में काम कर रही है। जांच पड़ताल की गंभीरता का अंदाजा इसी से लगता है कि पिछले तीन दिन से एम रघुवीर भी अजमेर में मौजूद हैं। जानकार सूत्रों के अनुसार नया बाजार स्थित लकड़ी और प्लाइवुड के कारोबारी रामप्रकाश प्रेम प्रकाश के यहां कोई 10 करोड़ रुपए की अघोषित सम्पत्ति आंकी गई। इस फर्म के नया बाजार स्थित निवास, गेगल और सराधना स्थित फेक्ट्रियों से एक करोड़ 5 लाख रुपए की नकद राशि बरामद की, जबकि पांच करोड़ 12 लाख रुपए का सोना जेवरात बरामद हुआ।
इसी प्रकार पड़ाव स्थित जैन नमकीन के मालिक कमल जैन के आवास और व्यापारिक प्रतिष्ठानों से 83 लाख रुपए नकद, तीन करोड़ की ज्वैलरी का पता चला। जैन के यहां तीन करोड़ 50 लाख की अघोषित सम्पत्ति आंकी गई। इसी प्रकार पुष्कर रोड स्थित हैचरी कारोबारी कैलाश केवलरमानी और महेश केवलरमानी के आवास तबीजी स्थित पोल्ट्री फार्म से 25 लाख रुपए नकद तथा 1 करोड़ 50 लाख रुपए की ज्वैलरी बरामद की। केवलरमानी के यहां 6 करोड़ 50 लाख रुपए की अघोषित सम्पत्ति आंकी गई।
ब्रोकर सत्यनारायण जाजू के यहां 5 करोड़ रुपए नकद बरामद किए गए। जाजू के यहां भी कई करोड़ रुपए की अघोषित सम्पत्ति मिली है। जाजू के यहां कुछ दस्तावेज हवाला कारोबार के भी बरामद किए गए हैं। वहीं डीडराइटर अनिल भारद्वाज के यहां से 30 लाख रुपए नकद बरामद हुए हैं, यहां एक करोड़ रुपए की अघोषित सम्पत्ति आंकी जा रही है। सूत्रों ने बताया कि अनिला भारद्वाज का हवाला कारोबार से संबंध नहीं पाया गया है।
व्यापार जगत में हड़कंपः
तीन दिनों से आयकर विभाग ने जो छापामार कार्यवाही की है, उससे अजमेर के व्यापार जगत में हड़कंप मचा हुआ है। माना जा रहा है कि आयकर विभाग ने इन कारोबारियों के यहां से जो दस्तावेज बरामद किए हैं उनसे अन्य व्यापारी भी जांच के दायरे में शामिल हो सकते हैं। वहीं आयकर विभाग के सूत्रों के अनुसार अजमेर में अभी जांच पड़ताल का काम जारी रहेगा।
व्यापारियों के प्रतिनिधियों का कहना है कि बाजार में पहले से ही मंदी का दौर चल रहा है, ऐसे में छापामार कार्यवाही के बाद हालात और बिगड़ंेगे। विभाग ने जिन कारोबारियों के यहां ताजा कार्यवाही की है उनके बारे में यह माना जाता है कि वे टैक्स का भुगतान ईमानदारी के साथ करते हैं।
अजमेर में कारोबारियों के यहां अघोषित सम्पत्तियां, नकद राशि और ज्वैलरी मिली। आयकर विभाग की जांच का काम जारी। ब्रोकर और डीडराइटर की वजह से उलझ सकते हैं 100 और कारोबारी।
अजमेर शहर के पांच प्रमुख कारोबारियों के यहां आयकर विभाग ने 12 सितम्बर को जो छापामार कार्यवाही की वह 13 सितम्बर को भी जारी रही। हालांकि डीडराइटर अनिल भारद्वाज और ब्रोकर सत्यनारायण जाजू के यहां से विभाग की टीमें लौट आई, लेकिन नया बाजार के प्रमुख लकड़ी और प्लाइवुड के रामगोपाल प्रेम प्रकाश, पड़ाव स्थित जैन नमकीन के कमल जैन तथा पुष्कर रोड स्थित हैचरी के मालिक महेश केवलरमानी व कैलाश केवल रमानी के यहां जांच का काम जारी है।
आयकर विभाग की यह कार्यवाही संयुक्त आयकर आयुक्त एम रघुवीर के निर्देशन में हो रही है। कार्यवाही की गंभीरता का अंदाजा इससे लगाया जा सकता है कि एम रघुवीर भी अजमेर में ही डेरा डाले हुए हैं। जानकार सूत्रों के अनुसार कारोबारियों के यहां से अघोषित सम्पत्तियों के साथ-साथ बड़ी मात्रा में नकद राशि और करोड़ों रुपए की जैवलरी मिली है। विभाग की जांच का काम अभी जारी है।
विभाग के अधिकारियों को बेनामी सम्पत्तियों के मिलने की उम्मीद है। बैंक लाॅकरों की तलाशी भी ली जा रही है। पड़ाव स्थित जैन नमकीन के प्रतिष्ठानों और निवास से कोई 75 लाख रुपए की नकद राशि मिलने की जानकारी है। इतनी बड़ी राशि नकद मिलने पर आयकर विभाग को भी आश्चर्य हो रहा है।
उलझ सकते हैं सौ करोबारीः
डीडराइटर अनिल भारद्वाज और ब्रोकर सत्यनारायण जाजू के यहां से जो दस्तावेज बरामद हुए हैं उनसे शहर के 100 कारोबारी उलझ सकते हैं। सूत्रों के अनुसार इन दोनों के जरिए हवाला के माध्यम से भी करोड़ों रुपए का लेन देन हुआ है। यह लेन देन भारत ही नहीं बल्कि सींगापुर, दक्षिण अफ्रीका, इटली, दुबई आदि देशों से भी है। जिन कारोबारियों ने हवाला के माध्यम से करोड़ों रुपए इधर से उधर पहुंचाए उनके नाम आयकर विभाग को मिले हैं। यही वजह है कि अब अजमेर के व्यापार जगत में जबर्दस्त खलबली मच गई है। व्यापारियों का कहना है कि बाजार पहले ही मंद के दौर से गुजर रहा है, उस पर यदि छोटे बड़े व्यापारियों पर इतनी बड़ी कार्यवाही होतीे है तो बाजार के हालात और बिगड़ेंगे। आयकर विभाग कम्प्यूटर, लेपटाॅप, मोबाइल जैसे इलेक्ट्राॅनिक उपकरणों की भी गहनता के साथ जांच पड़ताल कर रहा है।
परबतसर में कांग्रेस की संभाग रैली क्या अजमेर और नागौर में भाजपा की राजनीति पर असर डालेगी? पिछले चुनावों में 18 में से 1 भी सीट कांग्रेस को नहीं मिली।
12 सितम्बर को कांग्रेस ने नागौर जिले के परबतसर कस्बे में अजमेर संभाग की रैली की। एक दिन पहले ही करौली में संभाग स्तरीय रैली की गई थी। आम तौर पर संभाग मुख्यालय पर ही राजनीतिक दलों के कार्यक्रम होते हैं, लेकिन कांग्रेस ने इस परंपरा को तोड़ते हुए ग्रामीण क्षेत्र में रैली करने का निर्णय लिया है, इसलिए 12 सितम्बर को अजमेर मुख्यालय के कार्यकर्ताओं को भी परबतसर जाना पड़ा। यूं तो अजमेर संभाग के टोंक और भीलवाड़ा के कार्यकर्ता भी रैली में पहुंचे, लेकिन भीड़ जुटाने की असली जिम्मेदारी नागौर और अजमेर जिले की ही थी। असल में वर्ष 2013 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की इन दिनों जिलों में बुरी स्थिति रही।
नागौर के 10 और अजमेर के 8 विधानसभा क्षेत्रों में एक पर भी कांग्रेस को सफलता नहीं मिली। नागौर में सिर्फ एक सीट पर निर्दलीय हनुमान बेनीवाल ही जीत पाए। यानि 18 में से 17 सीटों पर भाजपा की जीत हुई, लेकिन बाद में बदली परिस्थितियों से कांग्रेस को उत्साह मिला। सांवरलाल जाट के सांसद बनने के बाद नसीराबाद में हुए उपचुनाव में कांग्रेस की जीत हुई तो लोकसभा के उपचुनाव में स्वर्गीय सांवरलाल जाट के पुत्र रामस्वरूप लाम्बा के भाजपा उम्मीदवार होने के बाद भी कांग्रेस को जीत मिली।
भाजपा के लिए बुरी बात यह रही कि उपचुनाव में सभी विधानसभा क्षेत्रों में हार का सामना करना पड़ा। अब कांग्रेस को लगता है कि भाजपा के गढ़ माने जाने वाले जाट बहुल्य नागौर पर कब्जा कर लिया जाएगा। इसलिए अजमेर संभाग की रैली नागौर के परबतसर उपखंड पर की गई। 12 सितम्बर को जुटी भीड़ से भी कांगेस के नेता उत्साहित है। नागौर के भाजपा सांसद सीआर च ौधरी केन्द्रीय मंत्री हैं तो 9 में से 2 विधायक प्रदेश सरकार में मंत्री है। परिवहन और पीडब्ल्यूडी जैसे मलाईदार महकमे माने जाने वाले विभाग मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के भरोसेमंद यूनुस खान के पास हैं। इस चुनाव में भाजपा सांसद सीआर च ौधरी की प्रतिष्ठा भी दांव पर लगी हुई है। 12 सितम्बर को रैली को सफल बनाने में कांग्रेस ने कोई कसर नहीं छोड़ी। भाजपा के गढ़ में इतनी भीड़ जुटने से कांग्रेस नेताओं के हौंसले बुलंद हैं।
नाथ समाज ने दिया उपखंड अधिकारी डा सापेला के नाम ज्ञापन
आसींद राजस्थान नाथ समाज के प्रदेश अध्यक्ष नाथू नाथ योगी के नेतृत्व में उपखंड अधिकारी को नेशनल हाईवे 158 की विसंगतियों को दूर करने के संदर्भ में ज्ञापन दिया गया
प्रदेश अध्यक्ष द्वारा बताया गया कि गुरु गोरखनाथ धाम सेवा संस्थान मेवाड़ अंचल खारी नदी किनारे केरिया खेड़ा रोड पर आसींद में नाथ समाज के आराध्य देव गोरखनाथ के मंदिर का निर्माण कार्य निर्माणाधीन है
राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 158 के पूर्व में सर्वे के अनुसार राजमार्ग का निर्माण हो रहा है सर्वे कंपनी द्वारा कराए गए पूर्व में सर्वे दूसरा था प्रदेश अध्यक्ष का आरोप है कि कुछ भू माफिया लोगों के व्यक्तिगत फायदा के कारण है
इस नेशनल हाईवे को मंदिर परिष र के बीचो-बीच से होने जा रहा है मंदिर निर्माण में बड़ी क्षति होगी
यदि समय रहते हाईवे की रूपरेखा चेंज नहीं हुई तो नाथ समाज ने आंदोलन करने की चेतावनी दी
इस मौके पर डालू नाथ योगी भवानी शंकर रावल रमेश नाथ योगी लक्ष्मण नाथ योगी लालू नाथ योगी देवनाथ योगी उपस्थित थे
उच्च शिक्षा मंत्री किरण माहेश्वरी ने शनिवार को राजसमन्द जिले की खमनोर पंचायत समिति अन्तर्गत शिशोदा में भामाशाह प्रवासी समाजसेवी मेघराज धाकड़ के पारिवारिक ट्रस्ट मंगल चेरिटेबल ट्रस्ट की ओर से 8 करोड की लागत से बनने वाले राजकीय आदर्श उच्च माध्यमिक विद्यालय के शिलान्यास समारोह में मुख्य अतिथि पद से संबोधित करते हुए यह उद्गार व्यक्त किए।
समारोह की अध्यक्षता सांसद हरिओमसिंह राठौड़ ने की जबकि विशिष्ट अतिथियों के रूप में खमनोर पंचायत समिति की प्रधान श्रीमती शोभा पुरोहित, आध्यात्मिक चिन्तक संत योगी संतोषनाथ महाराज, शिक्षा उप निदेशक युगलबिहारी दाधीच, जिला शिक्षा अधिकारी भरत जोशी सहित जन प्रतिनिधियों, अधिकारियों एवं ग्राम्यजनों तथा विद्यार्थियों ने हिस्सा लिया।
उच्च शिक्षा मंत्री किरण माहेश्वरी एवं सांसद हरिओमसिंह राठौड़ तथा अन्य अतिथियों एवं ट्रस्ट पदाधिकारियों ने शिलान्यास पट्टिका का अनावरण किया।
शानदार और सुन्दर होगा यह
उच्च शिक्षा मंत्री किरण माहेश्वरी ने इस अवसर पर भामाशाह कंकू देवी, सोहनलाल धाकड़, मेघराज धाकड़, अजीत धाकड़ एवं रमेश धाकड़ तथा मंगल चेरिटेबल ट्रस्ट एवं सभी परिवारजनों का अभिनंदन किया और कहा कि मातृभूमि की सेवा और अपनी सरजमीं के लिए बहुआयामी सुख-सुविधाओं को जुटाने, जनजीवन का स्तर ऊँचा उठाने तथा क्षेत्रवासियों के लिए समर्पित दायित्वों के निर्वाह में उनकी भूमिका न केवल ऎतिहासिक बल्कि अनुकरणीय है और इसका अन्य लोगों को अनुसरण करने के लिए आगे आना चाहिए।
उच्च शिक्षा मंत्री ने कहा कि आज अपनी विभिन्न शैक्षिक विकास योजनाओं और नई पीढ़ी के सुनहरे भविष्य को रेखांकित करने वाली गतिविधियों की बदौलत राजस्थान देश में अग्रणी पहचान बना चुका है। उन्होंने विद्यार्थियों से कहा कि वे इनका लाभ लेकर आगे बढ़ें तथा अपने क्षेत्र और प्रदेश का नाम रौशन करें।
उन्होंने बताया कि प्रदेश में एक माह में 56 हजार शिक्षकों की भर्ती का काम पूरा हो जाएगा। इसके लिए काउंसलिंग हो रही है। इससे विद्यालयों मेंं शिक्षकों की कमी दूर हो जाएगी। अकेले राजसमन्द जिले में प्राथमिक विद्यालयों के लिए 676 तथा माध्यमिक विद्यालयों के लिए 751 विषयाध्यापकों की भर्ती एक माह में पूरी हो जाएगी।
उन्होंने शिक्षा विभाग के अधिकारियों से कहा कि वे भामाशाहों द्वारा शैक्षिक विकास के जो भी प्रस्ताव प्रस्तुत किए जाएं, उनमें किसी भी प्रकार की देरी न करें। उच्च शिक्षा मंत्री माहेश्वरी ने कहा कि शैक्षिक विकास में ऎतिहासिक भागीदारी के लिए शिशोदा मूल के निवासी एवं मुम्बई में रह रहे प्रवासी मेघराज धाकड़ को राज्य सरकार द्वारा राज्यस्तरीय सम्मान से सम्मानित किया जाएगा।
सांसद ने बताया अनुकरणीय योगदान
आरंभ में अतिथियों का स्वागत धाकड़ परिवार एवं मंगल चेरिटेबल ट्रस्ट के पदाधिकारियों के साथ ही अशोक धाकड़, विनोद धाकड़, भगवती धाकड़, अजीत धाकड़, प्रधानाचार्य कौशलेन्द्र गोस्वामी, मनीष पालीवाल आदि ने किया। संचालन भानुकुमार वैष्णव ने किया।
समारोह में उप प्रधान दलजीतसिंह चुण्डावत, नाथद्वारा नगरपालिका उपाध्यक्ष परेश सोनी, रमेश धाकड़, नाथद्वारा के दिवंगत विधायक की पत्नी कल्पना कुंवर, केशरसिंह चुण्डावत, बीसी भलावत, मानसिंह बारहठ, भीमसिंह चौहान, योगेन्द्रसिंह चौहान, श्रीकृष्ण पालीवाल, हरदयाल सिंह, संजयसिंह बारहठ
आसींद राजस्थान नाथ समाज के प्रदेश अध्यक्ष नाथू नाथ योगी के नेतृत्व में उपखंड अधिकारी को नेशनल हाईवे 158 की विसंगतियों को दूर करने के संदर्भ में ज्ञापन दिया गया
प्रदेश अध्यक्ष द्वारा बताया गया कि गुरु गोरखनाथ धाम सेवा संस्थान मेवाड़ अंचल खारी नदी किनारे केरिया खेड़ा रोड पर आसींद में नाथ समाज के आराध्य देव गोरखनाथ के मंदिर का निर्माण कार्य निर्माणाधीन है
राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 158 के पूर्व में सर्वे के अनुसार राजमार्ग का निर्माण हो रहा है सर्वे कंपनी द्वारा कराए गए पूर्व में सर्वे दूसरा था प्रदेश अध्यक्ष का आरोप है कि कुछ भू माफिया लोगों के व्यक्तिगत फायदा के कारण है
इस नेशनल हाईवे को मंदिर परिष र के बीचो-बीच से होने जा रहा है मंदिर निर्माण में बड़ी क्षति होगी
यदि समय रहते हाईवे की रूपरेखा चेंज नहीं हुई तो नाथ समाज ने आंदोलन करने की चेतावनी दी
इस मौके पर डालू नाथ योगी भवानी शंकर रावल रमेश नाथ योगी लक्ष्मण नाथ योगी लालू नाथ योगी देवनाथ योगी उपस्थित थे
मेवाड आईटीआई कॉलेज द्वारा किया गया मॉडल, प्रोजेक्ट तथा चार्ट प्रदर्शनी का आयोजन
भीलवाडा जिले के प्रतिष्ठित मेवाड आईटीआई कॉलेज रुपाहेली द्वारा दिनांक 9 अक्टूबर 2018 को मॉडल, प्रोजेक्ट तथा चार्ट प्रदर्शनी का आयोजन रखा गया, कॉलेज प्रशासन द्वारा बच्चों के अन्दर छिपी प्रतिभा को बाहर निकालने के लिए रूपाहेली में स्थित मेवाड आई टी आई कॉलेज मे आगाज Tech fest (आगाज)रखा गया
जिसमें सभी छात्रो ने बहुत ही रोचक प्रोजेक्ट तथा चार्ट बनाये तथा इस प्रोग्राम में एरोमॉडलिग टीम द्वारा एक वर्कशॉप रखी गयी जिसमें हवाई जहाज की कार्य प्रणाली के बारे में बताया इस अवसर पर मॉडल स्कूल के प्रिंसिपल मनीष जी गर्ग कंवलियास स्कूल के प्रिंसिपल मैम गागेडा स्कूल के व्याख्याता श्री शिवराज जी,टोकर वार्ड स्कूल के व्याख्याता शांतिलाल जी पूर्व व्याख्याता जमनालाल जी, व्याख्याता मनीष जी टेलर, बाबू लाल जी रेगर, खेड़ापालोला स्कूल के प्रिंसिपल इख्तियार अली, महावीर जी, सुशील जी लोढा विधायक प्रतिनिधि श्री राजेंद्र जी गुर्जर, किसान मोर्चा अध्यक्ष राम कुमार जी लड्डू बना रूपाली सहित अनेक गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे अंत में कॉलेज निर्देशक हेमराज चौधरी ने बताया की समय समय पर कॉलेज प्रशासन द्वारा विद्यार्थीयो के मनोरंजन तथा सर्वांगीण विकास हेतु इस प्रकार के कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता रहा है, तथा भविष्य में इसी क्रम मे अन्य कार्यक्रमों का आयोजन किया जायेगा |
अजमेर में अब एक अक्टूबर से 50 प्रतिशत पानी की कटौती नहीं होगी। देवनानी के प्रयासों से मिली सफलता। बीसलपुर बांध में 20 दिनों में एक मीटर पानी आया। अभी भी जारी है पानी की आवक। सिंचाई के लिए न हो उपयोग।
इसे अजमेर शहर और जिले के लोगों के लिए खुश खबरी ही कहा जाएगा कि एक अक्टूबर से पेयजल की सप्लाई में 50 प्रतिशत की कटौती नहीं होगी। बीसलपुर बांध में पानी की कमी को देखते हुए उच्च स्तर पर 50 प्रतिशत कटौती का निर्णय लिया गया था। 27 सितम्बर को अजमेर उत्तर के भाजपा विधायक और प्रदेशों के स्कूली शिक्षामंत्री वासुदेव देवनानी ने बताया कि 50 प्रतिशत कटौती को स्थगित करने के लिए उनकी जलदाय मंत्री सुरेन्द्र गोयल से बात हुई। मेेरे आग्रह पर गोयल ने 50 प्रतिशत कटौती को स्थगित करने पर सहमति जताई। सरकार के इस निर्णय से अब अजमेर के नागरिकों को दो-तीन दिन में पेयजल की सप्लाई होती रहेगी।
विभाग के इंजीनियरों से भी कहा गया है कि पेयजल सप्लाई का समय निश्चित किया जाए, ताकि लोगों को परेशानी नहीं हो। फिलहाल 20 प्रतिशत की कटौती जारी रहेगी। देवनानी ने कहा कि इसे ईश्वर की कृपा ही कहा जाएगा कि बीसलपुर बांध में भी पिछले 20 दिनों में एक मीटर पानी की आवक हुई है। गत 7 सितम्बर को बांध का जल स्तर 309.10 मीटर मापा गया था जो 27 सितम्बर को बढ़कर 310.5 मीटर हो गया। चित्तौड़गढ़ जिले के गंभीरी बांध से बीसलपुर में पानी की आवक अभी भी जारी है। ब्राह्मणी नदी का पानी बीसलपुर बांध में लाने के प्रयास भी किए जा रहे हैं।
देवनानी ने कहा कि इस बार बीसलपुर बांध के भराव क्षेत्र में वर्षा नहीं हुई, इसलिए बांध में पानी नहीं आया चूंकि अजमेर के लिए बीसलपुर ही पेयजल का मुख्य और एक मात्र स्त्रोत है, इसलिए लोगों को भी पानी का उपयोग किफायत के साथ करना चाहिए। उनका प्रयास है कि अजमेर के लोगों को पेयजल का संकट नहीं हो। यदि बांध में पानी की आवक जारी रही तो अभी जो 20 प्रतिशत की कटौती की जा रही है, उसे भी खत्म या कम करवाया जाएगा।
हेंडपंप खोदे जाएंगेः
देवनानी ने बताया कि अभावग्रस्त जगहों पर हैंडपम्प खोदे जाएंगे। इसके लिए राज्य सरकार ने स्वीकृति दे दी है।
सिंचाई के लिए पानी का उपयोग न होः
बीसलपुर बांध की भराव क्षमता 315.50 मीटर है। मानसून में जब बांध पूरा भर जाता है, जब पेयजल सप्लाई के साथ टोंक जिले के कई स्थानों पर पानी का उपयोग सिंचाई के लिए भी होता है। 310 मीटर का जल स्तर होने तक सिंचाई के लिए पानी लिया जा सकता है। चूंकि इस बार मानसून का दौर समाप्त होने के बाद बांध का जलस्तर 310 मीटर ही है, इसलिए सिंचाई के लिए बांध से पानी नहीं लिया जाना चाहिए। इसके लिए सभी जनप्रतिनिधियों को मिल कर प्रयास करने चाहिए। साथ ही चम्बल नदी का पानी बीसलपुर बांध में लाने के प्रयास हो, ताकि पेयजल का स्थाई समाधान हो सकता है।
शैक्षिक विकास में राजस्थान अव्वल पायदान पर : किरण माहेश्वरी
राजसमन्द। उच्च शिक्षा मंत्री किरण माहेश्वरी ने शिक्षा के लिए समर्पण और समाजहित में धनराशि के उदारतापूर्वक उपयोग को मानवीय मूल्यों से भरा सामाजिक फर्ज बताते हुए कहा कि आज आवश्यकता इस बात की है कि सामाजिक नवनिर्माण एवं आँचलिक विकास के लिए भामाशाहों से प्रेरणा पाकर हम समाज के प्रति समर्पित रूप से दायित्वों का निर्वाह करें।
उच्च शिक्षा मंत्री किरण माहेश्वरी ने शनिवार को राजसमन्द जिले की खमनोर पंचायत समिति अन्तर्गत शिशोदा में भामाशाह प्रवासी समाजसेवी मेघराज धाकड़ के पारिवारिक ट्रस्ट मंगल चेरिटेबल ट्रस्ट की ओर से 8 करोड की लागत से बनने वाले राजकीय आदर्श उच्च माध्यमिक विद्यालय के शिलान्यास समारोह में मुख्य अतिथि पद से संबोधित करते हुए यह उद्गार व्यक्त किए।
समारोह की अध्यक्षता सांसद हरिओमसिंह राठौड़ ने की जबकि विशिष्ट अतिथियों के रूप में खमनोर पंचायत समिति की प्रधान श्रीमती शोभा पुरोहित, आध्यात्मिक चिन्तक संत योगी संतोषनाथ महाराज, शिक्षा उप निदेशक युगलबिहारी दाधीच, जिला शिक्षा अधिकारी भरत जोशी सहित जन प्रतिनिधियों, अधिकारियों एवं ग्राम्यजनों तथा विद्यार्थियों ने हिस्सा लिया।
उच्च शिक्षा मंत्री किरण माहेश्वरी एवं सांसद हरिओमसिंह राठौड़ तथा अन्य अतिथियों एवं ट्रस्ट पदाधिकारियों ने शिलान्यास पट्टिका का अनावरण किया।
शानदार और सुन्दर होगा यह
अत्याधुनिक सभी सुविधाओं से युक्त और तीन मंजिला बनने वाले इस विद्यालय के लिए भूमि पूजन कंकु देवी-सोहनलाल धाकड़ के हाथों हुआ। उल्लेखनीय है कि राजस्थान का यह ऎसा विद्यालय होगा जिसका निर्माण भामाशाह द्वारा इतनी बड़ी धनराशि से करवाया जा रहा है। कुल 38 कक्षों वाले इस विद्यालय का निर्माण दो वर्ष में पूर्ण होगा। इसमें 16 अध्ययन कक्ष, एक सेमिनार हाल, 7 लेबोरेटरी कक्ष, 1 प्रार्थना सभा हाल तथा एक कांफ्रेंन्स हॉल का निर्माण होगा। इसके साथ ही विद्यालय भवन के सामने विद्यार्थियों के वालीबॉल एवं बॉस्केट बाल के मैदान भी बनाए जाएंगे।
उच्च शिक्षा मंत्री किरण माहेश्वरी ने इस अवसर पर भामाशाह कंकू देवी, सोहनलाल धाकड़, मेघराज धाकड़, अजीत धाकड़ एवं रमेश धाकड़ तथा मंगल चेरिटेबल ट्रस्ट एवं सभी परिवारजनों का अभिनंदन किया और कहा कि मातृभूमि की सेवा और अपनी सरजमीं के लिए बहुआयामी सुख-सुविधाओं को जुटाने, जनजीवन का स्तर ऊँचा उठाने तथा क्षेत्रवासियों के लिए समर्पित दायित्वों के निर्वाह में उनकी भूमिका न केवल ऎतिहासिक बल्कि अनुकरणीय है और इसका अन्य लोगों को अनुसरण करने के लिए आगे आना चाहिए।
उच्च शिक्षा मंत्री ने कहा कि आज अपनी विभिन्न शैक्षिक विकास योजनाओं और नई पीढ़ी के सुनहरे भविष्य को रेखांकित करने वाली गतिविधियों की बदौलत राजस्थान देश में अग्रणी पहचान बना चुका है। उन्होंने विद्यार्थियों से कहा कि वे इनका लाभ लेकर आगे बढ़ें तथा अपने क्षेत्र और प्रदेश का नाम रौशन करें।
उन्होंने बताया कि प्रदेश में एक माह में 56 हजार शिक्षकों की भर्ती का काम पूरा हो जाएगा। इसके लिए काउंसलिंग हो रही है। इससे विद्यालयों मेंं शिक्षकों की कमी दूर हो जाएगी। अकेले राजसमन्द जिले में प्राथमिक विद्यालयों के लिए 676 तथा माध्यमिक विद्यालयों के लिए 751 विषयाध्यापकों की भर्ती एक माह में पूरी हो जाएगी।
उन्होंने शिक्षा विभाग के अधिकारियों से कहा कि वे भामाशाहों द्वारा शैक्षिक विकास के जो भी प्रस्ताव प्रस्तुत किए जाएं, उनमें किसी भी प्रकार की देरी न करें। उच्च शिक्षा मंत्री माहेश्वरी ने कहा कि शैक्षिक विकास में ऎतिहासिक भागीदारी के लिए शिशोदा मूल के निवासी एवं मुम्बई में रह रहे प्रवासी मेघराज धाकड़ को राज्य सरकार द्वारा राज्यस्तरीय सम्मान से सम्मानित किया जाएगा।
सांसद ने बताया अनुकरणीय योगदान
समारोह में अध्यक्षीय उद्बोधन में सांसद हरिओमसिंह राठौड़ ने धाकड़ परिवार एवं ट्रस्ट की समाजोन्मुखी कल्याण गतिविधियों के लिए सराहना की और कहा कि वे उनके कार्य अनुकरणीय हैं तथा इनका अनुसरण करने के लिए भामाशाहों को उदारतापूर्वक आगे आना चाहिए। प्रधान शोभा पुरोहित ने ग्रामीण विकास एवं मानवता की सेवा में ट्रस्ट के योगदान की तारीफ की।
आरंभ में अतिथियों का स्वागत धाकड़ परिवार एवं मंगल चेरिटेबल ट्रस्ट के पदाधिकारियों के साथ ही अशोक धाकड़, विनोद धाकड़, भगवती धाकड़, अजीत धाकड़, प्रधानाचार्य कौशलेन्द्र गोस्वामी, मनीष पालीवाल आदि ने किया। संचालन भानुकुमार वैष्णव ने किया।
समारोह में उप प्रधान दलजीतसिंह चुण्डावत, नाथद्वारा नगरपालिका उपाध्यक्ष परेश सोनी, रमेश धाकड़, नाथद्वारा के दिवंगत विधायक की पत्नी कल्पना कुंवर, केशरसिंह चुण्डावत, बीसी भलावत, मानसिंह बारहठ, भीमसिंह चौहान, योगेन्द्रसिंह चौहान, श्रीकृष्ण पालीवाल, हरदयाल सिंह, संजयसिंह बारहठ
संदीप, संगीता कुंवर, देवीलाल सुथार, कमल हिंगड़, नीरज शर्मा, अजय गुर्जर आदि उपस्थित थे।
एसीबी ने सटीक सूचना पर पकड़ा था इंजीनियर को सवा पांच लाख रुपए के साथ। उलझ सकता है हमदर्द ठेकेदार भी। पीडब्ल्यूडी दफ्तर और बंैकों को खंगाला।
यदि कोई व्यक्ति भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) को सटीक सूचना दे तो एसीबी के ईमानदार अधिकारी तत्काल कार्यवाही करते हैं। ऐसे ही सटीक सूचना पर 18 सितम्बर को अजेर स्थित एसीबी के डीएसपी महिपाल सिंह चौधरी ने कार्यवाही करते हुए पीडब्ल्यूडी के एडिशनल चीफ इंजीनियर एमके गुप्ता को सवा पांच लाख रुपए के साथ पकड़ा। हालांकि गुप्ता को रिश्वत लेते नहीं पकड़ा, इसलिए प्राथमिक पूछताछ के बाद छोड़ दिया गया, लेकिन 20 सितम्बर को डीएसपी चौधरी ने अजमेर स्थित पीडब्ल्यूडी के दफ्तर में उन फाइलों को देखा जो गुप्ता के निर्णयों से जुड़ी है। साथ ही गुप्ता के बैंक खातों से पता लगाया कि उन्होंने कब कब राशि निकाली है। पकड़े जाने के बाद गुप्ता का कहना था कि सवा पांच लाख रुपए की राशि बालाजी कंस्टेªशन के मालिक दिनेश चौधरी की है। चौधरी ने ही अजमेर से रवाना होते वक्त पांच लिफाफे दिए थे और कहा कि जयपुर में मेरा आदमी आकर ले जाएगा।
चूंकि मैं अजमेर से जयपुर आ रहा था, इसलिए लिफाफों को कार में रख लिया। मेरा सवा पांच लाख रुपए की राशि से कोई सरोकार नहीं है। गुप्ता के इस बयान के बाद अब एसीबी के अधिकारियों ने बालाजी कंस्टेªक्शन के मालिक दिनेश चौधरी को बुलाया है। अब ठेकेदार चौधरी को बताना होगा कि यह राशि कहां से आई और अलग अलग लिफाफों में रख कर जयपुर क्यों भेजी जा रही थी? लिफाफे गुप्ता को ही क्यों दिए गए? ठेकेदार की बालाजी कंस्ट्रेशन कंपनी के खातों को भी देखा जाएगा कि इतनी बड़ी राशि की बैंक से निकासी कैसे हुई। भले ही इंजीनियर गुप्ता ने ठेकेदार का नाम ले लिया हो, लेकिन जानकारों की माने तो लिफाफे रिश्वत की राशि के थे।
गुप्ता 18 सितम्बर को जिस लग्जरी कार से जयपुर जा रहे थे वो ही ठेकेदार चौधरी की बताई जा रही है। चौधरी डबल ए श्रेणी के ठेकेदार है और कई सरकारी योजनाओं में मकान, सड़क आदि बनाने का कार्य कर रहे हैं। एसीबी इन निर्माण कार्यों की जांच भी कर सकती है।
मुकदमे के लिए ली जाएगी अनुमतिः
उच्च स्तर पर जुड़े कथित भ्रष्टाचार के इस मामले की जांच कर रहे एसीबी के डीएसपी महिपाल सिंह ने बताया कि अभी सभी पहलुओं पर जांच हो रही है। जांच की रिपोर्ट मुख्यालय भेजी जाएगी और अनुमति मिलने पर दोषी व्यक्तियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज होगा। उन्होंने जागरुक लोगों से अपील की कि सरकारी स्तर पर भ्रष्टाचार मिटाने के लिए एसीबी का सहयोग करें।
एसीबी के अधिकारी सूचना मिलने पर प्रभावी कार्यवाही करते हैं। सूचना देने वाले का नाम भी गुप्त रखा जाता है। बडे़ से बड़े अधिकारी को भी पकड़ने में हिचक नहीं होती है। इसका ताजा उदाहरण पीडब्ल्यूडी के एडिशनल चीफ इंजीनियर का पकड़ा जाना है।
विवादों से घिरी भगवंत यूनिवर्सिटी में अब नेक टीम का दौरा।
गलत तरीके से मार्कशीट और डिग्री देने का मामला लम्बित है।
विवादों से घिरी अजमेर की प्राइवेट भगवंत यूनिवर्सिटी में 20 सितम्बर को नेशनल एस्समेंट एंड ऐक्रीडेशन कौंसिल (नेक) की छह सदस्यीय टीम ने दौरा किया। असल में प्रतिस्पर्धा के दौर में यूनिवर्सिटी को लोकप्रिय और ख्याति प्राप्त बनाने के लिए भगवंत यूनिवर्सिटी के चेयरमैन अनिल सिंह ने नेक टीम को विभिन्न कोर्सेज के निरीक्षण के लिए आमंत्रित किया है। जानकारी के मुताबिक 20 सितम्बर को अजमेर पहुंची नेक की टीम ने नौगांव (असम) के पूर्व कुलपति डीका, आगरा स्थित भीमराव अम्बेडकर यूनिवर्सिटी के कुलपति डीएन जौहार, पंजाब की नेयर यूनिवर्सिटी के विभागाध्यक्ष असीत कुमार, देहरादून के प्रोफेसर विजय जुहाल, जबलपुर की प्रोफेसर दिव्या तथा तमिलनाडु के रामगणेश शामिल हैं।
निजी क्षेत्र में चलने वाली भगवंत यूनिवर्सिटी को यूजीसी से जो मान्यता मिली हुई है उसको लेकर पूर्व में विवाद रहा है। इसलिए गत वर्ष राज्य सरकार की ओर से धारा 44(1) के अंतर्गत इस यूनिवर्सिटी को नोटिस जारी किया गया था। यूनिवर्सिटी पर गलत तरीके से मार्कशीट और डिग्री जारी करने के आरोप हैं। अभी भी यह मामला राज्य सरकार के समक्ष विचाराधीन है। जानकार सूत्रों के अनुसार भगवंत यूनिवर्सिटी में चल रही गड़बड़ियों को लेकर एक शिकायत सीबीआई को भी की गई थी।
इस शिकायत के बाद ही एआईसीटीई की मान्यता को समाप्त कर दिया गया। शिकायत में यह भी आरोप लगाया गया कि यूजीसी के नियमों के अनुरूप भगवंत यूनिवर्सिटी के पास भूमि उपलब्ध नहीं है। ऐसे में नेक टीम के दौरे को महत्वपूर्ण माना जा रहा है। नेक के अधिकारियों का ध्यान भी यूनिवर्सिटी में चल रही अनियमितताओं की ओर दिलाया गया है। वहीं 20 सितम्बर को नेक टीम के सदस्यों ने यूनिवर्सिटी परिसर का विस्तृत दौरा किया और फार्मेसी विभाग के विभिन्न कामकाजों की जानकारी ली।
आसींद नगर में भारतीय जनता युवा मोर्चा एवं ओबीसी मोर्चा नगर द्वारा माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र जी मोदी के जन्मदिवस के उपलक्ष पर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर बीमार लोगों को फल वितरित किए गए।
मंडल अध्यक्ष रामगोपाल तोषनीवाल ने कार्यकर्ताओं को कहां की प्रधानमंत्री जी के जन्म दिवस को स्वच्छता पखवाड़े के रूप में हम सब को मनाना चाहिए। भाजपा कार्यकर्ताओं द्वारा अस्पताल में भर्ती मरीजों की जल्द स्वस्थ होने की कामना की।
युवा मोर्चा नगर अध्यक्ष अनिल सिंह तंवर ने बताया की हॉस्पिटल में भर्ती लोगो को स्वच्छ और स्वस्थ रहने की जानकारी दी। इस अवसर पर जिला मंत्री डालचंद जी साहू, ओबीसी मोर्चा जिला उपाध्यक्ष सत्यनारायण छिपा, नगर पालिका अध्यक्ष कैलाशी देवी खटीक, ओबीसी मोर्चा नगर अध्यक्ष नितिन टेलर, विधानसभा प्रभारी आईटी सेल किरण सिंह जी चुंडावत, नगर पालिका पार्षद विक्रम सिंह चुंडावत, पूर्व जिला कार्यकारिणी सदस्य उमेद सिंह जी चुंडावत,
आईटी सेल नगर संयोजक ऋतुराज सिंह सिसोदिया, वरिष्ठ भाजपा कार्यकर्ता देवी सिंह जी साचौरा, मीडिया प्रभारी कामिल मोहम्मद शेख, युवा मोर्चा प्रवक्ता दिलखुश साहू, समाज सेवी ओम प्रकाश माली, शेर सिंह तवर, अम्बा लाल गुर्जर विष्णु सेन, चिकित्सा प्रकोष्ठ के अध्यक्ष कैलाश शर्मा, खमाण प्रजापत, आदि भारतीय जनता पार्टी कार्यकर्ता उपस्थित थे
मोबाइल हो गया है सड़क दुर्घटना का सबसे बड़ा कारण। मौतों के मामले में भारत पहले नम्बर पर। अजमेर में हुई वर्कशाॅप।
15 सितम्बर को अजमेर में राजस्थान सड़क सुरक्षा सोसायटी और हिन्दुस्तान जिंक लिमिटेड के संयुक्त तत्वावधान में सड़क दुर्घटना और मीडिया कवरेज पर एक कार्यशाला हुई, इस कार्यशाला में जिले भर के थाना अधिकारी, टेªफिक पुलिस के एएसपी राजेश सिंह, डीएसपी निलीमा चौधरी , एडीजे राकेश गोरा, दैनिक नवज्योति के प्रधान सम्पादक दीनबंधु चौधरी, हिन्दुस्तान जिंक के कायड़ यूनिट हैड बलवंत सिंह राठौड़, भारत सरकार के सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी वीरेन्द्र सिंह राठौड़ (सिंगावल) आदि उपस्थित रहे। इस कार्यशाला में स्पेशल गेस्ट के तौर पर मैंने कहा कि बदलते माहौल में सड़क दुर्घटनाओं का सबसे बड़ा कारण मोबाइल फोन हो गया है।
सरकार ने कानून बना रखे हैं, लेकिन ऐसे कानून प्रभावी नहीं है। दुर्घटना के बाद मानवीय दृष्टिकोण अपनाने की जरुरत पुलिस और मीडिया कर्मियों को भी है। अब तो सुप्रीम कोर्ट ने भी साफ साफ कह दिया है कि घायल व्यक्ति को अस्पताल पहुंचाने वाले से कोई पूछताछ नहीं होगी। मेरा यह भी कहना रहा कि जिस प्रकार आम लोगों के वाहनों का बीमा होता है उसी प्रकार सरकार के वाहनों का भी बीमा होना चाहिए। वर्तमान में पुलिस के वाहनों का बीमा नहीं होता।
पुलिस कर्मी जिस वाहन में बैठकर आम लोगों के वाहनों के बीमे के कागजात चेक करते हैं उन्हीं पुलिस वाहनों का बीमा नहीं है। सरकार को ई-रिक्शा को लेकर कोई कानून बनाना चाहिए, क्योंकि शहरी क्षेत्रों में इन वाहनों से दुर्घटनाएं हो रही है। कार्यशाला में भारत सरकार के अधिकारी वीरेन्द्र सिंह राठौड़ ने बताया कि उनकी सोसायटी पिछले कई वर्षों से सड़क दुर्घटना और सड़क सुरक्षा पर कार्य कर रही है। क्योंकि मीडिया की भी महत्वपूर्ण भूमिका होती है। इसलिए किस प्रकार से रिपोेर्टिंग की जाए महत्वपूर्ण है। खबरों में यह बात लिखी जाए कि दुर्घटना की वजह क्या थी। पूरी दुनिया में सबसे ज्यादा सड़क दुर्घटनाओं में मौते भारत में ही होती है। असल में हमारे यहां सड़क सुरक्षा और दुर्घटना को लेकर कोई वैज्ञानिक दृष्टिकोण नहीं है।
आमतौर पर यह माना जाता है कि ड्राइवर की गलती और ओवर स्पीड से दुर्घटना हुई है। जबकि दुर्घटना के अन्य कारण भी होते हैं। इनमें सबसे ज्यादा मौते नेशनल हाईवे पर हो रही है। टोल वसूलने वाली कंपनी को सड़क पर जो इंजीनियरिंग करनी होती है, वह भी नहीं की जा रही है। कार्यशाला में दैनिक नवज्योति के प्रधान सम्पादक दीनबंधु चौधरी ने कहा कि उनके अखबार में सड़क दुर्घटना की खबर के साथ दुर्घटना के कारणों की जानकारी भी विस्तार से लिखी जाएगी। कार्यशाला में हिन्दुस्तान जिंक के यूनिट हैड राठौड़ ने कहा कि कायण स्थित खनन क्षेत्र में सुरक्षा के व्यापक इंतेजाम किए गए हैं। टाइम्स आफ इंडिया के सहायक सम्पादक दीपक दास ने भी रिपोर्टिंग के बारे में विस्तार से जानकारी दी। कार्यशाला में एएसपी राजेश सिंह, एडीजे राकेश गोरा, डीएसपी निलीमा चौधरी, अजमेर प्रेस क्लब के महासचिव विनीत लोहिया आदि ने भी विचार प्रकट किए। जेपी रिसर्च संस्था के प्रमुख जेपी सोनी ने सड़क दुर्घटनाओं के बारे में विस्तार से बताया। यहां यह उल्लेखनीय है कि भारत सरकार के वरिष्ठ अधिकारी वीरेन्द्र सिंह राठौड सिंगावल गांव के रहने वाले हैं और राठौड़ ने सड़क सुरक्षा कानून विषय पर पीएचडी कर रखी है। राठौड़ ने सड़क सुरक्षा पर कई पुस्तकें लिखी है।
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डीएसओ की आईडी चुराकर गरीबों के राशन पर डांका। पुलिस में मामला दर्ज।
अजमेर के जिला रसद अधिकारी द्वितीय विनय कुमार शर्मा की आईडी चुराकर राशन की दुकानों से गेंहू का घोटाला करने का मामला प्रकाश में आया है। इस संबंध में शर्मा ने अजमेर के सिविल लाइन पुलिस स्टेशन पर मुकदमा भी दर्ज करवा दिया है। शर्मा ने अपनी रिपोर्ट में बताया है कि वे 17 से 20 जुलाई तक राजकीय कार्य से सिरोही में कार्यरत थे।
23 जुलाई को उन्होंने पुनः अजमेर कार्यालय में उपस्थिति दर्ज करवाई और 25 जुलाई को जब अपने कम्प्यूटर की जांच पड़ताल की तो पता चला कि उनकी आईडी से राशन की तीन दुकानों से बड़ी मात्रा में गेंहू की बिक्री कर दी गई। महत्वपूर्ण बात ये है कि ये तीनों दुकाने शर्मा के कार्य क्षेत्र से बाहर की हैं। इनमें से दो दुकाने अजमेर शहर में और एक किशनगढ़ में है। पुलिस में दर्ज कराई गई रिपोर्ट के अनुसार अजमेर शहर के राशन विक्रेता कन्हैयालाल और कुंजबिहारी टांक तथा किशनगढ़ शहर के विक्रेता बलेन्द्र सिंह के यहां से गेंहू की सप्लाई अवैध तरीके से की गई।
असल में जिन बीपीएल उपभोक्ताओं के अंगूठे का निशान पाॅस मशीन पर नहीं मिलता है उन उपभोक्ताओं को डीएसओ के आईडी पासवर्ड के जरिए गेंहू की बिक्री की जाती हैं इसके लिए राशन विक्रेता डीएसओ कार्यालय में सूचना देता है। लेकिन प्राथमिक जांच में यह पता चला कि राशन विक्रेता ने उपभोक्ता के बारे में कोई सूचना नहीं दी और गेंहू की बिक्री कर दी।
शर्मा ने अपनी रिपोर्ट में आशंका जताई है कि किसी जानकार ने उनके कम्प्यूटर पर छेड़छाड़ कर आईडी और पासवार्ड चुरा लिया। शर्मा ने इस संबंध में अजमेर की कलेक्टर आरती डोगरा को भी लिखित में शिकायत की है। जिस पर कलेक्टर ने जांच कमेटी भी गठित की है। हालांकि अब डीएसओ शर्मा का तबादला सीकर में इसी पद पर हो गया है। लेकिन शर्मा चाहते हैं कि अपराधियों को सजा मिले।
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अजमेर के पांच कारोबारियों के यहां 21 करोड़ रुपए से ज्यादा की अघोषित आय उजागर।
आयकर विभाग ने अजमेर के जिन पांच कारोबारियों के यहां 12 सितम्बर से जो छापामार कार्यवाही शुरू की थी वह 14 सितम्बर को भी जारी रही। तीन दिन की अवधि में जो दस्तावेज बरामद किए उसके आधार पर ही पांचों कारोबारियों के यहां 21 करोड़ रुपए से भी ज्यादा की अघोषित आय उजागर हुई है।
विभाग के कोई सौ अधिकारियों और कर्मचारियों की टीम संयुक्त आयकर आयुक्त एम रघुवीर के निर्देशन में काम कर रही है। जांच पड़ताल की गंभीरता का अंदाजा इसी से लगता है कि पिछले तीन दिन से एम रघुवीर भी अजमेर में मौजूद हैं। जानकार सूत्रों के अनुसार नया बाजार स्थित लकड़ी और प्लाइवुड के कारोबारी रामप्रकाश प्रेम प्रकाश के यहां कोई 10 करोड़ रुपए की अघोषित सम्पत्ति आंकी गई। इस फर्म के नया बाजार स्थित निवास, गेगल और सराधना स्थित फेक्ट्रियों से एक करोड़ 5 लाख रुपए की नकद राशि बरामद की, जबकि पांच करोड़ 12 लाख रुपए का सोना जेवरात बरामद हुआ।
इसी प्रकार पड़ाव स्थित जैन नमकीन के मालिक कमल जैन के आवास और व्यापारिक प्रतिष्ठानों से 83 लाख रुपए नकद, तीन करोड़ की ज्वैलरी का पता चला। जैन के यहां तीन करोड़ 50 लाख की अघोषित सम्पत्ति आंकी गई। इसी प्रकार पुष्कर रोड स्थित हैचरी कारोबारी कैलाश केवलरमानी और महेश केवलरमानी के आवास तबीजी स्थित पोल्ट्री फार्म से 25 लाख रुपए नकद तथा 1 करोड़ 50 लाख रुपए की ज्वैलरी बरामद की। केवलरमानी के यहां 6 करोड़ 50 लाख रुपए की अघोषित सम्पत्ति आंकी गई।
ब्रोकर सत्यनारायण जाजू के यहां 5 करोड़ रुपए नकद बरामद किए गए। जाजू के यहां भी कई करोड़ रुपए की अघोषित सम्पत्ति मिली है। जाजू के यहां कुछ दस्तावेज हवाला कारोबार के भी बरामद किए गए हैं। वहीं डीडराइटर अनिल भारद्वाज के यहां से 30 लाख रुपए नकद बरामद हुए हैं, यहां एक करोड़ रुपए की अघोषित सम्पत्ति आंकी जा रही है। सूत्रों ने बताया कि अनिला भारद्वाज का हवाला कारोबार से संबंध नहीं पाया गया है।
व्यापार जगत में हड़कंपः
तीन दिनों से आयकर विभाग ने जो छापामार कार्यवाही की है, उससे अजमेर के व्यापार जगत में हड़कंप मचा हुआ है। माना जा रहा है कि आयकर विभाग ने इन कारोबारियों के यहां से जो दस्तावेज बरामद किए हैं उनसे अन्य व्यापारी भी जांच के दायरे में शामिल हो सकते हैं। वहीं आयकर विभाग के सूत्रों के अनुसार अजमेर में अभी जांच पड़ताल का काम जारी रहेगा।
व्यापारियों के प्रतिनिधियों का कहना है कि बाजार में पहले से ही मंदी का दौर चल रहा है, ऐसे में छापामार कार्यवाही के बाद हालात और बिगड़ंेगे। विभाग ने जिन कारोबारियों के यहां ताजा कार्यवाही की है उनके बारे में यह माना जाता है कि वे टैक्स का भुगतान ईमानदारी के साथ करते हैं।
अजमेर में कारोबारियों के यहां अघोषित सम्पत्तियां, नकद राशि और ज्वैलरी मिली। आयकर विभाग की जांच का काम जारी। ब्रोकर और डीडराइटर की वजह से उलझ सकते हैं 100 और कारोबारी।
अजमेर शहर के पांच प्रमुख कारोबारियों के यहां आयकर विभाग ने 12 सितम्बर को जो छापामार कार्यवाही की वह 13 सितम्बर को भी जारी रही। हालांकि डीडराइटर अनिल भारद्वाज और ब्रोकर सत्यनारायण जाजू के यहां से विभाग की टीमें लौट आई, लेकिन नया बाजार के प्रमुख लकड़ी और प्लाइवुड के रामगोपाल प्रेम प्रकाश, पड़ाव स्थित जैन नमकीन के कमल जैन तथा पुष्कर रोड स्थित हैचरी के मालिक महेश केवलरमानी व कैलाश केवल रमानी के यहां जांच का काम जारी है।
आयकर विभाग की यह कार्यवाही संयुक्त आयकर आयुक्त एम रघुवीर के निर्देशन में हो रही है। कार्यवाही की गंभीरता का अंदाजा इससे लगाया जा सकता है कि एम रघुवीर भी अजमेर में ही डेरा डाले हुए हैं। जानकार सूत्रों के अनुसार कारोबारियों के यहां से अघोषित सम्पत्तियों के साथ-साथ बड़ी मात्रा में नकद राशि और करोड़ों रुपए की जैवलरी मिली है। विभाग की जांच का काम अभी जारी है।
विभाग के अधिकारियों को बेनामी सम्पत्तियों के मिलने की उम्मीद है। बैंक लाॅकरों की तलाशी भी ली जा रही है। पड़ाव स्थित जैन नमकीन के प्रतिष्ठानों और निवास से कोई 75 लाख रुपए की नकद राशि मिलने की जानकारी है। इतनी बड़ी राशि नकद मिलने पर आयकर विभाग को भी आश्चर्य हो रहा है।
उलझ सकते हैं सौ करोबारीः
डीडराइटर अनिल भारद्वाज और ब्रोकर सत्यनारायण जाजू के यहां से जो दस्तावेज बरामद हुए हैं उनसे शहर के 100 कारोबारी उलझ सकते हैं। सूत्रों के अनुसार इन दोनों के जरिए हवाला के माध्यम से भी करोड़ों रुपए का लेन देन हुआ है। यह लेन देन भारत ही नहीं बल्कि सींगापुर, दक्षिण अफ्रीका, इटली, दुबई आदि देशों से भी है। जिन कारोबारियों ने हवाला के माध्यम से करोड़ों रुपए इधर से उधर पहुंचाए उनके नाम आयकर विभाग को मिले हैं। यही वजह है कि अब अजमेर के व्यापार जगत में जबर्दस्त खलबली मच गई है। व्यापारियों का कहना है कि बाजार पहले ही मंद के दौर से गुजर रहा है, उस पर यदि छोटे बड़े व्यापारियों पर इतनी बड़ी कार्यवाही होतीे है तो बाजार के हालात और बिगड़ेंगे। आयकर विभाग कम्प्यूटर, लेपटाॅप, मोबाइल जैसे इलेक्ट्राॅनिक उपकरणों की भी गहनता के साथ जांच पड़ताल कर रहा है।
परबतसर में कांग्रेस की संभाग रैली क्या अजमेर और नागौर में भाजपा की राजनीति पर असर डालेगी? पिछले चुनावों में 18 में से 1 भी सीट कांग्रेस को नहीं मिली।
अजमेर में जीत दर्ज करवा कर निर्दलीय उम्मीदवारों ने दी एनएसयूआई और एबीवीपी को चुनौती।
11 सितम्बर को घोषित हुए छात्र संघ चुनावों में राजकीय कन्या महाविद्यालय, डीएवी काॅलेज और किशनगढ़ के राजकीय महाविद्यालय में अध्यक्ष पद पर निर्दलीय उम्मीदवारों ने जीत दर्ज कर एनएसयूआई और एबीवीपी को चुनौती दी है। वहीं एमडीएस यूनिवर्सिटी तथा पुष्कर, ब्यावर एवं नसीराबाद के काॅलेजों में एबीवीपी के उम्मीदवार विजय हुए हैं। जबकि संस्कृत काॅलेज में एनएसयूआई को सफलता मिली है।
राजकीय कन्या महाविद्यालय में निर्दलीय उम्मीदवार स्वास्ती आर्य अध्यक्ष चुनी गई हैं। असल में पूर्व में स्वास्ती ने एबीवीपी से ही टिकिट मांगा था, लेकिन ऐन मौके पर स्वास्ती का टिकिट काट दिया गया। स्वास्ती की जीत एबीवीपी के लिए मायने रखती है। इसी प्रकार किशनगढ़ काॅलेज में भी निर्दलीय उम्मीदवार शुभम मालाकार ने एबीवीपी के उम्मीदवार को 47 मतों से हराया है, यहां भी शुभम ने एबीवीपी से टिकिट मांगा था, लेकिन क्षेत्रीय विधायक के दखल की वजह से टिकिट नहीं मिला।
किशनगढ़ में गंभीर बात ये रही कि परसराम करीयाल के अलावा एबीवीपी के तीनों उम्मीदवार विजय हुई है। किशनगढ़ नगर परिषद के पूर्व सभापति सुरेश टांक ने कहा कि विजय अध्यक्ष शुभम मालाकार को पुनः एबीवीपी में ही लाया जाएगा। उन्होंने कहा कि काॅलेज के अधिकांश छात्रों की भावनाओं के विपरीत एबीवीपी के उम्मीदवार का चयन हुआ, इसलिए हार का सामना करना पड़ा, लेकिन काॅलेज के अधिकांश विद्यार्थियों ने मालाकार को ही एबीवीपी का असली उम्मीदवार माना। केकड़ी में अध्यक्ष पद को छोड़ कर तीन प्रमुख पदों पर एबीवीपी के उम्मीदवार विजय हुई है।
राजस्थान में अधिकांश यूनिवर्सिटी और काॅलेजों में विद्यार्थी परिषद की जीत से खुश हो सकती है भाजपा।
राजस्थान में सरकारी यूनिवर्सिटीज और काॅलेजों के छात्र संघ के चुनावों के जो परिणाम सामने आए हैं उसमें अधिकांश यूनिवर्सिटी और काॅलेजों में विद्यार्थी परिषद से जुड़े उम्मीदवारों की जीत हुई है। कोई 10 लाख युवा मतदाताओं वाले इस चुनाव के परिणाम 11 सितम्बर को तब आए है, जब राजस्थान में नवम्बर में विधानसभा के चुनाव होने हैं।
हालांकि भाजपा इस बात से इंकार करती है कि विद्यार्थी परिषद उनका अग्रिम संगठन है। लेकिन सब जानते है कि विद्यार्थी परिषद में सक्रिय छात्र नेता ही आगे चल कर भाजपा के सांसद और विधायक बनते हैं। हालांकि कई शहरों में कांग्रेस समर्थित एनएसयूआई का पैनल भी जीता है, लेकिन ज्यादातर जगह पर विद्य़ार्थी परिषद ने कब्जा किया है। पिछले दो लोकसभा और विधानसभा के अधिकाश उपचुनावों में भाजपा को हार का सामना करना पड़ा। लेकिन छात्र संगठनों के चुनाव में विद्यार्थी परिषद की जीत से भाजपा नेता भी उत्साहित हैं।
क्षेत्रीय भाजपा विधायक और मंत्री अब विद्यार्थी परिषद की जीत का श्रेय लेने का कोई मौका नहीं छोड़ रहे हैं। छात्र संघ चुनावों के परिणाम तब सामने आए है, जब कांग्रेस विधानसभा के चुनाव में जीत का दावा कर रही है। हालांकि छात्र संघ और विधानसभा के चुनाव में अंतर होता है। लेकिन विधानसभा के चुनाव में भी यही युवा मतदाता अपने मताधिकार का उपयोग करते हैं।
विद्यार्थी परिषद में सक्रिय छात्र नेताओं को राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ और भाजपा की विचारधारा का ही माना जाता है। इन चुनावों के परिणाम से प्रतीत होता है कि युवाओं का झुकाव भाजपा की ओर है। हालांकि कई स्थानों पर निर्दलीय प्रत्याशियों ने विद्यार्थी परिषद और एनएसयूआई को मात दी है। लेकिन जहां निर्दलीय प्रत्याशी जीते हैं, वहां भी विद्यार्थी परिषद की जीत मानी जा रही है क्योंकि अधिकांश निर्दलीय प्रत्याशी विद्यार्थी परिषद का उम्मीदवार नहीं बन पाने की वजह से चुनाव मैदान में कूदे हैं।
माना जा रहा है कि अधिकांश विजय निर्दलीय प्रत्याशी देर सवेर विद्यार्थी परिषद में ही शामिल हो जाएंगे। छात्र संघ चुनाव परिणाम एनएसयूआई और कांगे्रस के लिए मायूस करने वाले हैं। कहा जा रहा है कि एनएसयूआई के उम्मीदवारों को कांगे्रस का व्यापाक समर्थन नहीं मिला। न ही किसी बड़े कांग्रेसी नेता ने एनएसयूआई के उम्मीदवारों को जिताने में कोई रणनीति बनाई। जबकि विद्यार्थी परिषद के उम्मीदवारों के पीछे भाजपा और संघ की ताकत भी लगी हुई थी। राजस्थान विश्वविद्यालय जयपुर में निर्दलीय प्रत्याशी विनोद जाखड़ विजय हुए हैं।
10 सितम्बर के बंद को सफल बनाने के लिए अजमेर में सड़कों पर उतरे कांग्रेसी। सांसद रघु शर्मा ने संभाली कमान।
पेट्रोल-डीजल के मूल्यों में लगातार वृद्धि और महंगाई के बढ़ने के विरोध में कांग्रेस ने 10 सितम्बर को भारत बंद का आहवान किया है। पिछले पांच माह में यह तीसरा अवसर है जब भारत बंद हो रहा है। भारत बंद के अंतर्गत अजमेर में बंद को सफल बनाने के लिए 8 सितम्बर को कांग्रेस के सांसद रघु शर्मा के नेतृत्व में कार्यकर्ताओं ने प्रमुख बाजारों में लोगों से जनसम्पर्क किया।
कांग्रेसियों ने दुकानदारों से आग्रह किया कि वे 10 सितम्बर को अपने प्रतिष्ठान बंद रखे। सांसद शर्मा के साथ देहात कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष भूपेन्द्र सिंह राठौड़, शहर अध्यक्ष विजय जैन, पूर्व विधायक डाॅ श्रीगोपाल बाहेती, पूर्व मेयर कमल बाकोलिया, प्रदेश मंत्री महेन्द्र सिंह रलावता, दीपक हासानी आदि साथ थे। इससे पहले सांसद शर्मा ने मीडिया से संवाद करते हुए कहा कि अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमती 120 डाॅलर प्रति बैरल थी, तब कांग्रेस के शासन में 75 रुपए प्रति लीटर पेट्रोल की बिक्री की गई।
आज जब अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चा तेल 70 डाॅलर प्रति बैरल मिल रहा है तब देश में पेट्रोल 80 रुपए के पार हो गया है। देश की जनता यह जानना चाहती है कि आखिर पेट्रोल डीजल की कमाई कहां जा रही है। उन्होंने कहा कि पेट्रोल डीजल महंगाई के बढ़ने से आम लोगों में सरकार के प्रति गुस्सा है।
इस गुस्से को इजहार करने के लिए ही कांग्रेस ने 10 सितम्बर को भारत बंद का आहवान किया है। उन्होंने कहा कि दस सितम्बर को अजमेर जिले में पूर्ण बंद रखा जाएगा। सांसद ने जिले भर के दुकानदारों से भी अपील की है कि वे स्वैच्छा से अपने प्रतिष्ठान बंद रखे। उन्होंने कहा कि बंद को सफल बनाने के लिए कांग्रेस ने रणनीति बनाई है।
देश में अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता जरूरी-ओम थानवी
अजमेर में पीयूसीएल का जिला सम्मेलन।
8 सितम्बर को अजमेर में पीपुल्स यूनियन फाॅर सिविल लिबर्टीज संगठन (पीयूसीएल) का जिला सम्मेलन हुआ। सम्मेलन में मुख्यवक्ता के तौर पर बोलते हुए देश के वरिष्ठ पत्रकार ओम थानवी ने कहा कि लोकतंत्र में अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता होना जरूरी है। आज देश में ऐसा माहौल बन रहा है कि जिसमें लगता है कि अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता को कमजोर किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि किसी भी देश का लोकतंत्र तभी मजबूत रहेगा, जब बोलने की आजादी हो। हो सकता है कि ऐसी आजादी सत्ता में बैठे लोगों को पसंद न हो। लेकिन लोकतंत्र में कौन कब सत्ता में आ जाए कुछ नहीं कहा जा सकता। उन्होंने कहा कि भारत में अभिव्यक्ति की आजादी का पुराना इतिहास रहा है।
उन्होंने माना कि अब मीडिया घरानों पर भी दबाव आने लगा है। लेकिन फिर भी भारत का मीडिया काफी हद तक स्वतंत्रता के साथ कार्य कर रहा है। सम्मेलन में प्रख्यात समाज सेविका अरुणा राॅय ने महाराष्ट्र पुलिस के द्वारा पांच बुद्धिजीवियों को गिरफ्तार करने की निंदा करते हुए कहा कि आज देश में भय का माहौल बनाया जा रहा है। सरकार किस तरह से काम कर रही है इसका अंदाजा सुप्रीम कोर्ट के दखल से लगाया जा सकता है। महाराष्ट्र पुलिस ने जिन पांच प्रमुख बुद्धिजीवियों को नक्सवादियों की मदद के आरोप में गिरफ्तार किया उनकी गिरफ्तारी पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगाई है।
सम्मेलन में अरुणा राॅय की पुस्तक आरटीआई कैसे आई का लोकार्पण भी किया गया। सम्मेलन में कामरेड डीएल त्रिपाठी ने कहा कि आज विपक्ष की आवाज को दबाया जा रहा है। राष्ट्रवाद के नाम पर ऐसा माहौल खड़ा किया जा रहा है जिसमें विरोधियों को देशद्रोही साबित किया जा सके। सम्मेलन में अनंत भटनागर ने पीयूसीएल की गतिविधियों पर प्रकाश डाला। सिस्टर गीता कैरोल ने भी विचार व्यक्त किए।
75 वर्ष पुराना हो गया अजमेर के आदर्श नगर का शिव मंदिर।
सात दिवसीय समारोह में पंडित विजय शंकर मेहता भी आएंगे।
अजमेर के आदर्श नगर में स्थापित शिव मंदिर अब 75 वर्ष पुराना हो गया है, हीरक जयंती का समारोह धूमधाम से मनाया जा रहा है। मंदिर विकास समिति के अध्यक्ष प्रहलाद सिंह पीह उपाध्यक्ष वीके अग्रवाल, सचिव हरीशचंद बंसल, कोषाध्यक्ष वीपी मित्तल, संयुक्त सचिव सुनील गोयल तथा लाल नाथानी ने बताया कि 12 से 18 सितम्बर के बीच अनेक कार्यक्रम मंदिर परिसर में आयोजित किए गए हैं।
12 सितम्बर को कलश यात्रा के साथ ध्वजा रोहण, 13 सितम्बर को आदर्श नगर क्षेत्र में प्रभात फेरी, 13 सितम्बर को गणेश चतुर्थी के अवसर पर प्रातः 9 बजे से हवन व आरती, 14 सितम्बर को सायं सात बजे से वृंदावन के कलाकारों द्वारा रासलीला का मंचन, 15 सितम्बर को 501 आसनों पर सुंदरकांड पाठ 17 सितम्बर को सायं सात बजे विमल गर्ग और नरेश सैनी के द्वारा भजनों की प्रस्तुति, 18 सितम्बर को सम्मान समारोह के साथ कार्यक्रम का समापन होगा।
उन्होंने बताया कि 12 सितम्बर से 17 सितम्बर तक दोपहर डेढ़ बजे से सायं साढ़े पांच बजे तक मुम्बई के प्रसिद्ध संत चिदम्बरानंद महाराज के द्वारा शिवपुराण कथा का वाचन होगा। इसी प्रकार 16 सितम्बर को सायं सात बजे हनुमान चालीसा एवं जीवन प्रबंधन पर पंडित विजय शंकर मेहता के व्याख्यान होंगे।
चुनाव से पहले पुष्कर में रावत राजनीति में उबाल। संसदीय सचिव सुरेश सिंह रावत भी उलझे। मारपीट के बाद पुलिस में मुकदमे दर्ज।
रावत बहुल्य माने जाने वाले अजमेर जिले के पुष्कर विधानसभा क्षेत्र में इन दिनों रावत राजनीति में उबाल है। 9 सितम्बर को पुष्कर में रावत धर्मशाला में हुए प्रतिभा सम्मान समारोह में इतने हालात बिगड़े कि पुलिस को बुलाना पड़ा। अब क्षेत्रीय विधायक और संसदीय सचिव सुरेश सिंह रावत के समर्थकों तथा राजस्थान रावत महासभा के प्रदेशाध्यक्ष डाॅ.शैतान सिंह रावत की ओर से पुलिस में मारपीट के नामजद मुकदमे दर्ज करवा दिए हैं।
पुष्कर स्थित कपालेश्वर महादेव मंदिर के महंत और रावत समुदाय में दखल रखने वाले सेवानंद गिरी का कहना है कि विधायक सुरेश रावत लगातार अपना जनाधार खोते जा रहे हैं। पिछले दिनों मैंने एक कार्यक्रम में भाजपा के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद डाॅ. किरोडीलाल मीणा को बुलाया था, तभी से विधायक रावत नाराज चल रहे हैं।
9 सितम्बर को भी रावत प्रतिभा सम्मान समारोह में मेरी उपस्थिति पर सुरेश रावत के समर्थकों ने एतराज जताया। जबकि इस समारोह में मुझे महासभा के अध्यक्ष डाॅ. शैतान सिंह ने सम्मानपूर्वक आमंत्रित किया था। महंत सेवानंद गिरी ने आरोप लगाया कि समारोह में हंगामा करने वालों में विधायक के भाई और कांग्रेस सेवादल के प्रदेश संघठक कुंदन सिंह रावत के समर्थक भी शामिल थे। दिखाने को कुंदन सिंह रावत स्वयं को कांग्रेसी बताते हैं, लेकिन दोनों भाई एक ही हैं।
कुंदन सिंह ने जो रावत सेना बनाई, वह भी विधायक सुरेश रावत के ही काम आती है। उन्होंने कहा कि सुरेश रावत का विरोध अब रावत समाज में ही नहीं बल्कि पूरे विधानसभा क्षेत्र में हो रहा है। इसलिए उनके समर्थक बौखलाए हुए हैं। वहीं रावत महासभा के अध्यक्ष डाॅ. शैतान सिंह रावत का कहना है कि सम्मान समारोह गैर राजनीतिक था इसलिए रावत समाज के किसी भी जनप्रतिनिधि को नहीं बुलाया गया था। यह बात विधायक सुरेश रावत को भी पता थी, लेकिन फिर भी समारोह में हंगामा करवाया। समाज के लोगों को सब पता है कि इसके पीछे कौन है। समय आने पर सबक सिखा दिया जाएगा। समाज के किसी भी जनप्रतिनिधि को घमंड नहीं करना चाहिए। समाज ऐसे जनप्रतिनिधियों का घमंड चूर भी कर देता है।मेरा कोई सरोकार नहीं रावतःवहीं भाजपा विधायक सुरेश सिंह रावत का कहना है कि रावत समाज के सम्मान समारोह में हुए हंगामे से मेरा कोई सरोकार नहीं है। कुछ लोग मेरा नाम घसीट कर मेरी छवि खराब कर रहे हैं। मुझे तो हंगामे के बाद जानकारी मिली। विधायक ने आरोप लगाया कि डाॅ. शैतान सिंह रावत महासभा का कांग्रेसीकरण कर रहे हैं। महंत सेवानंद गिरी के आरोप भी गलत हैं। वहीं विधायक के भाई और कांग्रेस सेवा दल के संघटक कुंदनसिंह रावत का भी कहना रहा कि पुष्कर के समारोह में हुए हंगामे में मेरी कोई भूमिका नहीं है। उनकी रावत सेना तो समाज के उत्थान के लिए कार्य करती है। मैं अपने दम पर कांग्रेस में राजनीति करता हूँ।
विधायक आदि को बुलाना चाहिए था-रावतःजिला परिषद के सदस्य मदन सिंह रावत का कहना रहा कि पुष्कर के सम्मान समारोह में विधायक सुरेश सिंह रावत, पीसांगन के प्रधान अशोक रावत, पूर्व सांसद रासासिंह रावत आदि रावत जनप्रतिनिधियों को बुलाया जाना चाहिए था। उन्होंने कहा कि सेवानंद गिरी अब साधु बन गए हैं, इसलिए रावत समाज से उनका कोई संबंध नहीं है।
विधायक आदि को बुलाना चाहिए था-रावतःजिला परिषद के सदस्य मदन सिंह रावत का कहना रहा कि पुष्कर के सम्मान समारोह में विधायक सुरेश सिंह रावत, पीसांगन के प्रधान अशोक रावत, पूर्व सांसद रासासिंह रावत आदि रावत जनप्रतिनिधियों को बुलाया जाना चाहिए था। उन्होंने कहा कि सेवानंद गिरी अब साधु बन गए हैं, इसलिए रावत समाज से उनका कोई संबंध नहीं है।
रावणा राजपूत कॉलोनी वासियों ने पुलिस उपधीक्षक मीणा को ज्ञापन सौंपा
आसींद नगर के वार्ड नंबर 18 रावणा राजपूत कॉलोनी वासियों ने गत दिनों पूर्व हुई 5 चोरियों का खुलासा नहीं होने से पुलिस उप अधीक्षक महोदय रोहित मीणा को रावणा राजपूत कॉलोनी वासियों ने ज्ञापन सौंपा।
स्थानीय पार्षद अनिल सिंह तंवर ने बताया कि वार्ड नंबर 18 में गत दिनों 5 चोरियों हुई थी जिस पर आज दिन तक पुलिस प्रशासन द्वारा कोई उचित कार्यवाही नहीं किए जाने से कॉलोनी वासियों में आक्रोश भरा हुआ है इस संबंध में आज कॉलोनी वासियों ने अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक को अपना ज्ञापन सौंपा और अतिशीघ्र चोरियों का खुलासा करवाया जावे और चोरी का सामान बरामद करा प्रार्थी गणों को सुपुर्द कराया जावे तथा कॉलोनी वासियों ने रात्रि में विशेष सुरक्षा व्यवस्था उपलब्ध करवाने की मांग रखी ।
जिस पर पुलिस उप अधीक्षक महोदय रोहित मीना ने आश्वासन दिया कि बहुत जल्द चोरी का राज पास किया जायेगा और नगर में गस्त व्यवस्था माकूल की जाएगी।
ज्ञापन देने में वीएचपी जिला मंत्री जगदीश सिंह चौहान बजरंग दल जिला संयोजक ओम प्रकाश माली ABVP नगर संयोजक राहुल सिंह रावत युवा मोर्चा प्रवक्ता दिलखुश साहु IT सेल अध्यक्ष ऋतुराज सिंह सिसोदिया विक्रम सिंह चौहान सुरेंद्र सिंह राधेश्याम धोबी कुलदीप सिंह नरूका बसंत कुमार पुरोहित मनोहर सिंह कच्छावा राजेंद्र सिंह मनीष मेवाड़ा प्रीतम सिंह वीर सिंह कालू जी आदि कॉलोनी वासी उपस्थित है
बरसनी देवनारायण भगवान की भादवी छठ के पावन अवसर पर देवसेना की निकालेगी वाहन रेली धूमधाम से
आसींद उपखंड मुख्यालय स्थित बरसनी पालना देवनारायण मंदिर परिसर में बुधवार को समाज के नेता प्रतिनिधि मनसुख जी गुर्जर वह देव सेना जिला अध्यक्ष लादू लाल गुर्जर, जिला उपाध्यक्ष नारायण हदवा, तहसील अध्यक्ष शंभू लाल गुर्जर देवसेना डिंडोरी के सानिध्य में बैठक हुई।
इसमें सर्व देवसेना भक्तों से भादवी छठ महोत्सव मनाने को विचार विमर्श किया कार्यक्रम के अनुसार 14 सितंबर को भाद्रपद शुक्ल पक्ष की पंचमी पर प्रातः 9: 15 बजे बरसनी देवनारायण मंदिर से गुर्जर समाज वह देवसेना द्वारा वाहन रेली वह शोभा यात्रा निकाली जाएगी जिसमें समाजसेवी रघुनाथ गुर्जर की तरफ से अल्पाहार वह खीर पूड़ी का भोजन कराया जाएगा बरसनी में और लगभग 500 वाहन शामिल होंगे बरसनी से चारभुजा जी के मंदिर से होते हुए जय नगर सगस जी से बनाघर मैं शामिल होकर आसींद पंचायत समिति से सीधी सवाई भोज मंदिर पहुंचेगी और बैठक में अध्यक्ष व उपाध्यक्ष को नियुक्ति प्रमाण पत्र भी दिए गए हैं।
जिसमें बरसनी पंचायत के अध्यक्ष हरलाल निटड वह उपाध्यक्ष गणेश निटड महासचिव गोपाल कोली महामंत्री दिनेश गुर्जर संगठन मंत्री रामकरण गुदा खेड़ा वह सोडास पंचायत के अध्यक्ष भेरुलाल गुर्जर उपाध्यक्ष कन्हैया लाल गुर्जर और जगपुरा पंचायत के उपाध्यक्ष गोपाल गुर्जर दोला खेड़ा महासचिव धर्मी चंद गुर्जर शंभूगढ़ उप तहसील मीडिया प्रभारी पुखराज गुर्जर आकड़ सादा पंचायत अध्यक्ष हेमराज गुर्जर को नियुक्त किया गया । भंवरलाल भडाणा ने बताया कि बैठक में भेरू निटड, मांगू भढ़ाणा,प्रभु भढ़ाणा, देवीलाल भढ़ाणा, उगमाराम कालूराम, सुरेश निटड, रामलाल निटड, नंदलाल निटड, कई समाज के लोग मौजूद थे।
राजस्थान में सचिन पायलट की सिफारिश से ही मिलेंगे टिकिट। जन्म दिन पर माला पहनाने वालों की जबर्दस्त भीड़।
केरल में आई बाढ़ के मद्देनजर राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष सचिन पायलट ने पहले ही कह दिया था कि इस बार उनका जन्म दिन सादगी से मनाया जाएगा। लेकिन 7 सितम्बर को प्रदेश भर में कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने अपने अपने नजरिए से पायलट का जन्म दिन मनाया। जिला कांग्रेस कमेटियों ने अपने-अपने दफ्तरों में केक काटने की रस्म से लेकर अनेक आयोजन किए तो जयपुर में प्रदेश मुख्यालय पर पायलट स्वयं उपस्थित रहे। दूर दराज से आए किसी भी नेता और कार्यकर्ता को पायलट ने निराश नहीं किया। सभी से माला पहनी और शुभकामनाएं ली।
पायलट दिनभर प्रदेश कार्यालय में उपस्थित रहे। चूंकि नवम्बर में विधानसभा के चुनाव होने हैं, इसलिए इस बार पायलट का जन्मदिन मनाने को लेकर नेताओं में कुछ ज्यादा ही उत्साह देखा गया। टिकट के दावेदारों ने अपने-अपने विधानसभा क्षेत्रों में स्वयं के फोटो के साथ बड़े-बड़े होर्डिंग लगाए। ऐसे दावेदारों ने पायलट को जयपुर में भी माला पहनाई। 7 सितम्बर को जिस तरह प्रदेश भर में पायलट के जन्मदिन के होर्डिंग लगे और प्रदेश कार्यालय में भीड़ रही उससे साफ संदेश है कि चुनाव में पायलट की सिफारिश से ही टिकिट मिलेगा। प्रदेश की राजनीति में तेजी के साथ बदलाव हो रहा है उससे भी कांग्रेस के कार्याकर्ताओं को लगने लगा है कि उम्मीदवार चयन का एक मात्र आधार पायलट की सिफारिश होगा। हालांकि कांग्रेस ने उम्मीदवार चयन की प्रक्रिया बनाई है, लेकिन प्रक्रिया पायलट से प्रभावी नहीं है। इसमें कोई दो राय नहीं कि पिछले चार वर्षों में पायलट ने प्रदेश भर में कांग्रेस संगठन को अपने पैरों पर खड़ा किया।
पायलट ने प्रदेश अध्यक्ष का पद तब संभाला जब विधानसभा और लोकसभा के चुनाव में कांग्रेस बुरी तरह हार गई थी। लोकसभा में सभी 25 सीटों पर हार मिली तो विधानसभा में 200 में से मात्र 21 विधायक ही कांग्रेस के टिकिट पर जीत दर्ज कर सके। लेकिन विधानसभा के चुनाव आते आते पायलट के नेतृत्व में लोकसभा के दोनों उपचुनाव और विधानसभा के अधिकांश उपचुनाव में कांग्रेस ने जीत दर्ज की।
पायलट ने प्रदेश अध्यक्ष का पद तब संभाला जब विधानसभा और लोकसभा के चुनाव में कांग्रेस बुरी तरह हार गई थी। लोकसभा में सभी 25 सीटों पर हार मिली तो विधानसभा में 200 में से मात्र 21 विधायक ही कांग्रेस के टिकिट पर जीत दर्ज कर सके। लेकिन विधानसभा के चुनाव आते आते पायलट के नेतृत्व में लोकसभा के दोनों उपचुनाव और विधानसभा के अधिकांश उपचुनाव में कांग्रेस ने जीत दर्ज की।
लोकसभा के उपचुनाव में तो सभी 16 विधानसभा क्षेत्रों में कांग्रेस की एक तरफा जीत ने पायलट का झंडा बुलंद कर दिया। आज भले ही पायलट 41 वर्ष के हुए हो लेकिन उनका राजनीतिक कद कांग्रेस के 80 वर्ष के नेताओं से भी बड़ा है। यही वजह है कि पायलट को कांग्रेस में स्वाभाविक तौर पर मुख्यमंत्री पद का दावेदार माना जा रहा है।
राजनीतिक दलों के बगैर ही हो गया शांतिपूर्ण भारत बंद। राजनेता जनता के इस मूड को समझें।
आमतौर पर भारत या प्रदेश में बंद राजनीतिक कारणों से राजनीतिक दल ही करवाते हैं, लेकिन 6 सितम्बर को राजनीतिक दलों के बगैर ही शांतिपूर्ण तरीके से भारत बंद हो गया। अजमेर सहित देश के प्रमुख शहरों में न तो मोटे डंडे और नंगी तलवारें लहरी। असल में देश के लोगों ने 6 सितम्बर को बंद रखने का मूड पहले से ही बना लिया था। यानि बिना किसी दबाव अथवा आग्रह के लोगों ने स्वेच्छा से बंद में सहयोग किया। सामान्य वर्ग के सरकारी अधिकारी और कर्मचारी भी स्वेच्छा से दफ्तर नहीं गए। सवाल यह नहीं है कि मुसलमान और ओबीसी वाले सामान्य वर्ग ने किसी एक्ट का विरोध किया है? सवाल यह है कि जब सबका साथ सबका विकास का नारा दिया गया है तो फिर आरोपों की जांच के बगैर ही गिरफ्तारी क्यों? दहेज प्रताड़ना, गैंगरेप जैसे प्रकरणों में भी आरोपों की जांच के बाद ही गिरफ्तारी होती है। जांच एजेंसियां पर्याप्त सबूत जुटाने के बाद ही आरोपी को गिरफ्तार करती हैं। देश में मजबूत होते लोकतंत्र में जाति के आधार पर किसी को भी अपमानित नहीं किया जा सकता। इसलिए एससी एसटी एक्ट बनाया गया, जिसके सख्त प्रावधान है, लेकिन न्याय की भी मांग है कि आरोपों की जांच भी होनी चाहिए।
लोकतंत्र में तो एससी एसटी वर्ग के लोग भी आईएएस और आईपीएस जैसे बड़े पदों पर बैठे हैं और राजनीति में मंत्री, मुख्यमंत्री, केन्द्रीयमंत्री यहां तक देश के राष्ट्रपति तक किसी वर्ग के हैं। क्या ऐसे में किसी की हिम्मत है तो आरोपों की जांच में कौताही बरते। आज की प्रशासनिक और राजनीतिक व्यवस्था में किसी की भी हिम्मत नहीं जो आरोपी को बचा सके। संविधान में जब सभी को समान अधिकार है तो फिर किसी के साथ अन्याय भी नहीं होना चाहिए। 6 सितम्बर के भारत बंद से देश के राजनेताओं को भी सबक लेना चाहिए कि वे ऐसा कोई कार्य नहीं करे, जिससे समाज का एक वर्ग नाराज होता हो। इसे राजनेताओं की मजबूरी ही कहा जाएगा कि 6 सितम्बर के भारत बंद के समर्थन में कोई भी सामने नहीं आया। ऐसा लगा कि राजनेताओं को सामान्य वर्ग से कोई सरोकार ही नहीं है। ऐसे मुसीबत के समय में इस वर्ग को अपने हाल पर छोड़ दिया गया। कांग्रेस को यह नहीं समझना चाहिए कि यह बंद भाजपा के खिलाफ है, क्योंकि जब एक्ट में संशोधन वाला प्रस्ताव संसद में सरकार ने रखा, तब कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों ने भी समर्थन किया था। ऐसे में कांग्रेस अपनी जिम्मेदारी से बच नहीं सकती।
बनी रहे सामाजिक समरसताः
भारत के पड़ौसी देशों के जो हालात है उन्हें देखते हुए भारत में सामाजिक समरसता बनी रहनी चाहिए। कोई किसी भी जाति या वर्ग हो, सभी को एकजुटता दिखानी चाहिए। किन्हीं कारणों से यदि समाज में विभाजन होता है तो उन विदेशी ताकतों को बल मिलेगा जो हमारी एकता और अखंडता को तोड़ना चाहते हैं।
बनी रहे सामाजिक समरसताः
भारत के पड़ौसी देशों के जो हालात है उन्हें देखते हुए भारत में सामाजिक समरसता बनी रहनी चाहिए। कोई किसी भी जाति या वर्ग हो, सभी को एकजुटता दिखानी चाहिए। किन्हीं कारणों से यदि समाज में विभाजन होता है तो उन विदेशी ताकतों को बल मिलेगा जो हमारी एकता और अखंडता को तोड़ना चाहते हैं।
बदलते माहौल में अग्रवाल समाज को भी एकता का प्रदर्शन करना होगा, राजनीति तभी काबू में आती है। हमारा समाज सिर्फ चंदा देने के लिए नहीं है-प्रदीप मित्तल।
1 सितम्बर को अखिल भारतीय अग्रवाल संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रदीप मित्तल ने अपने अजमेर प्रवास में संगठन के जिला पदाधिकारियों से मुलाकात की। इस मौके पर मित्तल ने दो टूक शब्दों में कहा कि तेजी से बदलते माहौल में अग्रवाल समाज को भी एकता दिखानी होगी।
आज देश की राजनीति पर एकता से ही असर डाला जा सकता है। जो समाज एकजुट हुआ उसे राजनीति में फायदा मिला। मैं पिछले चालीस वर्षों से अग्रवाल समाज में सक्रिय हूँ और मैंने कभी भी किसी भी राजनीतिक दल से कोई फायदा नहीं लिया। मेरा प्रयास होता है कि विभिन्न राजनीतिक दलों में सक्रिय अग्रवाल समाज के नेताओं की स्थिति को मजबूत किया जाए।
इसके लिए मैं जो कुछ भी संभव होता है वो करता हंू। उन्होंने कहा कि चुनाव और अन्य मौकों पर विभिन्न राजनीतिक दल अग्रवाल समाज से चंदा लेते हैं। लेकिन जब समाज के किसी व्यक्ति का कोई काम पड़ता है तो ऐसे दल के नेता सहयोग नहीं करते। इसका मुख्य कारण ये है कि राजनीति के क्षेत्र में अग्रवाल समाज की स्थिति बेहद कमजोर है। उन्होंने माना कि अग्रवाल समाज कई धड़ों में बंटा हुआ है। जिसकी वजह से राजनेताओं पर असर नहीं होता।
समाज में ऐसे लोगों को आगे आना चाहिए जो बिना किसी स्वार्थ के काम करें। मित्तल ने कहा कि मेरा किसी दल से कोई विरोध नहीं है। लेकिन देशभर का व्यापारी वर्ग यह महसूस करता है कि पिछले चार-पांच सालों में व्यापार में बहुत मंदी आई है। जिन लोगों ने बैंकों से लोन ले रखा है वो लोन की किश्त चुकाने की स्थिति में भी नहीं है। अजमेर पहुंचने पर संगठन की जिला ईकाई के अध्यक्ष अशोक गोयल, संरक्षक चांदकरण अग्रवाल, एसएन मोदी, शैलेन्द्र अग्रवाल, सुरेश अग्रवाल, अविनाश गुप्ता, ललित डीडवानिया, प्रवीण अग्रवाल, मनीष गोयल, यतीश अग्रवाल आदि ने मित्तल का स्वागत किया। इस अवसर पर मित्तल को जिला ईकाई की गतिविधियों से अवगत भी करवाया गया।
गौरव यात्रा के पहुंचने से पहले बाड़मेर के हालात तनावपूर्ण।
पुलिस ने घरों पर भी लगाई पाबंदियां। जसवंत सिंह को लेकर राजपूत समाज में नाराजगी।
राजस्थान की सीएम वसुंधरा राजे की गौरव यात्रा 1 सितम्बर को जोधपुर संभाग के बाड़मेर जिले में पहुंचेगी। यात्रा के पहुंचने से पहले ही बाड़मेर और यात्रा वाले कस्बों में तनावपूर्ण हालात हो गए हैं। हंगामे की आशंका से सिर्फ लोगों को ही पाबंद नहीं किया जा रहा, बल्कि घरों पर भी अनेक पाबंदिया लगाई गई है। बाड़मेर के कोतवाली थानाधिकारी ने बाकायदा एक नोटिस जारी कर घरों के मालिकों को पाबंद किया है कि एक सितम्बर को मुख्यमंत्री की गौरव यात्रा के दौरान किसी भी अनजान व्यक्ति को घर में प्रवेश नहीं दिया जाए तथा यह सुनिश्चित किया जाए कि परिवार का कोई भी सदस्य छत पर चढ़ कर काले झंडे न दिखाए और न ही सरकार विरोधी नारे लगाए। नोटिस में साफ-साफ कहा गया कि आपके घर का उपयोग मुख्यमंत्री के विरोध के लिए नहीं होना चाहिए। यदि ऐसा होता है तो इसे अवांछनीय गतिविधि माना जाएगा। बाड़मेर के लोगों के यह समझ में नहीं आ रहा है कि इस तरह के नोटिस क्यों दिए गए हैं।
राठौड़ का विरोधः
पूर्व केन्द्रीय मंत्री और पिछले कई वर्षों से अस्वस्थ चल रहे जसवंत सिंह को लेकर राजपूत समाज में जो नाराजगी है उसे समाप्त करने के लिए 29 अगस्त को प्रदेश के पंचायतीराज मंत्री राजेन्द्र सिंह राठौड़ ने बाड़मेर का दौरा किया। दो दिनों में राठौड़ ने अनेक राजपूत प्रतिनिधियों से बैठके की, लेकिन इन बैठकों में भी विरोध का सामना करना पड़ा। एक बैठक में इतना विरोध हुआ कि पुलिस को दखल देना पड़ा। बाद में पुलिस ने राजपूत समाज के कई प्रतिनिधियों को शांति बनाए रखने के लिए पाबंद भी किया। यानि राठौड़ ने जो प्रयास किए, उसके परिणाम उल्टे सामने आए।
राठौड़ का विरोधः
पूर्व केन्द्रीय मंत्री और पिछले कई वर्षों से अस्वस्थ चल रहे जसवंत सिंह को लेकर राजपूत समाज में जो नाराजगी है उसे समाप्त करने के लिए 29 अगस्त को प्रदेश के पंचायतीराज मंत्री राजेन्द्र सिंह राठौड़ ने बाड़मेर का दौरा किया। दो दिनों में राठौड़ ने अनेक राजपूत प्रतिनिधियों से बैठके की, लेकिन इन बैठकों में भी विरोध का सामना करना पड़ा। एक बैठक में इतना विरोध हुआ कि पुलिस को दखल देना पड़ा। बाद में पुलिस ने राजपूत समाज के कई प्रतिनिधियों को शांति बनाए रखने के लिए पाबंद भी किया। यानि राठौड़ ने जो प्रयास किए, उसके परिणाम उल्टे सामने आए।
असल में गत लोकसभा के चुनाव में जसवंत सिंह और प्रदेश की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे में सीधा विवाद हो गया था। हालात इतने बिगड़े कि जसवंत सिंह ने निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ा लेकिन वसुंधरा ने भाजपा के उम्मीदवार कर्नल सोनाराम की जीत करवा दी। हालांकि यह राजनीतिक लड़ाई थी, लेकिन बाड़मेर के राजपूत समाज ने इसे जसवंत सिंह के विरोध में माना। इस हार से जसवंत सिंह सदमे में आ गए और आज तक बेहोशी की हालत में हैं। इससे राजपूत समाज में सीएम को लेकर नाराजगी है। राजपूत समाज ही नहीं बल्कि अन्य समाजो के लोग भी प्रशासन को ज्ञापन देकर गौरव यात्रा का विरोध कर रहे हैं।
प्रशासन के लिए चुनौतीः
बाड़मेर में गौरव यात्रा को शांतिपूर्ण तरीके से निकालना अब प्रशासन के लिए चुनौती बन गया है। हालांकि लगातार सख्ती कर हालात को नियंत्रण में लाने के प्रयास किए जा रहे हैं, लेकिन इस सख्ती के बाद भी हालात नियंत्रण में नहीं हो रहे। सख्ती की वजह से लोगों में खासकर राजपूत समाज में नाराजगी बढ़ी है। उल्लेखनीय है कि पूर्व में जोधपुर संभाग में ही पीपाड़ सिटी में गौरव यात्रा पर पत्थर बाजी हो चुकी है।
प्रशासन के लिए चुनौतीः
बाड़मेर में गौरव यात्रा को शांतिपूर्ण तरीके से निकालना अब प्रशासन के लिए चुनौती बन गया है। हालांकि लगातार सख्ती कर हालात को नियंत्रण में लाने के प्रयास किए जा रहे हैं, लेकिन इस सख्ती के बाद भी हालात नियंत्रण में नहीं हो रहे। सख्ती की वजह से लोगों में खासकर राजपूत समाज में नाराजगी बढ़ी है। उल्लेखनीय है कि पूर्व में जोधपुर संभाग में ही पीपाड़ सिटी में गौरव यात्रा पर पत्थर बाजी हो चुकी है।
भाजपा के राज में शिक्षक की नौकरी पाने वाले अब 5 सितम्बर को जयपुर में सीएम वसुंधरा राजे का शुक्रिया अदा करेंगे।
अमरुदों के बाग में सरकारी खर्चे पर जुटेंगे 50 हजार शिक्षक। अनुपस्थित रहने वाले शिक्षक का वेतन कटेगा।
राजस्थान में दिसम्बर 2013 के बाद जिन युवाओं को शिक्षक की नौकरी मिली है वे अब 5 सितम्बर को जयपुर में अमरुदों के बाग में जुटेंगे और मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे का शुक्रिया अदा करेंगे। मालूम हो कि राजे ने 13 दिसम्बर 2013 को ही मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी। हालांकि भाजपा राज में नौकरी पाने वाले शिक्षकों को 5 सितम्बर को शिक्षक दिवस पर सम्मानित करने का बहाना है, लेकिन सिर्फ भाजपा राज के शिक्षकों को ही बुलाने से जाहिर है कि नवम्बर में होने वाले विधानसभा चुनाव को भी ध्यान में रखा गया है।
राजस्थान में दिसम्बर 2013 के बाद जिन युवाओं को शिक्षक की नौकरी मिली है वे अब 5 सितम्बर को जयपुर में अमरुदों के बाग में जुटेंगे और मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे का शुक्रिया अदा करेंगे। मालूम हो कि राजे ने 13 दिसम्बर 2013 को ही मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी। हालांकि भाजपा राज में नौकरी पाने वाले शिक्षकों को 5 सितम्बर को शिक्षक दिवस पर सम्मानित करने का बहाना है, लेकिन सिर्फ भाजपा राज के शिक्षकों को ही बुलाने से जाहिर है कि नवम्बर में होने वाले विधानसभा चुनाव को भी ध्यान में रखा गया है।
चूंकि सभी शिक्षक सरकारी खर्चे पर जुटेंगे, इसलिए शिक्षा विभाग ने वित्त विभाग से 11 करोड़ रुपए की राशि इस सम्मेलन के लिए स्वीकृत कराई है। दिसम्बर 2013 के बाद आरपीएससी से भी चयनित शिक्षकों को शामिल कर लिया जाए तो जयपुर में कोई 50 हजार शिक्षक जुट जाएंगे, इसलिए चुनावी वर्ष का राज्य स्तरीय शिक्षक सम्मान समारोह जयपुर में अमरुदों के बाग में किया जा रहा है। सभी शिक्षकों को यात्रा व्यय के साथ-साथ भोजन भी उपलब्ध करवाया जाएगा।
यह कैसा सम्मान?
कहने को तो सरकार शिक्षको का सम्मान करने की बात कह रही है, लेकिन जिस तरीके शिक्षकों को जयपुर बुलाया जा रहा है उससे शिक्षकों के सम्मान पर सवालिया निशान लग गया है। सरकार की ओर से जो आदेश जारी किया है उसमें साफ कहा गया कि पांच सितम्बर को जयपुर में अनुपस्थित रहने वाले शिक्षकों को एक दिन का वेतन नहीं मिलेगा। इतना ही नहीं पांच सितम्बर को जयपुर आने वाले पात्र शिक्षकों को 4 सितम्बर को ही संबंधित शिक्षा अधिकारी के समक्ष उपस्थिति दर्ज करवानी होगी।
यह कैसा सम्मान?
कहने को तो सरकार शिक्षको का सम्मान करने की बात कह रही है, लेकिन जिस तरीके शिक्षकों को जयपुर बुलाया जा रहा है उससे शिक्षकों के सम्मान पर सवालिया निशान लग गया है। सरकार की ओर से जो आदेश जारी किया है उसमें साफ कहा गया कि पांच सितम्बर को जयपुर में अनुपस्थित रहने वाले शिक्षकों को एक दिन का वेतन नहीं मिलेगा। इतना ही नहीं पांच सितम्बर को जयपुर आने वाले पात्र शिक्षकों को 4 सितम्बर को ही संबंधित शिक्षा अधिकारी के समक्ष उपस्थिति दर्ज करवानी होगी।
इसी दिन शिक्षा अधिकारी की ओर से समारोह का निमंत्रण पत्र भी दिया जाएगा। इस निमंत्रण पत्र को गले में टांगने पर ही 5 सितम्बर को अमरुदों के बाग में प्रवेश मिलेगा। इस निमंत्रण पत्र के आधार पर ही शिक्षा अधिकारी जयपुर में उपस्थिति दर्ज करेंगे। बाद इसी आधार पर सम्मान पत्र दिया जाएगा। पिछले चार दिनों से शिक्षा विभाग में निमंत्रण पत्रों पर पात्र शिक्षकों के नाम लिखने का कार्य हो रहा है। शिक्षा अधिकारियों को मौखिक तौर पर पाबंद किया है कि वे अपने-अपने क्षेत्र से शिक्षकों को लाने और ले जाने के लिए बसों का इंतजाम करें। बस का किराया शिक्षकों को मिलने वाले यात्रा व्यय में वसूला जाएगा। जिला अधिकारियों को ही निर्धारित 120 रुपए में खाने के पैकेट उपलब्ध करवाने हैं। सरकार ने खाने के पैकेट तैयार करवाने के लिए जिला शिक्षा अधिकारियों को 33 लाख रुपए की राशि आवंटित कर दी है।
काले रंग से डरः
शिक्षा अधिकारियों को यह सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है कि कोई भी शिक्षक काले रंग के कपड़े पहन कर समारोह में नहीं आए। यहां तक कि मोजे भी काले रंग के नहीं होने चाहिए। कोई अप्रिय घटना होने पर संबंधित जिला अधिकारी को ही जिम्मेदार माना जाएगा। सरकार को डर है कोई शिक्षक काले कपड़े दिखा कर मुख्यमंत्री का विरोध कर सकता है।
अधिकांश शिक्षक तो नाराजः
युवाओं को शिक्षक की नौकरी देकर सरकार वाहवाही लूटना चाहती है, लेकिन जानकारों की माने तो प्रदेश के अधिकांश शिक्षक सरकार की नीतियों से नाराज है। वेतनमान में कटौती करने के बाद सातवें वेतनमान की सुविधा दी गई है। चुनावी वर्ष में पांच सितम्बर को यात्रा व्यय हाथों हाथ दिया जा रहा है, जबकि शिक्षकों एवं शिक्षाकर्मियों का यात्रा व्यय, मेडिकल बिल आदि पिछले 8 वर्ष से बकाया है।
काले रंग से डरः
शिक्षा अधिकारियों को यह सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है कि कोई भी शिक्षक काले रंग के कपड़े पहन कर समारोह में नहीं आए। यहां तक कि मोजे भी काले रंग के नहीं होने चाहिए। कोई अप्रिय घटना होने पर संबंधित जिला अधिकारी को ही जिम्मेदार माना जाएगा। सरकार को डर है कोई शिक्षक काले कपड़े दिखा कर मुख्यमंत्री का विरोध कर सकता है।
अधिकांश शिक्षक तो नाराजः
युवाओं को शिक्षक की नौकरी देकर सरकार वाहवाही लूटना चाहती है, लेकिन जानकारों की माने तो प्रदेश के अधिकांश शिक्षक सरकार की नीतियों से नाराज है। वेतनमान में कटौती करने के बाद सातवें वेतनमान की सुविधा दी गई है। चुनावी वर्ष में पांच सितम्बर को यात्रा व्यय हाथों हाथ दिया जा रहा है, जबकि शिक्षकों एवं शिक्षाकर्मियों का यात्रा व्यय, मेडिकल बिल आदि पिछले 8 वर्ष से बकाया है।
नए शिक्षकों को 2 वर्ष तक तो स्थिर वेतन ही मिलता है। शिक्षक पुरानी पेंशन योजना को लागू करने की मांग पिछले कई वर्षों से कर रहे हैं। देखना है कि शिक्षकों की नाराजगी के चलते सरकार का सम्मान समारोह कितना सफल होता है। 5 सितम्बर के समारोह को लेकर सरकार ने जो आदेश जारी किए हैं
अजमेर के जैन भजन गायक संदीप बोहरा को भक्ति संगीत विद्या विशारद से सम्मानित किया।
देश के प्रमुख जैन तीर्थ स्थल श्रवणबेलगोला में अजमेर के जैन भजन गायक संदीप बोहरा को जैन भक्ति संगीत विद्या विशारद से सम्मानित किया गया। इससे पहले बोहरा की भजन सीडी आया रे पर्व पयूर्पण का विमोचन आचार्य वर्द्धमान सागर के सान्निध्य में श्रीचारुकीर्ति भटारक स्वामी जी ने किया।
स्वामी जी ने उम्मीद जताई की यह सीडी भक्ति मार्ग में लगे श्रद्धालुओं के लिए उपयोगी होगी। उन्होंने बोहरा की धार्मिक प्रवृत्ति की प्रशंसा भी की। इससे पहले बोहरा के भजनों की सीडी निकल चुकी है। इस सम्मान के लिए मोबाइल नम्बर 9166944296, 8875243153 पर बोहरा को बधाई दी जा सकती है।
जयपुर:-
लोकतंत्र सेनानी सम्मान निधि के तहत बढ़ी पेंशन राशि
वित्त विभाग ने किया अनुमोदन, 12000 से बढ़कर 20000 पेंशन करने का प्रस्ताव, हाल ही में सीएम ने बढ़ोतरी की घोषणा की थी, अब जीएडी जल्द जारी करेगा आदेश, मीसा/डीआईआर/CRPC निरुध्दों को मिलेगा लाभ, करीब1500 लोकतंत्र सेनानियों को मिलेगा लाभ
जयपुर:-
परिवहन विभाग में सितंबर से लागू होगा ई-चालान सिस्टम
वाहनों के मौके पर ही काटे जाएंगे ऑनलाइन चालान, परिवहन निरीक्षकों को दी जाएगी हैंडहैल्ड डिवाइसेज, परिवहन विभाग ने शुरू की परिवहन निरीक्षकों की ट्रेनिंग, पायलट प्रयोग के तौर पर जयपुर RTO से शुरुआत, चालान की राशि फेरबदल के मामले होंगे खत्म, वाहन मालिक ऑनलाइन ही जमा कर सकेंगे चालान राशि
भाजपा सांसद कर्नल सोनाराम पर हमले में सरकार गंभीरता और सतर्कता बरते। अन्यथा माहौल खराब होगा।
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15 अगस्त को बाड़मेर के भाजपा सांसद कर्नल सोनाराम के वाहन पर हुए हमले की घटना में राज्य की भाजपा सरकार को गंभीरता और सतर्कता दिखाने की जरुरत है। इस हमले को लेकर पुलिस ने राजपूत समाज के तीन युवकों को गिरफ्तार किया है।
इस गिरफ्तारी को लेकर समाज के कुछ प्रतिनिधि नाराजगी जता रहे हैं। ऐसे प्रतिनिधियों का कहना है कि समाज के दो युवकांे ने सांसद सोनाराम के वाहन को ओवर टेक किया था, इससे सांसद के लोगों ने युवकों के साथ कथित तौर पर दुव्र्यवहार किया।
इस घटना का कुछ लोगों ने वीडियो भी बनाया है। इस वीडियो में सांसद का वाहन क्षतिग्रस्त नजर नहीं आ रहा है, वहीं सांसद की ओर से जो रिपोर्ट लिखवाई गई है, उसमें युवकों पर वाहन को क्षतिग्रस्त करने का आरोप है।
इसमें कोई दो राय नहीं कि बाड़मेर में कर्नल सोनाराम लोकप्रिय नेता है। इसी लोकप्रियता की वजह से गत लोकसभा के चुनावों में कांग्रेस का दामन छोड़कर भाजपा में शामिल हुए और फिर विपरीत परिस्थितियों में सांसद बने।
हालांकि सोनाराम को हराने के भी प्रयास हुए, लेकिन तब सोनाराम को मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे का पूरा समर्थन मिला। पूर्व विदेश मंत्री जसवंत सिंह के क्षेत्र में सोनाराम की जीत राजनीतिक दृष्टि से मायने रखती है। ऐसे लोकप्रिय सांसद के वाहन पर हमला किसी भी दृष्टि से उचित नहीं कहा जा सकता है। लेकिन जब यह मामला राजनीतिक रंग ले रहा हो, तब सरकार को गंभीरता और सतर्कता दिखाना बेहद जरूरी है।
माना कि यह मामला कानून से जुड़ा है और कानून अपना काम करता है, लेकिन कोई मामूली मामला यदि आपसी समझाइस से सुलझाया जा सकता है तो उस पर पहल करनी चाहिए। विधानसभा के चुनाव के मौके पर इस तरह की घटनाए माहौल को और बिड़ेंगी। वैसे ही बाड़मेर पाकिस्तान की सीमा से लगा एक संवेदनशील इलाका है। यहां सभी समुदायों में सद्भावना बनी रहनी चाहिए।
आखिर तीन माह बाद मिल ही गया अजमेर को स्थायी संभागीय आयुक्त। एलएन मीणा ने संभाला पदभार।
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16 अगस्त को भारतीय प्रशासनिक सेवा के वरिष्ठ अधिकारी एलएन मीणा ने अजमेर के संभागीय आयुक्त का पद संभाल लिया है। इसके साथ अजमेर को अब स्थाई आयुक्त मिल गया है। असल में तीन माह पहले जून में अजमेर के संभागीय आयुक्त हनुमान सहाय मीणा का तबादला बीकानेर इसी पद पर कर दिया गया। चूंकि सरकार ने नए संभागीय आयुक्त की नियुक्ति नहीं की इसलिए मीणा ही काम चलाऊ आयुक्त बने रहे। थोड़े दिन बाद सरकार ने भवानी सिंह देथा की अजमेर में नियुक्ति दी, लेकिन देथा की रुचि खान विभाग में काम करने की थी, इसलिए देथा ने भी संभागीय आयुक्त का पद नहीं संभाला।
इसे हनुमान सहाय मीणा का प्रशासन में दबदबा ही कहा जाएगा कि उन्हें अजमेर के आयुक्त का अतिरिक्त चार्ज विधिवत तौर पर दे दिया गया। अतिरिक्त चार्ज में मीणा ने स्थाई आयुक्त की तरह ही काम किया। थोड़े दिन बाद सरकार ने देथा को उनकी इच्छा के अनुरूप खान विभाग में नियुक्ति दे दी। इसके साथ ही एलएन मीणा को अजमेर का आयुक्त नियुक्त किया।
16 अगस्त को एलएन मीणा ने हनुमान सहाय से संभागीय आयुक्त का पद संभाल लिया। इसके साथ ही हनुमान सहाय का अजमेर प्रशासन में दखल समाप्त हो गया और एलएन मीणा के तौर पर अजमेर में स्थाई आयुक्त मिल गया।
एसपी से रहा विवादः
हनुमान सहाय मीणा और अजमेर के तात्कालीन पुलिस अधीक्षक राजेन्द्र सिंह च ौधरी का विवाद चर्चा में रहा था। मीणा को उम्मीद थी कि उनके अधीन आने वाले अजमेर जिले के पुलिस अधीक्षक उनके हथियार लाइसेंस पर कोई आपत्ति नहीं करेंगे, लेकिन पुलिस अधीक्षक राजेन्द्र सिंह के पास अंतिम हस्ताक्षर के लिए मीणा की फाइल आई तो च ौधरी ने मीणा को हथियार लाइंसेस देने में सहमति नहीं दी। हालांकि मीणा ने पूरी ताकत लगाई, लेकिन च ौधरी अपने निर्णय पर अटल रहे। लेकिन तात्कालीन कलेक्टर गौरव गोयल ने अपने विशेष अधिकारों का उपयोग कर बिना रिपोर्ट के संभागीय आयुक्त हनुमान सहाय मीणा को लाइसेंस जारी कर दिया।
एसपी से रहा विवादः
हनुमान सहाय मीणा और अजमेर के तात्कालीन पुलिस अधीक्षक राजेन्द्र सिंह च ौधरी का विवाद चर्चा में रहा था। मीणा को उम्मीद थी कि उनके अधीन आने वाले अजमेर जिले के पुलिस अधीक्षक उनके हथियार लाइसेंस पर कोई आपत्ति नहीं करेंगे, लेकिन पुलिस अधीक्षक राजेन्द्र सिंह के पास अंतिम हस्ताक्षर के लिए मीणा की फाइल आई तो च ौधरी ने मीणा को हथियार लाइंसेस देने में सहमति नहीं दी। हालांकि मीणा ने पूरी ताकत लगाई, लेकिन च ौधरी अपने निर्णय पर अटल रहे। लेकिन तात्कालीन कलेक्टर गौरव गोयल ने अपने विशेष अधिकारों का उपयोग कर बिना रिपोर्ट के संभागीय आयुक्त हनुमान सहाय मीणा को लाइसेंस जारी कर दिया।
गुर्जर बहुल्य क्षेत्रों में सीएम की गौरव यात्रा का विरोध होगा। गुर्जर नेता हिम्मत सिंह ने दी खुली चुनौती।
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गुर्जर आरक्षण संघर्ष समिति से जुड़े वरिष्ठ नेता हिम्मत सिंह गुर्जर ने कहा है कि मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे की गौरव यात्रा का राजस्थान के गुर्जर बहुल्य क्षेत्रों में विरोध किया जाएगा। इन क्षेत्रों में सीएम की यात्रा को नहीं निकलने दिया जाएगा।
उन्होंने कहा कि वसुंधरा राजे ने राजस्थान के गुर्जर, रेबारी, गडरिया, बन्जारा और गाड़िया लुहार जातियों के साथ धोखा किया है। वर्ष 2013 के चुनाव में राजे ने भाजपा के घोषणा पत्र में यह वायदा किया था कि गुर्जर व अन्य जातियों को 5 प्रतिशत विशेष आरक्षण संवैधानिक तरीके से दिलवाया जाएगा इसी के बाद हमारी जाति ने राजस्थान में 200 में से 160 सीटों पर भाजपा के उम्मीदवार जिताएं। इतना ही नहीं लोकसभा की सभी 25 सीटों पर भाजपा की जीत दर्ज करवाई।
लेकिन इसे धोखा ही कहा जाएगा कि आज पौने 5 वर्ष गुजर जाने के बाद भी गुर्जर समुदाय को आरक्षण का लाभ नहीं मिला है। गुर्जर समुदाय ओबीसी कोटे में वर्गीकरण की मांग कर आरक्षण देने की बात लगातार कर रहा है। इसके बिना हमारे समुदाय को आरक्षण का लाभ नहीं मिल सकता है।
उन्होंने कहा कि यदि ओबीसी का वर्गीकरण कर 5 प्रतिशत आरक्षण नहीं दिया जाता है तो मुख्यमंत्री के नेतृत्व में निकलने वाली गौरव यात्रा को गुर्जर बहुल्य क्षेत्रों में प्रवेश नहीं करने दिया जाएगा। भले ही इसके परिणाम कुछ भी हो। भाजपा की सरकार ने इसी वर्ष 19 मई 2018 को संघर्ष समिति के साथ समझौता भी किया था, लेकिन इस समझौते को आज तक भी लागू नहीं किया गया है।
चारभुजा से शुरू हुई राजस्थान गौरव यात्रा का पहला चरण समाप्त, 7 दिन में 880 किलोमीटर का सफर पूरा, भरतपुर संभाग से शुरू होगा दूसरा चरण
उदयपुर / राजसमंद के चारभुजा से शुरू हुई राजस्थान गौरव यात्रा का पहला चरण शुक्रवार को उदयपुर की मावली विधानसभा में हुई सभा के साथ समाप्त हो गया।
मुख्यमंत्री रात को ही डबोक एयरपोर्ट से जयपुर चली गई थी। अगले चरण में मुख्यमंत्री की यात्रा भरतपुर संभाग से शुरू होगी। सीएम राजे ने उदयपुर संभाग में सात दिन में करीब 880 किलोमीटर का सफर पूरा किया, इस दौरान उन्होंने मेवाड़-वागड़ की 23 विधानसभाओं में 19 आम सभाएं संबोधित की।
चार अगस्त को चारभुजा से राजे के रथ को भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने रवाना किया और बाद में शाह व राजे ने राजसमंद में आमसभा को संबोधित किया था। तब शाह ने कहा था कि यह गौरव यात्रा नहीं विजय यात्रा दिख रही है। रथ यात्रा में उदयपुर जिले में उदयपुर शहर व ग्रामीण विधानसभा में सीएम की यात्रा नहीं हुई है, यहां अक्टूबर महीने में भाजपा बड़ी सभा कराने की तैयारी में है।
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भटेवर में आवाज के साथ अभिवादन किया सीएम ने
भटेवर. लम्बे इंतजार के बाद जब मुख्यमंत्री का रथ शाम करीब 4:58 बजे भटेवर पहुंचा तो सभा स्थल पुराने चौराहा पर भारी भीड़ थी। सीएम ने रथ के ऊपर आकर चारों दिशाओं में हाथ जोडक़र जनता का अभिवादन किया। सीएम ने हर तरफ आवाज देकर अलग अंदाज में लोगों से हाथ उठाकर अभिवादन किया। लोगों की मांग पर सीएम ने लोगों से कहा कि भटेवर वालों वल्लभनगर में पंचायत समिति और आपकी जो भी मांगे है वे सरकार के आते ही पूरी करेंगे।
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भटेवर में आवाज के साथ अभिवादन किया सीएम ने
भटेवर. लम्बे इंतजार के बाद जब मुख्यमंत्री का रथ शाम करीब 4:58 बजे भटेवर पहुंचा तो सभा स्थल पुराने चौराहा पर भारी भीड़ थी। सीएम ने रथ के ऊपर आकर चारों दिशाओं में हाथ जोडक़र जनता का अभिवादन किया। सीएम ने हर तरफ आवाज देकर अलग अंदाज में लोगों से हाथ उठाकर अभिवादन किया। लोगों की मांग पर सीएम ने लोगों से कहा कि भटेवर वालों वल्लभनगर में पंचायत समिति और आपकी जो भी मांगे है वे सरकार के आते ही पूरी करेंगे।
सीएम के साथ रथ पर गृहमंत्री कटारिया व यात्रा सह संयोजक अशोक परनामी साथ थे। बाद में सीएम का रथ में भाजपा पदाधिकारियों ने एक-एक कर सम्मान किया। मुख्यमंत्री के आने से पूर्व तक सभा को कटारिया, मेनारिया, चित्तौडगढ सांसद सीपी जोशी, कुराबड प्रधान अस्मां खां, कानोड नगरपालिका अध्यक्ष अनिल शर्मा, उपाध्यक्ष दर्शन शर्मा आदि ने सम्बोधित किया।
भाजपा नेता उदयलाल डांगी, महामंत्री प्रकाश जैन, धनराज अहीर, हेमन्त अहीर, कुराबड मण्डल अध्यक्ष गंगाराम पटेल, वल्लभनगर मण्डल अध्यक्ष हरिसिंह गौड, भीण्डर मण्डल अध्यक्ष हीरालाल पंड्या, कानोड मण्डल अध्यक्ष महावीर दक ने भी स्वागत किया तो भाजयुमो ने मुख्यमंत्री को तलवार भेंट कर अभिवादन किया। रथ यात्रा का भटेवर पुराना बस स्टैंड पर जनता सेना के कार्यकर्ताओं ने स्वागत किया। भटेवर से मुख्यमंत्री वल्लभनगर पहुंची जहॉ वल्लभनगर के डांगियो का चौराया पर व्यापार मण्डल, कुलमियों का चौराया, भोपालपुरा मे ग्रामीणों तथा वल्लभनगर अटल सेवा केन्द्र पर विधायक रणधीर सिंह भीण्डर के नेतृत्व में सरपंच रूपगिरी गोस्वामी ने स्वागत किया। पंचायत ने शक्तिपीठ उंठाला माता की तस्वीर देकर सीएम का अभिवादन किया।
कीर की चौकी पर की सबने अगवानी
मेनार. गौरव यात्रा का चितौडग़ढ़ जिले से आकर दोपहर 1.20 बजे उदयपुर जिले जिले में कीर की चौकी पर प्रवेश हुआ। वहां विधानसभा उपाध्यक्ष राव राजेन्द्र सिंह, वल्लभनगर विधायक रणधीर, प्रदेश भाजपा महिला मोर्चा उपाध्यक्ष दीपेंद्र कुंवर आदि अगवानी की। ्रमावली विधायक दलीचंद डांगी, विधायक गौतम लाल मीणा भी पहुंचे। भटेवर से भाजयुमो कार्यकर्ता वाहन रैली के साथ पहुंचे और अगवानी की। कीर की चौकी में भाजपा प्रभारी गणपत लाल मेनारिया, भाजयुमो अध्यक्ष किशन लाल डांगी, उपाध्यक्ष संजय मेनारिया ने स्वागत किया। वहांं विधायक दलीचंद के समर्थन में कार्यकत्ताओं ने नारे लगाए तो मुख्यमन्त्री ने मजाकिया अंदाज में कहा यहां कहा मावली आ गया, ये तो वल्लभनगर है। अमरपुरा (खालसा) में कांग्रेस समर्थित सरपंच राजकुमारी जैन एवं पूर्व सरपंच अशोक कुमार खेरोदिया ने मुख्यमंत्री का स्वागत किया। अमरपुरा को खेलगांव की सौगात देने पर आभार जताया। ग्रामीणों ने राजे को उनकी माताजी विजयाराजे सिंधिया की प्रतिमा भेंट की। सीएम को संघ कार्यकर्ताओ ने भीण्डर के पूर्व जिला कार्यवाहक ललित आमेटा की मौत की सीबीआई जांच की मांग करने का ज्ञापन सौंपा। राष्ट्रिय ब्राह्मण युवजन सभा के पदाधिकारी राष्ट्रीय महामंत्री अक्षय जोशी के नेतृत्व मे प्रतिनिधिमंडल भी सीएम से मिला।
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इन्होंने भी किया स्वागत व संबोधन
भटेवर में सभा को जिला प्रमुख शांतिलाल मेघवाल, पूर्व प्रदेश मंत्री प्रमोद सामर, डेयरी अध्यक्ष डॉ. गीता पटेल, वल्लभनगर भाजपा प्रभारी गणपतलाल मेनारिया, कुराबड़ प्रधान असमा खान, नगर पालिका अध्यक्ष कानोड़ अनिल शर्मा, उपाध्यक्ष दर्शन शर्मा, विस्तारक अवधेश व्यास, जगदीश चौबीसा, युवा मोर्चा के प्रदेश उपाध्यक्ष गजपालसिंह राठौड़, पूर्व महापौर रजनी डांगी आदि ने भी सम्बोधित किया। जनता सेना से भाजपा में आए रावत महासभा के अध्यक्ष बाबूलाल बौड़, राजपा के पूर्व प्रत्याशी भंवरलाल मीणा एवं उंकारलाल मीणा ने गृहमंत्री कटारिया से भाजपा दुपट्टा पहन कर भाजपा में सम्मिलित हुए।
सभा में भाजपा वल्लभनगर मण्डल अध्यक्ष हरीसिंह गौड़, कुराबड़ मण्डल अध्यक्ष गंगाराम डांगी, भीण्डर मण्डल अध्यक्ष हिरालाल चौबीसा, कानोड़ मण्डल अध्यक्ष महावीर दक, महामंत्री प्रकाश जैन, धनराज अहिर, संग्राम सिंह, ख्यालीलाल जैन, विनोद मोर्य, लीलाधर सोनी, नीतिन जोशी, रामेश्वर प्रजापत, युवा मोर्चा अध्यक्ष किशन डांगी, पूर्व उप प्रधान कमलेश पोखरना, युवा मोर्चा भीण्डर अध्यक्ष गजेन्द्र मेहता, कानोड़ भाजयुमो अध्यक्ष पवन व्यास, कुराबड़ महेन्द्रसिंह, हेमन्त अहिर, पूर्व मण्डल महामंत्री उमाशंकर मेनारिया, पूर्व मण्डल अध्यक्ष लक्ष्मीलाल मेनारिया, मण्डल मंत्री भीमसिंह सिसोदिया, हरिसिंह रावल आदि उपस्थित थे।
कीर की चौकी पर की सबने अगवानी
मेनार. गौरव यात्रा का चितौडग़ढ़ जिले से आकर दोपहर 1.20 बजे उदयपुर जिले जिले में कीर की चौकी पर प्रवेश हुआ। वहां विधानसभा उपाध्यक्ष राव राजेन्द्र सिंह, वल्लभनगर विधायक रणधीर, प्रदेश भाजपा महिला मोर्चा उपाध्यक्ष दीपेंद्र कुंवर आदि अगवानी की। ्रमावली विधायक दलीचंद डांगी, विधायक गौतम लाल मीणा भी पहुंचे। भटेवर से भाजयुमो कार्यकर्ता वाहन रैली के साथ पहुंचे और अगवानी की। कीर की चौकी में भाजपा प्रभारी गणपत लाल मेनारिया, भाजयुमो अध्यक्ष किशन लाल डांगी, उपाध्यक्ष संजय मेनारिया ने स्वागत किया। वहांं विधायक दलीचंद के समर्थन में कार्यकत्ताओं ने नारे लगाए तो मुख्यमन्त्री ने मजाकिया अंदाज में कहा यहां कहा मावली आ गया, ये तो वल्लभनगर है। अमरपुरा (खालसा) में कांग्रेस समर्थित सरपंच राजकुमारी जैन एवं पूर्व सरपंच अशोक कुमार खेरोदिया ने मुख्यमंत्री का स्वागत किया। अमरपुरा को खेलगांव की सौगात देने पर आभार जताया। ग्रामीणों ने राजे को उनकी माताजी विजयाराजे सिंधिया की प्रतिमा भेंट की। सीएम को संघ कार्यकर्ताओ ने भीण्डर के पूर्व जिला कार्यवाहक ललित आमेटा की मौत की सीबीआई जांच की मांग करने का ज्ञापन सौंपा। राष्ट्रिय ब्राह्मण युवजन सभा के पदाधिकारी राष्ट्रीय महामंत्री अक्षय जोशी के नेतृत्व मे प्रतिनिधिमंडल भी सीएम से मिला।
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इन्होंने भी किया स्वागत व संबोधन
भटेवर में सभा को जिला प्रमुख शांतिलाल मेघवाल, पूर्व प्रदेश मंत्री प्रमोद सामर, डेयरी अध्यक्ष डॉ. गीता पटेल, वल्लभनगर भाजपा प्रभारी गणपतलाल मेनारिया, कुराबड़ प्रधान असमा खान, नगर पालिका अध्यक्ष कानोड़ अनिल शर्मा, उपाध्यक्ष दर्शन शर्मा, विस्तारक अवधेश व्यास, जगदीश चौबीसा, युवा मोर्चा के प्रदेश उपाध्यक्ष गजपालसिंह राठौड़, पूर्व महापौर रजनी डांगी आदि ने भी सम्बोधित किया। जनता सेना से भाजपा में आए रावत महासभा के अध्यक्ष बाबूलाल बौड़, राजपा के पूर्व प्रत्याशी भंवरलाल मीणा एवं उंकारलाल मीणा ने गृहमंत्री कटारिया से भाजपा दुपट्टा पहन कर भाजपा में सम्मिलित हुए।
सभा में भाजपा वल्लभनगर मण्डल अध्यक्ष हरीसिंह गौड़, कुराबड़ मण्डल अध्यक्ष गंगाराम डांगी, भीण्डर मण्डल अध्यक्ष हिरालाल चौबीसा, कानोड़ मण्डल अध्यक्ष महावीर दक, महामंत्री प्रकाश जैन, धनराज अहिर, संग्राम सिंह, ख्यालीलाल जैन, विनोद मोर्य, लीलाधर सोनी, नीतिन जोशी, रामेश्वर प्रजापत, युवा मोर्चा अध्यक्ष किशन डांगी, पूर्व उप प्रधान कमलेश पोखरना, युवा मोर्चा भीण्डर अध्यक्ष गजेन्द्र मेहता, कानोड़ भाजयुमो अध्यक्ष पवन व्यास, कुराबड़ महेन्द्रसिंह, हेमन्त अहिर, पूर्व मण्डल महामंत्री उमाशंकर मेनारिया, पूर्व मण्डल अध्यक्ष लक्ष्मीलाल मेनारिया, मण्डल मंत्री भीमसिंह सिसोदिया, हरिसिंह रावल आदि उपस्थित थे।
मतदाता सूची पुनरीक्षण विशेष अभियान रविवार को मतदाता सूची के अंतिम प्रकाशन से पूर्व नाम जुड़वाने-हटवाने और संशोधन का आखिरी मौका
जयपुर, 11 अगस्त। आपकी उम्र यदि 1 जनवरी, 2018 को 18 वर्ष हो गई है या आपका नाम अभी तक मतदाता सूची में दर्ज नहीं है तो अपना नाम जुड़वाने के लिए 12 अगस्त रविवार को अपने मतदान केंद्र पर जाकर अपना नाम जुड़वा सकते हैं। प्रदेश के सभी मतदान केंद्रों पर पुनरीक्षण कार्यक्रम के तहत विशेष अभियान चलाकर नए नाम जोड़ने-हटाने और संशोधन करने का काम किया जाएगा। प्रत्येक विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र के मतदान केन्द्र पर बूथ लेवल अधिकारी सुबह 9 बजे से सायं 6 बजे तक मतदान केन्द्र पर उपस्थित रहेंगे।
इस दिन मतदान केन्द्र पर जाकर कोई भी व्यक्ति बूथ लेवल अधिकारी के पास उपलब्ध मतदाता सूची में अपना एवं अपने परिवार के योग्य सदस्यों का नाम मतदाता सूची में अंकित होने की पुष्टि कर लें और कोई संशोधन की जरूरत लगे तो 21 अगस्त से पहले आवेदन कर सकता है। गौरतलब है कि 27 सितंबर, 2018 को मतदाता सूचियों का अंतिम प्रकाशन कर दिया जाएगा और वही मतदाता सूची चुनाव में काम ली जाएगी।
इस दिन मतदान केन्द्र पर जाकर कोई भी व्यक्ति बूथ लेवल अधिकारी के पास उपलब्ध मतदाता सूची में अपना एवं अपने परिवार के योग्य सदस्यों का नाम मतदाता सूची में अंकित होने की पुष्टि कर लें और कोई संशोधन की जरूरत लगे तो 21 अगस्त से पहले आवेदन कर सकता है। गौरतलब है कि 27 सितंबर, 2018 को मतदाता सूचियों का अंतिम प्रकाशन कर दिया जाएगा और वही मतदाता सूची चुनाव में काम ली जाएगी।
नए नाम जोड़ने या हटाने और संशोधन से पहले मतदाता सूची में आपका नाम है या नहीं इसे देखना होगा। इसके लिए घर बैठे आप अपना नाम निर्वाचन विभाग की वेबसाइट पर ऑनलाइन सर्च कर सकते हैं।
कैसे देखें साइट पर अपना नाम
कोई भी मतदाता विभाग की वेबसाइट ceorajasthan.nic.in पर जाकर दाईं ओर दिए गए ‘सर्च नेम इन इलेक्टोरल रोल‘ लिंक को क्लिक करे। इसके बाद नाम खोजने के तीन लिंक उपलब्ध कराए गए हैं जैसे आई कार्ड नंबर से, नाम से या फिर क्षेत्र और इलाके से भी सर्च कर सकते हैं। नाम से खोजने में इस बात का ध्यान रखें कि अपने नाम के शुरूआती तीन शब्द डालने पर परिणाम बेहतर और जल्दी आते हैं। इस लिंक के जरिए न केवल आप मतदाता अपना नाम साथ ही विधानसभा का नाम, भाग संख्या, मतदाता क्रम संख्या, लिंग, संबधी का नाम उम्र, आईडी कार्ड नंबर और मतदान केंद्र का पता की जानकारी भी एक क्लिक पर मिल जाती है। नाम से सर्च करने पर बाईं ओर सारे देखें ऑप्शन पर क्लिक करने पर मतदाता के नाम से जुड़े परिजनों की जानकारी भी तुरंत दिखाई देने लगती है।
मोबाइल से भी देख सकते हैं नाम किसी मोबाइल में इंटरनेट नहीं होने की स्थिति में मतदाता एसएमएस के जरिए भी अपना नाम चेक कर सकते हैं। इसके लिए मतदाता को मैसेज बॉक्स में जाकर VOTERJ स्पेस (अपना आईडी कार्ड नंबर) स्पेस के बाद उसे 9680999899 नंबर पर मैसेज करने से कुछ ही देर में आपका नाम, उम्र, मतदान केंद्र नंबर दिखाई देने लगेगा।
नाम जुड़वाने के लिए भरें 6 नंबर फॉर्म
मतदान की योग्यता रखने वाले ऎसे भारतीय नागरिक जो एक जनवरी 2018 को 18 वर्ष की आयु पूर्ण कर चुके हैं, अपना नाम मतदाता सूची में सम्मिलित किए जाने के लिए प्रारुप 6 में आवेदन कर बीएलओ को प्रस्तुत करें।
नाम हटाने के लिए भरें 7 नंबर प्रपत्र
इसी के साथ ऎसे मतदाता जिनकी मृत्यु हो चुकी है या अन्यत्र स्थानान्तरित हो गए हैं ऎसे नाम मतदाता सूची से हटाने के लिए प्रपत्र 7 तथा मतदाता सूची में अंकित प्रविष्टि के संशोधन के लिए प्रपत्र 8 में आवेदन बीएलओ को प्रस्तुत करें।
एक विधानसभा के दूसरे मतदान केंद्र के लिए भरें 8क
एक ही विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र में एक मतदान केन्द्र के क्षेत्र से दूसरे मतदान केन्द्र के क्षेत्र में निवासरत मतदाता अपने क्षेत्र की मतदाता सूची में नाम सम्मिलित किए जाने के लिए प्रारुप 8-क में आवेदन पत्र संबंधित बूथ लेवल अधिकारी को प्रस्तुत कर सकते हैं।
हाईकोर्ट में सुनवाई से पहले ही सीएम की गौरव यात्रा में सरकारी खर्चों पर रोक लगाई। अब पीडब्ल्यूडी को नहीं लगाने होंगे टेंट, मंच, माइक आदि।
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इसे हाईकोर्ट का डर ही कहा जाएगा कि राजस्थान की सीएम वसुंधरा राजे की गौरव यात्रा के दौरान होने वाली सभाओं में अब पीडब्ल्यूडी को टेंट, मंच, माइक आदि के इंतजाम नहीं करने पड़ेंगे। इससे जनता के करोड़ों रुपए बच जाएंगे।
नवम्बर में होने वाले विधानसभा चुनाव में जीत के लिए वसुंधरा राजे गत चार अगस्त से प्रदेश भर में गौरव यात्रा निकाल रही हैं। इस गौरव यात्रा में होने वाली सभाओं के लिए पीडब्ल्यूडी के चीफ इंजीनियर सीएल नवल ने एक आदेश जारी कर टेंट, मंच, माइक आदि के इंतजाम करने के निर्देश दिए थे। सरकार के इस आदेश को अधिवक्ता विभूती भूषण शर्मा ने हाईकोर्ट में चुनौती दी।
शर्मा ने अपनी याचिका में कहा कि भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष मदनलाल सैनी गौरव यात्रा को राजनीतिक यात्रा बता चुके हैं, इसलिए अब सरकारी खर्चें पर यात्रा के इंतजाम नहीं हो सकते। इस याचिका पर हाईकोर्ट में अभी सुनवाई होनी है, लेकिन इससे पहले ही सात अगस्त को चीफ इंजीनियर नवल ने अपना एक अगस्त वाला आदेश निरस्त कर दिया हैं यानि अब गौरव यात्रा के दौरान मुख्यमंत्री की सभा में निजी स्तर पर ही पांडाल, माइक आदि के इंतजाम होंगे।
पायलट ने भी किया था विरोधः
सरकारी खर्चे पर गौरव यात्रा में टेंट आदि के इंतजाम का विरोध प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष सचिन पायलट ने भी किया था। पायलट ने आरोप लगाया था कि यात्रा में सरकारी मशीनरी का दुरुपयोग हो रहा है। इसी प्रकार सात अगस्त को अजमेर से कांग्रेस के सांसद रघु शर्मा ने भी लोकसभा में गौरव यात्रा का मुद्दा उठाया था। शर्मा ने आरोप लगाया कि गौरव यात्रा सरकारी यात्रा बनकर रह गई है। शर्मा ने भी सरकारी साधनों के दुरुपयोग को रोकने की मांग लोकसभा में की थी। चैतरफा दबाव को देखते हुए ही सरकार को अपना आदेश वापस लेना पड़ा है।
पायलट ने भी किया था विरोधः
सरकारी खर्चे पर गौरव यात्रा में टेंट आदि के इंतजाम का विरोध प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष सचिन पायलट ने भी किया था। पायलट ने आरोप लगाया था कि यात्रा में सरकारी मशीनरी का दुरुपयोग हो रहा है। इसी प्रकार सात अगस्त को अजमेर से कांग्रेस के सांसद रघु शर्मा ने भी लोकसभा में गौरव यात्रा का मुद्दा उठाया था। शर्मा ने आरोप लगाया कि गौरव यात्रा सरकारी यात्रा बनकर रह गई है। शर्मा ने भी सरकारी साधनों के दुरुपयोग को रोकने की मांग लोकसभा में की थी। चैतरफा दबाव को देखते हुए ही सरकार को अपना आदेश वापस लेना पड़ा है।
चुनाव पूर्व तैयारियों के लेकर मुख्य सचिव ने ली प्रमुख विभागों के अधिकारियों की बैठक
जयपुर, । मुख्य सचिव श्री डीबी गुप्ता ने चुनाव की तैयारियों के साथ विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रें के सभी मतदान केंद्रों पर न्यूनतम आधारभूत सुविधाएं उपलब्ध कराने, पर्याप्त कानून व्यवस्था बनाए रखने और चुनाव से संबंधित अन्य विषयों के संबंध में 14 प्रमुख विभागों के उच्च अधिकारियों के साथ बैठक कर कार्यों की समीक्षा की।
शासन सचिवालय में मंगलवार को आयोजित इस अहम बैठक में वित्त, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता, परिवहन, नगरीय विकास एवं आवासन, गृह, पंचायती राज एवं ग्रामीण विकास, ऊर्जा, जन स्वास्थ्य अभियांतिक, सूचना-प्रौद्योगिकी एवं संचार, सार्वजनिक निर्माण, शिक्षा, कार्मिक एवं राजस्व विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव और प्रमुख शासन सचिव, शासन सचिव स्तर के अधिकारियों ने हिस्सा लिया और विभागों से संबंधित तैयारियों की जानकारी दी।
श्री गुप्ता ने बैठक में वित्त विभाग से बजट, आबकारी, वाणिज्य कर आदि विषय पर तो सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग से विशेष दिव्यांगजनों का पंजीकरण एवं मतदान सुविधा देने, परिवहन विभाग से वाहनों की व्यवस्था, नगरीय विकास एवं आवासन विभाग, ग्रामीण विकास, जलदाय विभाग, ऊर्जा विभाग, सार्वजनिक निर्माण विभाग, शिक्षा विभाग से मतदान केंद्रों पर न्यूनतम आश्वस्त सुविधाएं उपलब्ध करवाने के लिए एवं गृह विभाग से कानून व्यवस्था संबंधी, सार्वजनिक निर्माण विभाग से मुख्य मागोर्ं, संस्थाओं के संकेतक लगवाने, मतदान केंद्रों की संपर्क सड़कों का निर्माण व दुरुस्तीकरण, शिक्षा विभाग से सभी मतदान केंद्रों की स्कूलों में भवन का नाम, कक्ष क्रमांक लिखवाने, भवनों के दरवाजे-खिड़कियां उचित स्थिति में सुनिश्चित करवाने तथा कार्मिक विभाग से निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण पदाधिकारियों के रिक्त पदों की पूर्ति और राजस्व विभाग से तहसीलदार, नायब तहसीलदारों के रिक्त पदों की पूर्ति करने के संबंध में चर्चा की। सभी विभागों के अधिकारियों ने मुख्य सचिव को समय रहते सभी तैयारियों को पूर्ण करने के लिए आश्वस्त किया है।
मुख्य निर्वाचन अधिकारी श्री अश्विनी भगत ने कहा कि निर्वाचन विभाग प्रदेश के सभी मतदान केंद्रों पर मतदाताओं और खासकर दिव्यांगजनों को रैम्प, व्हीलचेयर से लेकर बिजली-पानी तक की सुविधाएं मुहैया करवाने के लिए संकल्पबद्ध है। उन्होंने कहा कि सभी केंद्रों पर आधारभूत सुविधाएं मतदाताओं को मिले यही निर्वाचन विभाग और आयोग का प्रयास रहेगा।
बैठक में अतिरिक्त मुख्य निर्वाचन अधिकारी डॉ. जोगाराम व डॉ. रेखा गुप्ता, संयुक्त मुख्य निर्वाचन अधिकारी श्री सुरेन्द्र माहेश्वरी, विशेषाधिकारी श्री हरिशंकर गोयल, उप मुख्य निर्वाचन अधिकारी (आईटी) श्री एमएम तिवारी सहित विभागीय अधिकारीगण उपस्थित रहे।
शैक्षिक समाचार
शासन सचिवालय में मंगलवार को आयोजित इस अहम बैठक में वित्त, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता, परिवहन, नगरीय विकास एवं आवासन, गृह, पंचायती राज एवं ग्रामीण विकास, ऊर्जा, जन स्वास्थ्य अभियांतिक, सूचना-प्रौद्योगिकी एवं संचार, सार्वजनिक निर्माण, शिक्षा, कार्मिक एवं राजस्व विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव और प्रमुख शासन सचिव, शासन सचिव स्तर के अधिकारियों ने हिस्सा लिया और विभागों से संबंधित तैयारियों की जानकारी दी।
श्री गुप्ता ने बैठक में वित्त विभाग से बजट, आबकारी, वाणिज्य कर आदि विषय पर तो सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग से विशेष दिव्यांगजनों का पंजीकरण एवं मतदान सुविधा देने, परिवहन विभाग से वाहनों की व्यवस्था, नगरीय विकास एवं आवासन विभाग, ग्रामीण विकास, जलदाय विभाग, ऊर्जा विभाग, सार्वजनिक निर्माण विभाग, शिक्षा विभाग से मतदान केंद्रों पर न्यूनतम आश्वस्त सुविधाएं उपलब्ध करवाने के लिए एवं गृह विभाग से कानून व्यवस्था संबंधी, सार्वजनिक निर्माण विभाग से मुख्य मागोर्ं, संस्थाओं के संकेतक लगवाने, मतदान केंद्रों की संपर्क सड़कों का निर्माण व दुरुस्तीकरण, शिक्षा विभाग से सभी मतदान केंद्रों की स्कूलों में भवन का नाम, कक्ष क्रमांक लिखवाने, भवनों के दरवाजे-खिड़कियां उचित स्थिति में सुनिश्चित करवाने तथा कार्मिक विभाग से निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण पदाधिकारियों के रिक्त पदों की पूर्ति और राजस्व विभाग से तहसीलदार, नायब तहसीलदारों के रिक्त पदों की पूर्ति करने के संबंध में चर्चा की। सभी विभागों के अधिकारियों ने मुख्य सचिव को समय रहते सभी तैयारियों को पूर्ण करने के लिए आश्वस्त किया है।
मुख्य निर्वाचन अधिकारी श्री अश्विनी भगत ने कहा कि निर्वाचन विभाग प्रदेश के सभी मतदान केंद्रों पर मतदाताओं और खासकर दिव्यांगजनों को रैम्प, व्हीलचेयर से लेकर बिजली-पानी तक की सुविधाएं मुहैया करवाने के लिए संकल्पबद्ध है। उन्होंने कहा कि सभी केंद्रों पर आधारभूत सुविधाएं मतदाताओं को मिले यही निर्वाचन विभाग और आयोग का प्रयास रहेगा।
बैठक में अतिरिक्त मुख्य निर्वाचन अधिकारी डॉ. जोगाराम व डॉ. रेखा गुप्ता, संयुक्त मुख्य निर्वाचन अधिकारी श्री सुरेन्द्र माहेश्वरी, विशेषाधिकारी श्री हरिशंकर गोयल, उप मुख्य निर्वाचन अधिकारी (आईटी) श्री एमएम तिवारी सहित विभागीय अधिकारीगण उपस्थित रहे।
शैक्षिक समाचार
वाहन प्रदूषण जुर्माना वसूली की योजना पर राजस्थान हाईकोर्ट ने लगाई रोक
जयपुर। हाईकोर्ट ने वाहनों की प्रदूषण जांच में देरी के नाम पर फीस के साथ जुर्माना वसूलने के लिए पिछले साल जारी योजना पर रोक लगा दी है, लेकिन नियमानुसार प्रदूषण जांच प्रमाण पत्र लेना अब भी अनिवार्य रहेगा। साथ ही, कहा कि सुप्रीम कोर्ट की भावना के अनुरूप हर पेट्रोल पम्प पर प्रदूषण जांच प्रमाणन केन्द्र खोला जाए।
कोर्ट ने इस योजना को लेकर मुख्य सचिव के जरिए राज्य सरकार, परिवहन आयुक्त व जयपुर के प्रादेशिक परिवहन अधिकारी से 4 सप्ताह में जवाब मांगा है। न्यायाधीश मनीष भण्डारी व न्यायाधीश दिनेश चन्द्र सोमानी ने बनवारी लाल शर्मा की याचिका पर यह अंतरिम आदेश दिया है।
प्रार्थीपक्ष की ओर से अधिवक्ता प्रतीक कासलीवाल ने कोर्ट को बताया कि राज्य सरकार ने राजस्थान मोटर यान प्रदूषण जांच केन्द्र (ऑनलाइन) योजना-2017 लागू की, जिसके तहत अवधि पार प्रदूषण जांच प्रमाण पत्रों के वाहन मालिकों से प्रमाण पत्र के नवीनीकरण के लिए 1000 रुपए तक जुर्माना वसूलने का प्रावधान किया गया है।
प्रार्थीपक्ष की ओर से अधिवक्ता प्रतीक कासलीवाल ने कोर्ट को बताया कि राज्य सरकार ने राजस्थान मोटर यान प्रदूषण जांच केन्द्र (ऑनलाइन) योजना-2017 लागू की, जिसके तहत अवधि पार प्रदूषण जांच प्रमाण पत्रों के वाहन मालिकों से प्रमाण पत्र के नवीनीकरण के लिए 1000 रुपए तक जुर्माना वसूलने का प्रावधान किया गया है।
राज्य सरकार को मोटर यान अधिनियम में इस तरह का अधिकार ही नहीं दिया गया है, अधिनियम की धारा 190 के तहत पीयूसी नहीं लेने वाले वाहनों पर जुर्माना वसूलने का पहले से ही प्रावधान है।
‘पत्रिका’ की खबरें बनीं आधार
याचिका में पत्रिका में इस मुद्दे को लेकर 28 जून,18 को ‘प्रदूषण के नाम पर सरकार कर रही अवैध वसूली!’ व 26 जून को ‘न कानून चला न नियम, सुप्रीम कोर्ट का आदेश भी ठंडे बस्ते में’ शीर्षक से प्रकाशित खबरों को भी आधार बनाया गया है।
विधिक परीक्षण में फेल रही थी योजना
वाहनों की प्रदूषण जांच में देरी के नाम पर फीस के साथ पेनल्टी राशि वसूलने की योजना को विधि विभाग ने मंजूरी देने से इनकार कर दिया था। विधि विभाग ने इसे कानून और नियमों के विपरीत करार दिया था।
सुप्रीम कोर्ट आदेश का दिया था हवाला
परिवहन विभाग ने योजना लागू करने के लिए एमसी मेहता मामले में सुप्रीम कोर्ट के आदेश का हवाला दिया था, जिसमें प्रदूषण जांच केन्द्रों की गड़बड़ी रोकने को कहा गया था और वाहन मालिकों को प्रदूषण जांच के लिए प्रेरित करने को कहा गया था। इसमें यह भी कहा था कि वाहन मालिक प्रदूषण सम्बन्धी मानकों के पालन नहीं करने का दोषी पाया जाए तो सुधार के लिए उसे सात दिन का समय दिया जाए, फिर भी पालन नहीं हो तो कार्रवाई की जाए।
हाईकोर्ट से पहले भी झटका
परिवहन विभाग ने पहले 2016 में लाइसेंस नवीनीकरण में देरी पर जुर्माना लगाया था, जिसे राजस्थान हाईकोर्ट ने अवैध करार देकर निरस्त कर दिया था।
क्या कहता है कानून
मोटर यान कानून की धारा 111 में राज्य सरकार को नियम बनाने का अधिकार है, जिसके तहत उस विषय पर नियम बनाया सकता है जिस पर केन्द्र सरकार ने धारा 110 (1) के तहत प्रावधान नहीं किया है।
क्या है अधिनियम की धारा 190(2)
असुरक्षित स्थिति में वाहन का प्रयोग करने पर ध्वनि व वायु प्रदूषण रोकने के लिए पहली बार अपराध पर 1000 रुपए तक जुर्माना लिया जा सकता है और लगातार दूसरी अपराध किया जाए तो जुर्माना दो हजार रुपए तक हो सकता है।
‘पत्रिका’ की खबरें बनीं आधार
याचिका में पत्रिका में इस मुद्दे को लेकर 28 जून,18 को ‘प्रदूषण के नाम पर सरकार कर रही अवैध वसूली!’ व 26 जून को ‘न कानून चला न नियम, सुप्रीम कोर्ट का आदेश भी ठंडे बस्ते में’ शीर्षक से प्रकाशित खबरों को भी आधार बनाया गया है।
विधिक परीक्षण में फेल रही थी योजना
वाहनों की प्रदूषण जांच में देरी के नाम पर फीस के साथ पेनल्टी राशि वसूलने की योजना को विधि विभाग ने मंजूरी देने से इनकार कर दिया था। विधि विभाग ने इसे कानून और नियमों के विपरीत करार दिया था।
सुप्रीम कोर्ट आदेश का दिया था हवाला
परिवहन विभाग ने योजना लागू करने के लिए एमसी मेहता मामले में सुप्रीम कोर्ट के आदेश का हवाला दिया था, जिसमें प्रदूषण जांच केन्द्रों की गड़बड़ी रोकने को कहा गया था और वाहन मालिकों को प्रदूषण जांच के लिए प्रेरित करने को कहा गया था। इसमें यह भी कहा था कि वाहन मालिक प्रदूषण सम्बन्धी मानकों के पालन नहीं करने का दोषी पाया जाए तो सुधार के लिए उसे सात दिन का समय दिया जाए, फिर भी पालन नहीं हो तो कार्रवाई की जाए।
हाईकोर्ट से पहले भी झटका
परिवहन विभाग ने पहले 2016 में लाइसेंस नवीनीकरण में देरी पर जुर्माना लगाया था, जिसे राजस्थान हाईकोर्ट ने अवैध करार देकर निरस्त कर दिया था।
क्या कहता है कानून
मोटर यान कानून की धारा 111 में राज्य सरकार को नियम बनाने का अधिकार है, जिसके तहत उस विषय पर नियम बनाया सकता है जिस पर केन्द्र सरकार ने धारा 110 (1) के तहत प्रावधान नहीं किया है।
क्या है अधिनियम की धारा 190(2)
असुरक्षित स्थिति में वाहन का प्रयोग करने पर ध्वनि व वायु प्रदूषण रोकने के लिए पहली बार अपराध पर 1000 रुपए तक जुर्माना लिया जा सकता है और लगातार दूसरी अपराध किया जाए तो जुर्माना दो हजार रुपए तक हो सकता है।
राज्य के परिवहन विभाग ने इसे अलग-अलग श्रेणियों में बांटकर 50 सीसी इंजन वाले दुपहिया वाहनों के लिए जुर्माना 100 रुपए और इससे ऊपर वालों के लिए 250 रुपए तय कर रखा है। तिपहिया वाहनों के लिए 500 रुपए व दुपहिया व तिपहिया को छोडक़र अन्य वाहनों के लिए 1000 रुपए जुर्माना तय है
स्कूलों में पढ़ने से लेकर खेलने तक की सुविधाएं - श्री देवनानी
राजकीय बालिका उच्च माध्यमिक विद्यालय फॉयसागर रोड में नए झूलों की सुविधा का शुभारम्भ
स्कूलों में खेलों को बढ़ावे के लिए विशेष बजट देगी सरकार
अजमेर, 08 अगस्त। शिक्षा एवं पंचायतीराज राज्यमंत्री श्री वासुदेव देवनानी ने कहा कि राज्य सरकार ने स्कूलों में शिक्षा एवं खेल को बढ़ावा देने की नीति के तहत पूरी गम्भीरता के साथ काम किया है। हमारी शैक्षिक गुणवत्ता का लोहा तो पूरा देश मान रहा है। जल्द ही खेलों के क्षेत्र में भी राजस्थान अग्रणी होगा। खेलों के विकास के लिए सरकार प्रत्येक स्कूल में 5 से 25 हजार तक के उपकरण उपलब्ध कराएगी।
शिक्षा एवं पंचायतीराज राज्यमंत्री श्री देवनानी ने आज राजकीय बालिका उच्च माध्यमिक विद्यालय फॉयसागर रोड में अक्षय पात्र फाउंडेशन की ओर से बालिकाओं के लिए नए झूलों की सुविधा का शुभारम्भ किया।
शहर के विभिन्न स्कूलों में ऎसे झूले लगाए जाएंगे। इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि हमने 7 हजार स्कूलों का क्रमोन्नयन और सैंकड़ों करोड़ की लागत से भौतिक सुविधाओं का विस्तार सरकारी स्कूलों में किया है।
खेलों को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार प्राथमिक, उच्च प्राथमिक, माध्यमिक एवं उच्च माध्यमिक स्तर के विद्यालयों में 5 से 25 हजार तक का विशेष बजट देकर खेल उपकरण उपलब्ध कराएगी।
श्री देवनानी ने कहा कि अभिभावक चाहते हैं कि उनके बच्चे सरकारी स्कूलों में पढ़ें। स्कूलों में प्रवेश के लिए अभिभावकों की कतारे, लाखों नए नामांकन और शैक्षिक गुणवत्ता इसका सबूत है। राजस्थान की शिक्षा ने नई ऊंचाईयों को छू रही है। शीघ्र ही हम देश में दूसरे से पहले स्थान पर होंगे।
श्री देवनानी ने कहा कि अभिभावक चाहते हैं कि उनके बच्चे सरकारी स्कूलों में पढ़ें। स्कूलों में प्रवेश के लिए अभिभावकों की कतारे, लाखों नए नामांकन और शैक्षिक गुणवत्ता इसका सबूत है। राजस्थान की शिक्षा ने नई ऊंचाईयों को छू रही है। शीघ्र ही हम देश में दूसरे से पहले स्थान पर होंगे।
राजस्थान में हुए नवाचारों को पूरे देश में सराहा गया और इसका अनुसरण किया जा रहा है। मुख्यमंत्री श्रीमती वसुन्धरा राजे चाहती है कि गांव के बच्चे को गांव में ही पूरी स्कूली शिक्षा मिले और उसे कहीं बाहर नहीं जाना पडे़।
हमने प्रत्येक ग्राम पंचायत मुख्यालय पर सीनियर सैकण्डरी स्तर का स्कूल खोला। राज्य में 7 हजार स्कूलों को क्रमोन्नत किया गया है।
उन्होंने कहा कि हमने शिक्षकों की समस्याओं को समझकर उनके निराकरण के प्रयास किए। आजादी के बाद पहली बार सवा लाख से ज्यादा शिक्षकों को पदोन्नति दी गई।
उन्होंने कहा कि हमने शिक्षकों की समस्याओं को समझकर उनके निराकरण के प्रयास किए। आजादी के बाद पहली बार सवा लाख से ज्यादा शिक्षकों को पदोन्नति दी गई।
शिक्षकों के रिक्त पदों को नई भर्ती से भरा गया। स्कूलों को भौतिक संसाधन उपलब्ध कराए गए।
इस अवसर पर पार्षद श्री ज्ञान सारस्वत सहित शिक्षा विभाग के अधिकारी उपस्थित थे।
इस अवसर पर पार्षद श्री ज्ञान सारस्वत सहित शिक्षा विभाग के अधिकारी उपस्थित थे।
ऑनलाइन दर्ज होंगी आरटीई से जुड़ी शिकायतें, शिक्षामंत्री ने किया पोर्टल का उद्घाटन
जयपुर. शिक्षा विभाग ने आरटीई के तहत निजी स्कूलों में निशुल्क सीटों पर पढ़ रहे विद्यार्थियों की समस्याओं के समाधान के लिए प्राईवेट स्कूल पोर्टल पर शिकायत निवारण आॅनलाइन सिस्टम शुरू किया है।
शिक्षा संकुल में मंगलवार को शिक्षा राज्यमंत्री वासुदेव देवनानी ने लैपटॉप पर बटन दबाकर इस पोर्टल का शुभारंभ किया। आरटीई से संबंधित शिकायत और परिवेदनाओं के निस्तारण के लिए प्राइवेट स्कूल पोर्टल www.rajpsp.nic.in पर इस ऑनलाइन सिस्टम को एनआईसी की टीम ने तैयार किया है।
शिक्षा राज्यमंत्री देवनानी ने बताया कि राज्य में आरटीई के तहत 28 हजार से अधिक निजी स्कूलों में निशुल्क सीटों पर 7 लाख विद्यार्थी पढ़ाई कर रहे हैं। यह विद्यार्थी ‘‘दुर्बल वर्ग‘‘ एवं 'असुविधाग्रस्त समूह' के होते हैं।
वर्तमान में इन बालक-बालिकाओं या इनके अभिभावकों को आ रही किसी भी प्रकार की समस्या की शिकायत दर्ज कराने के लिए जिला मुख्यालय पर स्थित जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालयों में जाना पड़ता था।
ग्रामीण क्षेत्र के अभिभावकों के लिए यह परेशानी वाला मामला होता था। अब विभाग ने घर बैठे ही आरटीई से संबंधित शिकायतों की सुविधा उपलब्ध कराई है।
शिकायत निवारण में लगेगा 7 दिन का समय
- अब विद्यार्थी, अभिभावक ही नहीं स्कूल संचालक भी अपनी शिकायत या परेशानी इस पोर्टल पर दर्ज करा सकता है। शिकायत निवारण के लिए 7 दिन का समय दिया गया है। यदि निर्धारित अवधि में इन शिकायत या परिवेदनाओं पर कार्यवाही नहीं की जाती है तो प्रभारी अधिकारियों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही भी की जाएगी।
देवनानी ने बताया कि शिकायत दर्ज कराने के लिए केवल विद्यार्थी का आवेदन क्रमांक और मोबाइल नंबर की आवश्यकता होगी। आवेदन क्रमांक याद नहीं है तो आधार नंबर से भी शिकायत दर्ज कराई जा सकती है। इसमें विद्यार्थी-अभिभावक कुल 13 प्रकार की और स्कूल संचालकों से कुल 16 प्रकार की शिकायतें ली जाएंगी
प्रदेश मे 24 को होंगे छात्रसंघ चुनाव।
जयपुर- प्रदेश में छात्रसंघ चुनाव 24 अगस्त को, 19 अगस्त को नामांकन भरने की रहेगी तिथि, 24 अगस्त शाम तक परिणाम होंगे जारी, विवि प्रशासन को आज शाम तक जारी हो सकती है आधिकारिक सूचना
भीलवाड़ा- सभापति ललिता समदानी को भाजपा से छह साल के लिए निकाला, प्रदेशाध्यक्ष ने अनुशासनहीनता के आरोप में की कार्रवाई
भीलवाड़ा।
आए दिन विवादों के कारण सुर्खियों में चल रही भीलवाड़ा नगर परिषद की सभापति ललिता समदानी को आखिरकार भाजपा से बाहर का रास्ता दिखा दिया गया। प्रदेशाध्यक्ष मदनलाल सैनी ने गुरुवार रात को समदानी को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से छह साल के लिए निष्कासित कर दिया।
पार्टी ने अनुशासनहीनता के आरोप में यह कार्रवाई की है। जानकारों के अनुसार पार्टी आलाकमान ने समदानी को सभापति पद से इस्तीफा देने के लिए कहाथा, लेकिन उन्होंने इस्तीफा देने से इनकार कर दिया। इसके बाद उन्हें गुरूवार रात को पार्टी से निष्कासित कर दिया। पार्टी से निष्कासन के बाद अब सभापति पद से उनका हटना तय माना जा रहा है।...
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आरपीएससी की तर्ज पर अब बोर्ड ने भी दायर की कैवियट
अजमेर. राजस्थान लोक सेवा आयोग की तर्ज पर ही अब राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड ने भी हाईकोर्ट में कैवियट दाखिल की है। आयोग ने पूर्व में आरएएस 2016 के परिणाम के तुरंत बाद कैवियट दाखिल की थी। अब बोर्ड ने रीट 2017 के परिणाम को लेकर यह प्रक्रिया अपनाई है।
रीट 2017 का प्रकरण हाईकोर्ट में दोबारा नहीं चला जाए, इसे लेकर बोर्ड ने पहले ही एहतियात के तौर पर कैवियट दाखिल कर दी है। अब यदि प्रकरण कोर्ट में जाता भी है तो कोर्ट बोर्ड का पक्ष पहले सुनेगा।
- आयोग के तत्कालीन अध्यक्ष ललित के. पंवार ने आरएएस 2016 के मामले में कोर्ट में प्रकरण जाने की आशंका को देखते हुए पहले ही कैवियट दाखिल कर दी थी। इसके चलते आयोग ने आरएएस 16 का परिणाम जारी कर दिया था और आयोग को कोर्ट की कार्रवाई का सामना भी नहीं करना पड़ा। अब बोर्ड ने भी इसी रणनीति को अपनाया है।
हालांकि बोर्ड ने परिणाम पहले जारी कर दिया है और कैवियट बाद में दाखिल की है। राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड ने कोर्ट से आग्रह किया है कि रीट 2017 के मामले में कोई भी याचिका दायर होने पर बोर्ड का पक्ष सुना जाए।
क्या है कैवियट
- बोर्ड की ओर से वकील राकेश अरोड़ा ने यह कैवियट दाखिल की। अरोड़ा ने जानकारी दी कि कैवियेटर यानी बोर्ड ने 11 फरवरी 2018 को रीट-2017 लेवल -1 परीक्षा आयोजित की है। इसका परिणाम 11 अप्रेल 2018 को घोषित कर दिया। रीट लेवल -1 में पीड़ित कोई भी छात्र या आम जनता जयपुर में राजस्थान उच्च न्यायालय, जोधपुर और बेंच के समक्ष याचिका दायर कर सकती है। इसलिए, अगर ऐसी कोई भी याचिका दायर की जाती है, उस पर सुनवाई से पूर्व समन्वयक, रीट परीक्षा-2017 और सचिव, माध्यमिक शिक्षा बोर्ड राजस्थान, अजमेर को किसी आदेश जारी करने से पूर्व सुने जाने का आग्रह किया है
सफलता के 62 वर्ष पूर्ण करना गौरव का विषय है – चौधरी
अजमेर । राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के अध्यक्ष प्रो. बी.एल. चौधरी ने कहा कि किसी भी संस्था के लिए 62 वर्ष का लम्बा सफर सफलतापूर्वक तय करना एक गौरव का विषय है। राजस्थान बोर्ड आज अपने 63वें वर्ष में प्रवेश करने जा रहा है।
जहां 1958 में पहली बोर्ड परीक्षा में मात्र 31 हजार परिक्षार्थी बैठे थे, वहीं दूसरी ओर बोर्ड ने वर्ष 2018 में 42 लाख से भी अधिक परीक्षार्थियों के लिए विभिन्न परीक्षाओं का आयोजन किया।
बोर्ड दसवीं व बारहवीं की परीक्षाओं के अतिरिक्त राज्य सरकार के निर्देश पर अन्य कई परीक्षाओं का सफलतापूर्वक आयोजन कर रहा है। डिजिटल इण्डिया के युग में बोर्ड की सभी व्यवस्थाएं यथा परीक्षा आवेदन, परिणाम घोषणा, परीक्षकों को भुगतान इत्यादि पूर्णतयः ऑनलाइन है।
बोर्ड अध्यक्ष मंगलवार को बोर्ड कार्यालय में बोर्ड के स्थापना दिवस पर बोर्ड कार्मिकों को सम्बोधित कर रहे थे।
इस अवसर पर बोर्ड सचिव श्रीमती मेघना चौधरी ने कहा कि गत तीन वर्षो में बोर्ड द्वारा आयोजित विभिन्न परीक्षाएं निर्विघ्न सुनियोजित रूप से आयोजित हुई। लगभग दस-दस लाख अभ्यर्थियों के लिए लगातार दो वर्ष राजस्थान अध्यापक पात्रता परीक्षा (रीट) पूर्णतया पारदर्शी समयबद्ध रूप से आयोजित हुई। यह सभी आयोजन बोर्ड कार्मिकों की मेहनत और लगन के कारण ही संभव हो पाए।
प्रातः बोर्ड अध्यक्ष प्रो. चौधरी ने सरस्वती की प्रतिमा के समक्ष द्वीप प्रज्जवलन कर स्थापना दिवस की शुरुआत की। तत्पश्चात बोर्ड परिसर में पौधारोपण किया गया। इस अवसर पर बोर्ड की विशेषाधिकारी श्रीमती प्रिया भार्गव, वित्तिय सलाहकार श्रीमती आनन्द आशुतोष, निदेशक जी. के. माथुर, उपसचिव मंघाराम तोलानी और मंत्रालिक स्टाफ क्लब के अध्यक्ष नितिन दोसी, मुकेश घस्वा इत्यादि उपस्थित थे।
चुनाव आयोग की अनुमति से हो सकेंगे कलेक्टर, एडीएम और तहसीलदार के तबादले
जयपुर. राज्य विधानसभा चुनाव के लिए मतदाता सूचियों का संक्षिप्त पुनरीक्षण कार्यक्रम मंगलवार से शुरू हो गया है। इस चुनाव कार्यक्र में सीधे तौर पर जुड़े कलेक्टर, एडीएम, एसडीएम एवं तहसीलदार सहित 55 हजार से अधिक अफसर-कर्मचारियों के तबादलों पर आगामी 27 सितंबर तक के लिए रोक लगा दी गई है।
हालांकि, राज्य सरकार इनमें से किसी का तबादला करना चाहे तो कर सकती है, लेकिन निर्वाचन आयोग की अनुमति लेनी होगी। इसके लिए अलावा किसी भी तरह के तबादले करने के लिए राज्य सरकार स्वतंत्र है। सामान्य प्रशासन विभाग के एसीएस सुदर्शन सेठी ने तबादलों पर रोक संबंधी आदेश जारी कर दिया।
27 सितंबर को मतदाता सूचियों का फाइनल प्रकाशन:
मुख्य निर्वाचन अधिकारी अश्विनी भगत ने सचिवालय में राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों से मुलाकात की। उन्होंने कहा कि पात्र व्यक्तियों के ज्यादा से ज्यादा नाम मतदाता सूचियों में जुड़वाएं। सीईओ ने बताया कि फोटोयुक्त मतदाता सूचियां प्रकाशित की जा चुकी है। संबंधित आगामी 21 अगस्त तक अपने दावे एवं आपत्तियां प्रस्तुत कर सकते हैं। इसके लिए 12 एवं 19 अगस्त प्रदेश भर में विशेष अभियान भी लगाए जाएंगे। आगामी 27 सितंबर को मतदाता सूचियों का फाइनल प्रकाशन कर दिया जाएगा। यही सूचियां आगामी विधानसभा चुनाव में उपयोग की जाएगी।
70 लाख वोटर, 569 पोलिंग बूथ बढ़े :
निर्वाचन विभाग के अनुसार प्रदेश में करीब 4 करोड़ 75 लाख लाख मतदाता है। इनमें 2 करोड़ 48 लाख पुरुष और 2 करोड़ 26 लाख महिलाएं है। वर्ष 2013 के विधानसभा चुनाव की तुलना में अब तक करीब 70 लाख मतदाता बढ़ चुके हैं। पुनरीक्षण कार्यक्रम के बाद यह संख्या और बढ़ सकती है। पोलिंग बूथ की संख्या भी 569 बढ़कर 51 हजार 796 हो गई है।
पोलिंग बूथ पर रहेंगे बीएलओ :
निर्वाचन विभाग के अनुसार 12 एवं 19 अगस्त को प्रदेश भर में विशेष अभियान चलाकर नए नाम जोड़ने-हटाने और संशोधन करने का काम किया जाएगा। इन तिथियों पर प्रत्येक विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र के पोलिंग बूथ पर बूथ लेवल अधिकारी सुबह 9 बजे से शाम 6 बजे तक उपस्थित रहेंगे।
नाम जोड़ने-हटाने के अलग -अलग आवेदन :
एक जनवरी, 2018 को 18 वर्ष की आयु पूर्ण करने वाले भारतीय नागरिक अपना नाम मतदाता सूची में सम्मिलित किए जाने के लिए प्रारुप 6 में आवेदन बीएलओ को प्रस्तुत करें। जिनकी मृत्यु हो गई या फिर अन्यत्र स्थानान्तरित हो गए हैं, ऐसे नाम मतदाता सूची से हटाने के लिए प्रपत्र 7 तथा मतदाता सूची में अंकित प्रविष्टि के संशोधन के लिए प्रपत्र 8 में आवेदन बीएलओ को प्रस्तुत करे।
भाजपा कर रही संसदीय लोकतंत्र को कमजोर --डॉ सी .पी.जोशी।
मांडलगढ़। राष्ट्रीय कांग्रेस कमेटी के महासचिव एवं भीलवाड़ा जिले के पूर्व सांसद डॉक्टर सीपी जोशी मंगलवार को विगत विधानसभा उपचुनाव में कांग्रेस को मिली जीत की खुशी और मतदाताओं का आभार जताने मांडलगढ़ पहुंचे और जनसंवाद कार्यक्रम के तहत अलग अलग कार्यकर्ताओं से मुलाकात की।इस कार्यक्रम को आगामी विधानसभा चुनाव की रणभेरी का आगाज करना राजनीतिक गलियारों में माना जा रहा है। और अपने विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र नाथद्वारा को छोड़कर मांडलगढ़ विधानसभा क्षेत्र की बागडोर के बूते पर मुख्यमंत्री पद की दौड़ में शामिल होने की चर्चाओं को जोर पकड़ा दिया है ।
कार्यक्रम में जोशी अपने निर्धारित समय से 2 घण्टे देरी से पहुंचे और पांडाल में कुर्सियाँ खाली नही होने से कई नेता,संगठन के पदाधिकारी,महिलाएँ तह खड़ी रही।ब्लॉक कांग्रेस ने 10हजार के लोगों की भीड़ जुटाने का दावा किया लेकिन महज 2 हजार लोगों की भीड़ ही जुट पाई। मांडलगढ़ में मंगलवार को आयोजित जन संवाद कार्यक्रम के विशाल मंच पर डॉक्टर सीपी जोशी के अतिरिक्त किसी भी अन्य नेता एवं जनप्रतिनिधि के लिए जोशी के समकक्ष बैठने की व्यवस्था नहीं की गई और सभी वरिष्ठ नेतागण केलिए मंच के सामने वाली पब्लिक दीर्धा में बैठाया गया ।कार्यक्रम के दौरान करीब दो घण्टे तक कई नेतागण तो जोशी के इर्द-गिर्द खड़े नजर आए । जनसंवाद कार्यक्रम के दौरान कांग्रेस कार्यकर्ताओं की जनसभा को भी विशेष नेताओं ने ही संबोधित किया।जो कोंग्रेस के साथ जोशी समर्थक अधिक है। जिसमे मांडलगढ़ विधायक विवेक धाकड़, पूर्व विधायक प्रदीप कुमार सिंह, हिंडोली विधायक अशोक चांदना, कांग्रेस जिला अध्यक्ष रामपाल शर्मा ,पूर्व जिला प्रमुख कन्हैयालाल धाकड़, मांडलगढ़ ब्लॉक अध्यक्ष सत्यनारायण जोशी ने जन सभा को सम्बोधित किया।उधर जहाजपुर विधायक धीरज गुर्जर ,भीलवाड़ा डेयरी चेयरमैन रामलाल जाट समेत अन्य कई भीलवाड़ा जिले के वरिष्ठ नेताओं की गैरमौजूदगी चर्चा का विषय रही । वही आगामी विधानसभा चुनाव में सीपी जोशी के नेतृत्व को लेकर कुछ नेताओं में गुटबाजी की सुगबुगाहट नजर आई।पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं भीलवाड़ा सांसद डॉक्टर सीपी जोशी द्वारा गत विधानसभा उपचुनाव के छः माह बाद ओर आगामी विधानसभा आम चुनाव के 6 माह पूर्व मांडलगढ़ में जनसंवाद कार्यक्रम आयोजित करने को लेकर राजनीतिक गलियारों में कई तरह की चर्चाएं सामने आई। जिसमे विशेष कर विधायक विवेक धाकड़ को लोक सभा के लिए रिजर्व कर विधाम सभा मे समर्थन जुटाने के लिए भी रणनीति माना जा रहा हैं।वहीं विधायक धाकड़ से नाराज गुट के लोग जोशी को नेतृत्व सौंपने के लिए तैयारी में लग चुके हैं।इस जन संवाद कार्यक्रम की कमान मांडलगढ़ के किसी भी नेता के बजाए जोशी समर्थकों के हाथ मे रही।क्योंकि पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सचिन पायलट के बीच चल रही खेमेबंदी के बीच कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव डॉक्टर सीपी जोशी का आगामी आम चुनाव में नेतृत्व करना लगभग तय माना जा रहा है ।उदयपुर में आयोजित एक कार्यक्रम के दौरान मीडिया से मुखातिब हुए पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अपने बयान में आगामी विधानसभा चुनाव में मुख्यमंत्री के चेहरे के सवाल पर कहा था कि जो चेहरा 10 साल तक जनता के सामने रह चुका है अब वह किस रूप में चेहरे को सामने लाया जाए। उन्होंने कहा कि वह ताउम्र राजस्थान की सेवा करते रहेंगे।भाजपा सरकार पर वार करते हुए डॉ. जोशी ने कहां की कांग्रेस की नीतियों की वजह से भारत दुनिया की महाशक्ति बन पाया है। कांग्रेस ने वैज्ञानिक नीति, कृषि नीति व संचार नीति बना कर देश को आगे बढ़ाया। भाजपा जनता को जुमलों की नीति देती है। युवाओ को पकोड़े बनाने की नसीहत देती है और रोजगार की बात नही करती। देश मे संसदीय लोकतंत्र को कमजोर किया जा रहा है जिससे खतरा पैदा हो रहा है और ऐसा ही चलता रहा तो भारत खण्ड-खण्ड हो जाएगा।उन्होंने कहाँ की कांग्रेस पार्टी हिन्दू, मुस्लिम, सिख, जैन,बौद्ध सहित सभी वर्गो के विकास का विजन लेकर चलती है। कांग्रेस पार्टी संविधान के अनुसार चलने का कार्य करती है, संविधान में सभी वर्गो के लिए जो नियम, अधिकार बनाए गए उनसे ही विकास करती है। कांग्रेस ने गंगा जमना की तहजीब को जीवंत करने का कार्य किया है। दूसरी ओर मांडलगढ़ विधानसभा क्षेत्र एक ऐसा चुनावी रण क्षेत्र रहा है जहां राजस्थान को मांडलगढ़ विधानसभा सीट ने दो-दो बार मुख्यमंत्री पद मिलने का मौका दिया गया हैं। और यहां के मतदाता बाहरी प्रत्याशी से भी कोई गुरेज नही करते हैं।मध्य प्रदेश के गुना जिले के बाहरी प्रत्याशी के रूप में मांडलगढ़ आए स्वर्गीय शिवचरण माथुर ने यहां आकर विधानसभा का चुनाव लड़ा।ओर अपनी कर्म स्थली बनाई । दो बार मुख्यमंत्री बने। संभवता स्वर्गीय माथुर के पदचिन्ह और आदर्शों को लेकर आगामी विधानसभा चुनाव में डॉक्टर सीपी जोशी अपना भाग्य दांव पर लगा सकते हैं।काँग्रेस के बिना नही बनेगी सरकारजोशी ने कहां की मुझे राजनीति आकड़ो का शोख है और में दावे के साथ कहता हूं कि 2019 में भाजपा सरकार नही बनेगी और काँग्रेस के बिना सरकार नही बनेगी।
राजस्थान ग्राम विकास अधिकारीयो की हड़ताल जारी।
आसींद । भीलवाड़ा जिले की कोटडी पंचायत समिति के ग्राम विकास अधिकारी सत्य प्रकाश चौधरी ग्राम पंचायत कंकरोलिया गाटी के साथ पंचायत परिसर मैं मारपीट व गाली गलौच 10 जुलाई को की गई। उक्त घटना की कार्रवाई की मांग के लिए पंचायत समिति आसींद मैं लगातार 12 दिन से अनिश्चितकालीन धरने पर बैठे हुए हैं।
राजस्थान ग्राम विकास अधिकारी आसींद असोसिएशन के अध्यक्ष रामेश्वर लाल छीपा ने बताया कि जब तक पुलिस आरोपी को गिरफ्तार नही करती तब तक कार्ये का बहिष्कार व अनिश्चित कालीन धरना जारी रहेगा। इस धरने मैं रामेश्वर लाल छीपा,घीसु लाल माली,रमेश कुमार सोलंकी,सादिक मोहम्मद,कुन्दन मल शर्मा किशनलाल नायक,ललित कुमार कोठारी,घनश्याम सिंह चुंडावत, उपेंद्र कुमार,जगन्नाथ प्रसाद टेलर, गणेश जोनवाल,नरेश कुमार शर्मा, शंकर सिंह राठौड़, ओमप्रकाश जीनगर, घीसालाल जाट, अशोक कुमार पुरोहित व समस्त तहसील के ग्रामसेवक आदि धरने मैं मौजूद थे।
रिपोर्ट :-सी .एल.गुर्जर
मो.7727057423
ओडीएफ निरन्तरता, स्वच्छ सर्वेक्षण ग्रामीण-2018 तथा महावारी स्वच्छता प्रबंधन योजना का शुभारम्भ
जयपुर, 30 जुलाई। ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज मंत्री श्री राजेन्द्र राठौड़ तथा महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री श्रीमती अनिता भदेल ने सोमवार को कृषि अनुसंधान केन्द्र, दुर्गापुरा में ओडीएफ निरन्तरता, स्वच्छ सर्वेक्षण ग्रामीण-2018 तथा महावारी स्वच्छता प्रबंधन योजना का शुभारम्भ किया।
इस अवसर पर एक दिवसीय कार्यशाला का उद्घाटन भी किया गया, जिसमें सभी जिलों के मुख्य कार्यकारी अधिकारियों, शिक्षा अधिकारियों, चिकित्सा अधिकारियों एवं महिला बाल विकास तथा ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज विभाग के अधिकारियों ने भाग लिया। कार्यशाला में शौचालय के उपयोग के लिए ग्रामवासियों को प्रेरित करने तथा महिलाओं और किशोरियों में महावारी स्वच्छता के लिए जागरुकता लाने के लिए अधिकारियों को प्रशिक्षण प्रदान किया गया।
कार्यक्रम के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री श्री राजेन्द्र राठौड़ ने कहा कि मार्च माह में प्रदेश ओडीएफ घोषित हो गया है, यह प्रदेश के लिए अत्यन्त गौरव की बात है, किन्तु परीक्षा अब भी बाकी है। उन्होंने कहा कि हमारी सफलता इस बात पर निर्भर है कि उन शौचालयों का उपयोग कितने लोग कर रहे हैं। श्री राठौड़ ने कहा कि यह मूल्यांकन तथा समीक्षा का मौका है।
केन्द्र सरकार की ओर से होने वाले ग्रामीण स्वच्छता सर्वेक्षण में हमारा प्रदेश सर्वश्रेष्ठ साबित हो, इसके लिए हमें जी जान से जुटना होगा। उन्होंने कहा कि यह जन जागृति और जनचेतना का विषय है, इसलिए बीडीओ, सरपंचों और प्रधानों को गांव के लोगों का माइंड सेट बदलने का काम करना होगा।
इस अवसर पर महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री श्रीमती अनीता भदेल ने कहा कि महावारी स्वच्छता प्रबंधन योजना महिलाओं की स्वतंत्रता, स्वच्छता, शिक्षा और स्वास्थ्य से जुड़ी योजना है। महावारी स्वच्छता के प्रयासों के बिना सम्पूर्ण स्वच्छता की बात अधूरी है। उन्होंने कहा कि आज भी इस विषय पर बात करना हमारे समाज में निषेध है, इसलिए हमें लड़कियों को खुलकर बात करने के लिए प्ररित करना होगा। उन्होंने कहा कि बड़ी संख्या में किशोरियां महावारी के समय स्कूल नहीं आती या फिर स्कूल ही छोड़ देती हैं, इसलिए इस योजना की सफलता में स्कूल एक बड़ा मंच साबित हो सकते हैं।
श्रीमती भदेल ने कहा कि महावारी स्वच्छता की दिशा में हमें अभी बहुत काम करना बाकी है। हमें इसे एक मिशन की तरह लेना होगा, तभी हम मुख्यमंत्री के स्वच्छ और स्वस्थ राजस्थान के सपने को पूरा कर सकेंगे।
उद्घाटन सत्र में ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज विभाग के प्रमुख शासन सचिव श्री राजेश्वर सिंह ने कहा कि निर्मित शौचालयों का उपयोग हो रहा है कि नहीं, इसकी कड़ी मॉनिटरिंग की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि कार्यशाला के माध्यम से अधिकारी फील्ड में बेहतर तरीके से योजनाओं को लागू कर सकेंगे। उन्होंने बताया कि स्वच्छ सर्वेक्षण ग्रामीण, 2018 के तहत केन्द्र सरकार द्वारा राष्ट्र के समस्त जिलों में स्वच्छता एवं साफ-सफाई की स्थिति की रैकिंग की जायेगी तथा सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने वाले राज्यों एवं जिलों को 2 अक्टूबर, 2018 को पुरस्कृत किया जाएगा।
उद्घाटन सत्र में ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज विभाग के प्रमुख शासन सचिव श्री राजेश्वर सिंह ने कहा कि निर्मित शौचालयों का उपयोग हो रहा है कि नहीं, इसकी कड़ी मॉनिटरिंग की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि कार्यशाला के माध्यम से अधिकारी फील्ड में बेहतर तरीके से योजनाओं को लागू कर सकेंगे। उन्होंने बताया कि स्वच्छ सर्वेक्षण ग्रामीण, 2018 के तहत केन्द्र सरकार द्वारा राष्ट्र के समस्त जिलों में स्वच्छता एवं साफ-सफाई की स्थिति की रैकिंग की जायेगी तथा सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने वाले राज्यों एवं जिलों को 2 अक्टूबर, 2018 को पुरस्कृत किया जाएगा।
महिला एवं बाल विकास विभाग की प्रमुख शासन सचिव श्रीमती रोली सिंह ने बताया कि राज्य में केवल 55.5 प्रतिशत किशोरियां और महिलाएं सेनेट्री पैड का उपयोग करती हैं और उनमें भी ग्रामीण क्षेत्रों में इनका प्रतिशत 50 से भी कम है। उन्होंने कहा कि समाज में महावारी के साथ कई भ्रांतियां और कुरीतियां जुड़ी हैं, उन्हें दूर करना जरूरी है। उन्होंने कहा कि यह योजना चुप्पी तोड़ने का प्रयास है, ताकि लड़कियां इस विषय में खुलकर बात कर सकें और महावारी से जुड़ी समस्याओं के कारण लड़कियां को स्कूल छोड़ने पर मजबूर ना होना पड़े।
ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज विभाग के सचिव श्री कुंजीलाल मीणा ने कहा कि राज्य पूरी तरह से ओडीएफ घोषित हो चुका है, लेकिन उस स्तर को निरंतर बनाए रखना चुनौती है, उन्होंने बताया कि महावारी स्वच्छता प्रबंधन योजना और स्वच्छता सर्वेक्षण ग्रामीण एक दूसरे से जुड़े हुए हैं और इनकी सफलता के लिए जमीनी स्तर पर काम करना जरूरी है।
इस अवसर पर महावारी स्वच्छता से जुड़े पोस्टर तथा स्वच्छता सर्वेक्षण ग्रामीण 2018 से संबंधित एक पुस्तिका का विमोचन भी किया गया
कानून की पढ़ाई खटाई मेें,राज्य में 15 में से एक कॉलेज को मान्यता, अभी तक प्रवेश प्रक्रिया भी शुरू नहीं
Patrika
झालावाड़. राजस्थान में विधि शिक्षा की जमकर धज्जियंा उड़ रही है। न इस ओर राज्य सरकार का ध्यान है और न ही न्यायपालिका का। ऐसे में कैसे छात्र कानून की शिक्षा प्राप्त कर सकेंगे। सीएम के गृह जिले झालावाड़ के लॉ कॉलेज सहित प्रदेश में 15 कॉलेज हैं लेकिन किसी के पास बार कौंसिल ऑफ इंडिया से मान्यता नहीं और न ही किसी भी कॉलेज के पास नैक की ग्रेडिंग है।
झालावाड़. राजस्थान में विधि शिक्षा की जमकर धज्जियंा उड़ रही है। न इस ओर राज्य सरकार का ध्यान है और न ही न्यायपालिका का। ऐसे में कैसे छात्र कानून की शिक्षा प्राप्त कर सकेंगे। सीएम के गृह जिले झालावाड़ के लॉ कॉलेज सहित प्रदेश में 15 कॉलेज हैं लेकिन किसी के पास बार कौंसिल ऑफ इंडिया से मान्यता नहीं और न ही किसी भी कॉलेज के पास नैक की ग्रेडिंग है।
हालांकि प्रदेश में बीकानेर कॉलेज का यूजीसी में पंजीकरण हो चुका है, लेकिन दूसरे कॉलेज की सरकार को कोई परवाह नहीं है। इस बार एलएलबी प्रथम वर्ष में दाखिले का अता-पता नहीं है। सत्र 2018-19 की शुरूआत होने के बावजूद दाखिले अटके हुए है। लॉ कॉलेज में समय से दाखिले नहीं होने से विद्यार्थियों को नुकसान उठाना पड़ता है। वहीं बार कौंसिल से मान्यता भी नहीं मिल पाती है।इसलिए परेशानीझालावाड़ सहित राजस्थान के सभी लॉ कॉलेज मेें प्रथम वर्ष के दाखिलों पर तलवार लटकी हुई है। जुलाई माह निकलने को आया है। कॉलेज निदेशालय ने हमेशा की तरह बीसीआई की मंजूरी के बिना प्रवेश नहीं करने की शर्त लगाई है। बीसीआई ने लॉ कॉलेजों में सीमित संसाधन और शिक्षकों की कमी को देखते हुए सरकार से अंडर टेकिंग मांगी थी। लेकिन यह अवधि भी निकल चुकी है।वनमैन आर्मीवैसे तो झालावाड़ जिला मुख्यमंत्री का गृह क्षेत्र है। इसके बाद भी यहां के मुंडेरी स्थित विधि महाविद्यालय में एक ही व्याख्याता कार्यरत है। वह भी प्रतिनियुक्ति पर है। कॉलेज में अभी तक कोई स्थायी कर्मचारी नहीं लगाया गया है जबकि यहां व्याख्याताओं की आठ सीटें स्वीकृत है।
स्थाई प्राचार्य नहीं होने से डीडीओ पावर नहीं होने से महाविद्यालय के कई काम अटके हुए पड़े हैं। वहीं प्रदेश में कोटा, नागौर, बूंदी, सीकर, भीलवाड़ा सहित किसी भी कॉलेज में पर्याप्त स्टाफ नहीं है। किसी भी कॉलेज में शारीरिक शिक्षक, खेल मैदान, सभागार और अन्य सुविधाएं मुहैया नहीं है। राजस्थान में 2005-06 में 15 कॉलेजों की स्थापना हुई थी। इसमें झालावाड़, अजमेर, बीकानेर, भीलवाड़ा, बूंदी, कोटा, सीकर, नागौर, धौलपुर, उदयपुर, चूरू, अलवर, श्रीगंगानगर आदि शामिल है।छात्रों की पीड़ाजिले के विधि महाविद्यालय में प्रवेश नहीं होने से जिले के सैकड़ों छात्रों को इंदौर, उज्जैन सहित अन्य पास के राज्यों में प्रवेश लेना मजबूरी बनी हुई है। इसके साथ ही छात्रों को निजी विश्वविद्यालयों में प्रवेश मजबूरी में लेना पड़ रहा है। छात्र रविकांत, मनोज कुमार, सृष्टि शर्मा, पायल गोस्वामी आदि ने बताया कि जिले में विधि महाविद्यालय होने के बाद भी यहां अध्ययन की सुविधा नहीं मिल पा रही है। उन्हें विधि में प्रवेश लेना है अब दूसरे स्थान पर खर्चा ज्यादा होने से परिजनों को आर्थिक नुकसान होगा। यह है नियमयूजीसी के नियम 12 (बी) और 2 एफ के तहत सभी कॉलेज और विश्वविद्यालयों को पंजीकृत किया जाता है। यह पंजीयन संस्थाओं में शैक्षिक विभाग, शिक्षकों और स्टाफ की संख्या, भवन, संसाधन सह शैक्षिक गतिविधियों और अन्य आधार पर होता है। इसमें पंजीकृत कॉलेज-विश्वविद्यालयों को विकास कार्यों, शैक्षिक कॉन्फ्रेंस, कार्यशाला, भवन निर्माण के लिए बजट मिलता है। लेकिन यूजीसी से मान्यता नहीं नहीं होने के कारण इन महाविद्यालयों को यूजीसी से मिलने वाली ग्रांड भी नहीं मिल पाती है।& बार कौंसिल ऑफ इंडिया को विधि महाविद्यालय की मान्यता के लिए प्रस्ताव बना कर भेज रखे हैं। वहां से जवाब आने के बाद ही प्रवेश प्रक्रिया शुरू होगी। डॉ. आर.के. उपाध्याय, कार्यवाहक प्राचार्य, विधि महाविद्यालय, झालावाड़
शिक्षा विभाग समाचार
शिक्षा विभाग समाचार
सरपँच ,sho होगा जिम्मेदार
भीलवाड़ा। हाईकोर्ट ने लगाई फटकार, कहा पंचायत क्षेत्र में हुवा अवैध बजरीं खनन तो स्थानीय सरपँच ओर थानां अधिकारी होंगे जिम्मेदार सरपँच ओर sho कर सकेगा
बजरीं माफियो के खिलाफ प्रभावित कार्रवाई हर हाल में प्रदेशभर में रोकना है बजरीं खनन बजरीं माफियो ओर पुलिसकर्मि के साथ अन्य विभाग के कार्मिकों की मिलीभगत आई सामने तो होगी कार्रवाई ऐसे ही प्रकरण में टोंक एसपी, सम्बंधित sho, स्थानीय सरपँच को किया कोर्ट ने तलब
भारतीय जनता पार्टी गुलाबपुरा नगर के 14 बूथ अध्यक्ष की मीटिंग हुई संपन्न।
भारतीय जनता पार्टी नगर मंडल गुलाबपुरा के 14 बूथ अध्यक्ष व 4 शक्ति केंद्र प्रमुख की बैठक भाजपा आसींद हुरडा विधानसभा विस्तारक पन्नालाल चौधरी की अध्यक्षता में जोरावरपुरा में संपन्न हुई।
विस्तारक पन्ना लाल चौधरी ने बैठक को संबोधित करते हुए बताया की मंडल बूथ अध्यक्ष के कार्यकर्ताओं को संगठन द्वारा जो दिशा निर्देश दिए गए हैं उन सभी 23 प्रारूपों को अपने अपने बुथो पर भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ताओं को बताना है साथ ही राजस्थान की यशस्वी मुख्यमंत्री द्वारा राजस्थान गौरव यात्रा जो 4 अगस्त से शुरू होने वाली है
उस संदर्भ में भी चर्चा की गई साथ ही 3 बूथों पर एक प्रभारी भी नियुक्त किया जाना चाहिए ताकि संगठन के कार्य को गति मिल सके। बैठक में प्रभारी पन्नालाल चौधरी ललित वैष्णव गुलाबपुरा नगर मंडल महामंत्री व पार्षद सांवर नाथ योगी पार्षद रघुवीर वैष्णव युवा मोर्चा अध्यक्ष पिंटू सिंह राठौड़ आई टी सेल अध्यक्ष गौतम आंचलिया उपाध्यक्ष जितेंद्र शर्मा सोनू खटीक महावीर कुमावत क्रष्ण चन्द्र राजावत ओम दाधीच सन्दीप मेवाड़ा प्रभु बलाई गोपाल सिंह सहित 4 शक्ति केंद्र प्रमुख मौजूद थे।
राजस्थान में बागी डुबा सकते हैं पार्टी की लुटिया : गहलोत
राजस्थान में कांग्रेस पार्टी में नजर आ रही खेमेबंदी के बीच राष्ट्रीय महासचिव अशोक गहलोत ने चेताया है कि राजस्थान में बागी पार्टी की लुटिया डुबा सकते हैं। इससे पहले गहलोत ये बयान देकर सुर्खियों में आ गए थे कि जो प्रदेश अध्यक्ष बनता है, वह मुख्यमंत्री बनने के सपने देखने लगता है। राजस्थान में कांग्रेस के दो खेमे बन गए हैं, जिसमें एक मुख्यमंत्री रहे अशोक गहलोत का और दूसरा, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सचिन पायलट का है।
गहलोत ने कहा है कि राजस्थान में साल 1993 में कांग्रेस की बेहतर स्थिति थी और हर कोई मान रहा था कि कांग्रेस सरकार बनाने जा रही है, लेकिन बागियों के कारण हार गई थी। उस समय भाजपा के भैंरोसिंह शेखावत ने सरकार बना ली थी।
उन्होंने कहा कि ठीक वैसे ही हालात राजस्थान में बन रहे हैं कि कांग्रेस में टिकट के कई दावेदार हैं, जिसे नहीं मिले वह पार्टी के खिलाफ जा सकता है और फिर इससे नुकसान पहुंच सकता है। उन्होंने गुजरात का उदाहरण देते हुए नसीहत दी है कि गुजरात में टिकट को लेकर कोई अड़ता नहीं है। यही परम्परा राजस्थान में अपनाने की जरूरत है। उन्होंने सलाह दी कि नेता व कार्यकर्ता आपस में सहयोग करें, जिससे स्क्रीनिंग कमेटी अपना काम सही ढंग से कर पाए और कांग्रेस सरकार बना सके।
वडोदरा में गोलगप्पे पर रोक , पूरे गुजरात में भी लागू होगा
गुजरात में गोलगप्पे की बिक्री पर प्रतिबंध लगने जा रहा है इसकी शुरुआत बड़ोदरा शहर से हो गई है
गुजरात के स्वास्थ्य
राज्यमंत्री कुमार कानानी ने कहा, “राज्य भर में गोलगप्पे पर सही रुप से प्रतिबंध
लगाया जाएगा शहरों में मौसमी बीमारियां न फैलें, यह सुनिश्चित करने के लिए बड़ोदरा
में इन की बिक्री पर रोक लगा दी गई है इसके अलावा अन्य शहरों में भी गोलगप्पे की
बिक्री पर प्रतिबंध लगाया जाएगा दरअसल मौसमी बीमारियों से निपटने के लिए
बड़ोदरा में महानगरपालिका और स्वास्थ्य विभाग के अलग-अलग दस्तों ने 50 जगहों पर छापेमारी की इस दौरान 1700 किलो गोलगप्पे और 3200 लीटर पानी नष्ट किया इसके साथ ही आलू-चना और तेल भी जब्त किया गया है राज्य के सभी महानगरों में गोलगप्पे, पकौड़े वह खुले में खाद्य पदार्थ बेचने वाले व्यापारियों के यहां छापामार कार्रवाई की जा रही है गोलगप्पे खाने से पीलिया और फूड पाइज़निंग के मामले सामने आए हैं
जयपुर। शिक्षा एवं संस्कृति महोत्सव 11 अगस्त को।
जयपुर।राजस्थान शिक्षा एवं संस्कृति महोत्सव - 2018
(Rajasthan Education & Cultural Festival 2018)शनिवार 11 अगस्त, 2018 , प्रातः 11.15 बजे से सायं 3.00 बजे तक | स्थान: राज्य कृषि प्रबंध संस्थान ऑडिटोरियम, दुर्गापुरा, जयपुर (राज.)सामाजिक सरोकारों, शैक्षणिक नवाचारों, विशिष्ट उपलब्धियों, कला एवं संस्कृति के 11 अगस्त-संवर्धन लिए समर्पित जेवीपी मीडिया ग्रुप की ओर से हर वर्ष की भांति इस वर्ष भी प्रतिभाओं के प्रोत्साहन एवं सम्मान की श्रृंखला में शनिवार 11 अगस्त, 2018 को राज्य कृषि प्रबंध संस्थान, दुर्गापुरा, जयपुर में ‘‘राजस्थान शिक्षा एवं संस्कृति महोत्सव 2018’’ का आयोजन किया जा रहा है।
इस अवसर पर मैरिटॉरियस विद्यार्थियों को मैडल, अवार्ड एवं प्रशस्ति पत्र से सम्मानित किया जाएगा, लोकदेव-लोक संस्कृति की प्रस्तुति दी जायेगी, राजस्थान की शिक्षा एवं संस्कृति पर डॉक्यूमेन्ट्री फिल्म का प्रसारण किया जायेगा, विशिष्ट उपलब्धि और नवाचारों पर संगोष्ठी, क्विज कम्पीटिशन के विनर एवं जरूरतमद होनहारों को प्रत्साहन राशि का वितरण किया जाएगा। साथ ही विभिन्न क्षेत्र में सफलतत्तम व्यक्तियों द्वारा सुनहरे भविष्य के लिए विशेष मार्गदर्शन भी दिया जाएगा।
समारोह में होनहार छात्र-छात्राओं के साथ शिक्षा, समाजसेवा, प्रशासन, राजनीति, उद्योग, व्यापार, खेल कला एवं पत्रकारिता सहित विभिन्न क्षेत्रों में उल्लेखनीय उपलब्धि प्राप्त करने वाले महानुभावों का भी परिचय व सम्मान किया जा रहा है।
शिक्षा एवं संस्कृति महोत्सव की विशेषताएं:
मैरिटॉरियस विद्यार्थियों/विशिष्ट प्रतिभाओं का सम्मान - (मैडल, मोमेण्टों, प्रशस्ति पत्र, स्मारिका, स्टेशनरी, बैग एवं टी-शर्ट आदि)
लोकदेव-लोक संस्कृति पर प्रस्तुति एवं कलाकारों को प्रोत्साहन/पुरस्कार - (लीलण घोड़ी, रामसापीर की झांकी, श्री कृष्ण जन्मोत्सव बधाई एवं विशिष्ट लोक कलाएं)
राजस्थान की शिक्षा-संस्कृति को लेकर डॉक्यूमेन्ट्री फिल्म का प्रसारण - (गांव की गुवाड से लेकर आधुनिक शहरों तक का विहंगम दृश्य)
उपलब्धि परक समसामयिक विशिष्ट प्रतिभाओं का परिचय -(नव चयनित अधिकारी, डॉक्टर्स, सीए, इंजिनियर्स, एन्टरप्रोन्योर, खिलाड़ी, कलाकार आदि)
सामान्य ज्ञान पर आधारित क्विज कॉम्पीटशन और विजेताओं को पुरस्कार -(राजस्थान की शिक्षा, कला, खेल एवं संस्कृति के संदर्भ में)
विद्यार्थियों से शिक्षा व्यवस्था में सुधार और नवाचारों पर क्रिएटिव विचार - (बेस्ट इनोवेटिव आईडिया वाले विद्यार्थी को विशेष पुरस्कार)
जरूरतमंद होनहारों के लिए स्पेशल छात्रवृति - (प्राप्तांक प्रतिशत एवं इंटरव्यू के आधार पर)
सम्मान/पुरस्कार प्राप्त करने के लिए पात्रता:- वर्ष 2017-2018 में आरबीएसई एवं सीबीएसई की कक्षा 10वीं एवं 12वीं में 90 प्रतिशत से अधिक अंक प्राप्त करने वाले विद्यार्थी।- उच्च प्रतियोगी परीक्षाओं (आईआईटी, नीट, क्लैट आदि) में चयनित विद्यार्थी।- राजकीय सेवा/सार्वजनिक उपक्रमों में नव चयनित राजपत्रित अधिकारी।- किसी भी खेल में राज्य व राष्ट्रीय स्तर पर मेडलिस्ट।- शिक्षा, समाजसेवा, प्रशासन, व्यवसाय एवं पत्रकारिता में विशिष्ट उपलब्धि वाले महानुभाव।- गायन, वादन एवं नृत्य में राज्य व राष्ट्रीय स्तर पर ख्याति प्राप्त कलाकार।
नोट: मैरिटॉरियस विद्यार्थी एवं विशिष्ट प्रतिभाएं 31 जुलाई, 2018 तक आवेदन प्रपत्र को आवश्यक रूप से भरकर स्केन करके ई-मेल jvpmediagroup@gmail.com पर भिजवायें या कार्यालय पता- जेवीपी मीडिया ग्रुप एफ-6, प्रताप प्लाजा, प्रताप नगर, टोंक रोड़, जयपुर (राज.) पर व्यक्तिगत जमा कराये या डाक से भेजे
सीएम वसुंधरा राजे की गौरवयात्रा से पहले सुराज शब्द क्यों हटाया? तिवाड़ी भी 19 अगस्त से शुरू करेंगे राजस्थान गौरव यात्रा।
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सब जानते हैं कि राजस्थान की सीएम धर्म-कर्म में बहुत विश्वास करती हैं, पारिवारिक काम हो या सरकार का सभी में ज्योतिष पंडित आदि विद्वानों की राय ली जाती है। मंदिरों में पूजा अर्चना करने में भी सीएम राजे कोई कसर नहीं छोड़ती, स्वाभाविक है कि नवम्बर में होने वाले विधानसभा चुनाव के मद्देनजर सुराज गौरव यात्रा का नामकरण भी बहुत सोच समझ कर किया होगा।
25 जुलाई को ही भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष मदन लाल सैनी ने विधिवत तौर पर सीएम की यात्रा की घोषणा की, लेकिन 26 जुलाई को अचानक सीएम की यात्रा के नाम से सुराज शब्द हटा दिया गया। पार्टी के पदाधिकारियों का कहना है कि सुराज शब्द की जगह राजस्थान शब्द रखा गया है यानि चार अगस्त से सीएम की जो चुनावी यात्रा चारभुजा से शुरू होगी उसका नाम राजस्थान गौरव यात्रा होगा।
हालांकि अभी यह नहीं बताया गया है कि सुराज शब्द किस नेता के कहने से हटाया गया। असल में सीएम राजे ने सुराज शब्द अपनी सरकार की उपलब्धियों को देखते हुए जोड़ा था। सुराज शब्द के माध्यम से सीएम यह संदेश देना चाहती है कि साढ़े चार वर्ष का उनका शासन सुराज वाला रहा है। इसलिए वह गौरव यात्रा निकाल रही है।
सूत्रों की माने तो सुराज शब्द के हटने से सीएम राजे खुश नहीं है। हालांकि अभी कोई नाराजगी भी सामने नहीं आई है। असल में भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष के पद से जिस तरह अशोक परनामी को हटाया गया उससे भी राजे खुश नहीं थीं। बाद में मदनलाल सैनी की नियुक्ति से भी राजे और केन्द्रीय नेतृत्व में खींचतान रही। अब देखना है कि सुराज शब्द के हटने के बाद वसुंधरा राजे की राजस्थान गौरव यात्रा किस तरह से निकलती है।
तिवाड़ी का दावाः
भाजपा के असंतुष्ट विधायक और दीनदयाल वाहिनी के संस्थापक घनश्याम तिवाड़ी का आरोप है कि भाजपा ने उनकी यात्रा का नाम चुरा लिया है। भाजपा ने 26 जुलाई को राजस्थान गौरव यात्रा की घोषणा की जबकि उन्होंने तो गत माह ही अपनी राजस्थान गौरव यात्रा निकालने की घोषणा करनी थी, तय कार्यक्रम के मुताबिक उसकी यात्रा 19 अगस्त से जयपुर के सांगानेर विधानसभा क्षेत्र से शुरू होगी, तिवाड़ी ने बताया कि चूंकि मेरी यात्रा का नाम पहले घोषित हो गया था, इसलिए भाजपा को अपनी यात्रा का नाम बलना चाहिए।
राजस्थान के जयपुर शहर में हवा महल की क्या है खासियत आओ जानें.......
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